• If you are trying to reset your account password then don't forget to check spam folder in your mailbox. Also Mark it as "not spam" or you won't be able to click on the link.

Incest मम्मी से मिली सजा और प्यार।

Vishalji1

भोसड़ा का दीवाना मूत पसीने का चटोरा💦🤤🍑
3,824
4,909
144
Nice keep it up
 
  • Like
Reactions: Shetan

Asli lund

Active Member
734
587
93
आज सुबह से न जाने मम्मी मुझसे कितनी बार मेरे रिजल्ट के बारे में पूछ चुकी थी। आज मेरे 12 क्लास का परिणाम आने वाला था। मम्मी घर के चौक में इधर से उधर चल रही थी। मुझसे से ज्यादा मम्मी मेरे परिणाम को लेकर चिंतित थी हो भी क्यों न में उनका लाडला बेटा जो ठहरा। गर्मी का समय था मम्मी चलने की वजह से काफी पसीने पसीने भी हो गई थी , जो उनके माथे और गर्दन पर बह रहा था। शाम 5 बजे मैंने लैपटॉप पर परिणाम देखने के लिए साइट खोली। पर अभी भी साइट पर not available दिखा रहा था। मम्मी मेरे पास आकर बैठ जाती है। और टेंशन में होने के कारण फिर से रिजल्ट चेक करने को बोलती है। इस बार फिर मैं अपने लैपटॉप को खोलकर परिणाम देखना चाहा। जैसे ही मैंने साइट खोला रिजल्ट avialble दिखा रहा था। मम्मी को बताकर मैंने साइट पर अपना रोल नंबर डाला। इस दौरान मम्मी मेरे बगल में बैठकर अच्छे परिणाम की प्रार्थना कर रही थी। इंटरनेट की धीमी गति चिंता और उत्सुकता और बढ़ा दी थी। जैसे ही रिजल्ट का पेज ओपन हुआ तो बारीकी से अपने रिजल्ट का अवलोकन करने लगा। शीघ्र ही मेरे चेहरे पर चिंता दूर होकर एक बड़ी सी खुशी में बदल गई। मैने 91 प्रतिशत प्रपात किए। मैने जल्दी मम्मी को रिजल्ट के बारे में बताया तो उन्हें अपने कानो पर विश्वास नहीं हुआ। उनकी आखों से खुशी के आशु निकल पड़े उन्होंने मुझे कसकर गले लगाया और मेरे माथे को चूम लिया। जल्द ही हमने सभी लोगो फोन कर रिजल्ट के बारे में बताया। ये दिन मेरे लिए बहुत सबसे खास था मैने कभी भी इतने अधिक मार्क्स प्राप्त नहीं किए थे।
सॉरी मैं आप लोगो को अपने बारे में बताना भूल गया। में रोहित हूं। ग्रामीण पृष्ठभूमि में पला बड़ा एक लड़का हूं। 18 उम्र की दहलीज पर पिछले महीने ही कदम रखा है। मेरे घर में मेरी प्यारी मम्मी , पापा और केवल मैं हूं। मेरे पापा काम के सिलसिले से ज्यादतार घर से बाहर रहते है। मेरी मम्मी और मैं ही घर पर साथ रहते है। मेरी मम्मी का नाम नीलम है। मेरी मम्मी की उम्र 42 है, पर नियमित खानपान और योग पर ध्यान देने के कारण उम्र मैं छोटी लगती है। उनके शरीर पर दूसरी भारतीय नारी जैसे अधिक चर्बी तो नही है पर अल्प मात्रा मैं उनके पेट और कमर पर थोड़ी चर्बी है। मम्मी का रंग भी काफी गोरा है जब भी मम्मी धूप में बाहर जाती थी तो उनकी त्वचा लाल रंग की हो जाती थी।
12 का परिणाम आने के एक सप्ताह बाद मेरा एक अच्छे कॉलेज में एडमिशन हो गया जो मेरे घर से थोड़ा दूर एक सेहर में था। हॉस्टल में रूम काम होने के कारण सच्ची लोगो को रूम नही मिल पाया इसीलिए मैंने घेर से आना जाना शुरुं किया। में शुरू से काफी शर्मिला लड़का था दूसरे लडको के साथ दोस्ती करने में मुझे थोड़ी हिचकीचाहट होती थी इसीलिए स्कूल टाइम में भी मेरे एक दो दोस्त रहे थे। कॉलेज में मेरे पहले दिन में बिना किसी से बात किए पीछे की सीट पर जाकर बैठ गया। पहला दिन काफी संकोच भरा रहा। घर आने पर मम्मी ने मुझसे मेरे दिन के बारे में पूछा था तो मैंने बस अच्छे होने का बहाना बताकर ताल दिया पर मम्मी मुझे अच्छे से जानती थी की मैं उनसे झूट बोल रहा हु।
मम्मी – देखो बेटा मैं जानती हु की तुम दोस्त बनाने में थोड़े संकोची हो पर अब तुम्हे बाहर के लोगो से मिलना जुलना चाहिए। अगर तुम किसी से बात की शुरआत करोगे तो तुम्हे आसानी से दोस्त मिल जायेंगे।
मैने मम्मी को उनकी बात मानने का वादा किया और अपने की में सोने चला गया।
Vahut mast mummy ka dhyan rakhna mummy ki khushi ka aur mummy ko bhi pyar milne chahiye papa bahar rahte he isliye mummy ko pyar ki jarurat he
 
  • Like
Reactions: Shetan and iloveall

sunoanuj

Well-Known Member
4,474
11,567
159
Nice start keep posting…
 
  • Like
Reactions: Shetan

Bittoo

Member
346
493
63
आज सुबह से न जाने मम्मी मुझसे कितनी बार मेरे रिजल्ट के बारे में पूछ चुकी थी। आज मेरे 12 क्लास का परिणाम आने वाला था। मम्मी घर के चौक में इधर से उधर चल रही थी। मुझसे से ज्यादा मम्मी मेरे परिणाम को लेकर चिंतित थी हो भी क्यों न में उनका लाडला बेटा जो ठहरा। गर्मी का समय था मम्मी चलने की वजह से काफी पसीने पसीने भी हो गई थी , जो उनके माथे और गर्दन पर बह रहा था। शाम 5 बजे मैंने लैपटॉप पर परिणाम देखने के लिए साइट खोली। पर अभी भी साइट पर not available दिखा रहा था। मम्मी मेरे पास आकर बैठ जाती है। और टेंशन में होने के कारण फिर से रिजल्ट चेक करने को बोलती है। इस बार फिर मैं अपने लैपटॉप को खोलकर परिणाम देखना चाहा। जैसे ही मैंने साइट खोला रिजल्ट avialble दिखा रहा था। मम्मी को बताकर मैंने साइट पर अपना रोल नंबर डाला। इस दौरान मम्मी मेरे बगल में बैठकर अच्छे परिणाम की प्रार्थना कर रही थी। इंटरनेट की धीमी गति चिंता और उत्सुकता और बढ़ा दी थी। जैसे ही रिजल्ट का पेज ओपन हुआ तो बारीकी से अपने रिजल्ट का अवलोकन करने लगा। शीघ्र ही मेरे चेहरे पर चिंता दूर होकर एक बड़ी सी खुशी में बदल गई। मैने 91 प्रतिशत प्रपात किए। मैने जल्दी मम्मी को रिजल्ट के बारे में बताया तो उन्हें अपने कानो पर विश्वास नहीं हुआ। उनकी आखों से खुशी के आशु निकल पड़े उन्होंने मुझे कसकर गले लगाया और मेरे माथे को चूम लिया। जल्द ही हमने सभी लोगो फोन कर रिजल्ट के बारे में बताया। ये दिन मेरे लिए बहुत सबसे खास था मैने कभी भी इतने अधिक मार्क्स प्राप्त नहीं किए थे।
सॉरी मैं आप लोगो को अपने बारे में बताना भूल गया। में रोहित हूं। ग्रामीण पृष्ठभूमि में पला बड़ा एक लड़का हूं। 18 उम्र की दहलीज पर पिछले महीने ही कदम रखा है। मेरे घर में मेरी प्यारी मम्मी , पापा और केवल मैं हूं। मेरे पापा काम के सिलसिले से ज्यादतार घर से बाहर रहते है। मेरी मम्मी और मैं ही घर पर साथ रहते है। मेरी मम्मी का नाम नीलम है। मेरी मम्मी की उम्र 42 है, पर नियमित खानपान और योग पर ध्यान देने के कारण उम्र मैं छोटी लगती है। उनके शरीर पर दूसरी भारतीय नारी जैसे अधिक चर्बी तो नही है पर अल्प मात्रा मैं उनके पेट और कमर पर थोड़ी चर्बी है। मम्मी का रंग भी काफी गोरा है जब भी मम्मी धूप में बाहर जाती थी तो उनकी त्वचा लाल रंग की हो जाती थी।
12 का परिणाम आने के एक सप्ताह बाद मेरा एक अच्छे कॉलेज में एडमिशन हो गया जो मेरे घर से थोड़ा दूर एक सेहर में था। हॉस्टल में रूम काम होने के कारण सच्ची लोगो को रूम नही मिल पाया इसीलिए मैंने घेर से आना जाना शुरुं किया। में शुरू से काफी शर्मिला लड़का था दूसरे लडको के साथ दोस्ती करने में मुझे थोड़ी हिचकीचाहट होती थी इसीलिए स्कूल टाइम में भी मेरे एक दो दोस्त रहे थे। कॉलेज में मेरे पहले दिन में बिना किसी से बात किए पीछे की सीट पर जाकर बैठ गया। पहला दिन काफी संकोच भरा रहा। घर आने पर मम्मी ने मुझसे मेरे दिन के बारे में पूछा था तो मैंने बस अच्छे होने का बहाना बताकर ताल दिया पर मम्मी मुझे अच्छे से जानती थी की मैं उनसे झूट बोल रहा हु।
मम्मी – देखो बेटा मैं जानती हु की तुम दोस्त बनाने में थोड़े संकोची हो पर अब तुम्हे बाहर के लोगो से मिलना जुलना चाहिए। अगर तुम किसी से बात की शुरआत करोगे तो तुम्हे आसानी से दोस्त मिल जायेंगे।
मैने मम्मी को उनकी बात मानने का वादा किया और अपने की में सोने चला गया।
बेहतरीन शुरुआत
दो प्रार्थना
१ नियमित अपडेट
२. कहानी पूरी अवश्य करें
 
  • Like
Reactions: Shetan and iloveall

iloveall

New Member
72
219
34
अगले दिन भी में अपनी लास्ट सीट पर जाकर बैठ गया। अभी एडमिशन की प्रक्रिया पूरी नहीं हुई तो रोज नए नए लोगो की संख्या बढ़ रही थी। में अपने नोटबुक से कल का पढ़ाया हुआ पढ़ने लगा। तभी मेरे पास एक लड़का आया और मेरी बगल वाली सीट पर बैठ गया। वो काफी मेरी तरह लग था एकदम शांत और डरा डरा। में समझ गया कि आज उसका पहला दिन है। मैने मम्मी की बात मानकर उसे हेलो कहा उसने भी आगे हाथ बढ़ाकर मुझे हेलो कहा। उसने अपने नाम सूरज बताया। वो भी पढ़ाई में अच्छा था 12 में मेरी तरह ही 90+ मार्क्स प्राप्त किए थे। जल्दी ही हमारी दोस्ती काफी अच्छी हो गई। मैने घर आकर मम्मी को ये बात बताई तो वो भी काफी खुश हो गई।
ऐसे ही कुछ दिन बीत गए। सूरज भी मेरी तरह घर से कॉलेज आता जाता था। एक दिन क्लास में सूरज ने आज पास कोई रूम लेने के बारे में मुझसे सुझाव मांगा। उसे रोज घर से कॉलेज आने जाने के कारण पढ़ने के लिए समय नहीं मिल पाता था। इसीलिए आज पास किसी किराए पर कमरे की तलाश करने लगा। कुछ कमरे का किराया काफी महंगा था तो कहीं पर बिजली पानी की अच्छी व्यस्था नही थी। अच्छे फ्लैट का किराया दस हजार होता था जिसे वह अकेले देने में असमर्थ था। इसीलिए उसने मुझसे कमरे में साझेदार बनने के लिए बोला। मेरे अलावा उसका कोई और दोस्त नहीं था और में भी उसकी तरह घर से कॉलेज का सफर रोज करना पड़ता था। मुझे उसका सुझाव अच्छा लगा क्योंकि मुझे भी रोज सफर के कारण थकान हो जाती थी। दूसरा फायदा यह था की वह पढ़ने में मेरी तरह ही था तो साथ रहकर हमे एक दूसरे की सहायता कर सकते थे। ये सब सोचकर मैंने उसे साझेदार बनने के लिए हां कर दिया।
कॉलेज के बाद मैं और सूरज रूम देखने के लिए चले गए। फ्लैट काफी बड़ा था जिसमे दो कमरे , एक रसोई , हाल था। मुझे भी वो फ्लैट पसंद आया मैंने घर आकर मम्मी को इसके बारे में बताया। मम्मी को भी मेरी पढ़ाई का लाभ दिखते हुए मुझे अपनी सहमति दे दी। एक सप्ताह में हम दोनो फ्लैट में अपना सभी समान लेकर रहना शुरू कर दिया।
हम दोनो ने कमरे में अलग अलग रहने की बजाय एक कमरे अपना बेड लगा लिया, इससे हम दोनो को साथ पढ़ने में कोई परेशानी नहीं होती थी हम दोनो एक दूसरे की मदद करते थे। हम साथ पढ़ते और साथ रहकर फिल्म भी देखते थे। उसके साथ रहते हुए मैने एक बात पर गौर किया की सूरज कभी कभी शांत और मायूस हो जाता था। मेरे पूछने पर भी वो कभी इसके बारे में नहीं बताता था बस चेहरे पर एक झूठी मुस्कान लाकर बात किसी और विषय पर मोड़ देता था। मुझे भी लगा शायद उसे घर की याद आती होगी क्योंकि वह भी मेरी तरह पहली बार घर से दूर रह रहा है। मैने भी उससे ज्यादा पूछना ठीक नही समझा। ऐसे ही दिन बीतते गए। एक दिन हम दोनो अपनी पढ़ाई खत्म कर बेड पर आराम कर रहे थे तभी उसने मुझसे मेरे परिवार के बारे में पूछा कि घर में कौन कौन है। मैने अपने परिवार मैं पापा मम्मी के बारे में सब कुछ उसे बताया। मैने भी उसके परिवार के बारे में जानना चाहा, पर वो कुछ नही बोला। उसकी आंखो में थोड़े आंसू थे। मैने उसके कंधे पर हाथ रख एक दोस्त के नाते उसे बताने के लिए कहा। तब उसने मुझे बताया कि पिछले साल उसकी मां का इस दुनिया से चली गई। तब से वह काफी अकेला महसूस करता है। अब मुझे भी समझ आया की वो क्यों कभी कभी इतना मायूस और दुखी हो जाता था। उसकी एक बड़ी बहन भी थी जो अब उसके लिए सब कुछ थी। उसी से बात कर सूरज अपना मन का बोझ हल्का करता था। मुझे भी ये सब सुन काफी बुरा लगा। क्योंकि में भी सूरज की तरह अपनी मम्मी को प्यार करता था , उनके सिवा दुनिया में मेरा कोई करीबी नही था। एक दूसरे से इस तरह बाते शेयर कर हम बहुत अच्छे मित्र बन गए।
 

iloveall

New Member
72
219
34
Sorry for late update.
Keep motivating by comment and like tabhi jaldi agla update Dunga.
 
Last edited:
  • Like
Reactions: Shetan
Top