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Update 04
वीर – मेम आप क्या बोल रही हो..
वीर डरते हुए बोलता है...
अनिता अपने फोन को हाथ में लेती और रवि को एक तस्वीर दिखाती हे जो देख रवि के होस उड़ गई उसे अपनी आखों पे यकीन नही हो रहा था..
तस्वीर में अनीता अपने बेटे की गोद में बैठी थी और उसका बेटा पूरा नंगा था और सायद उसका लिंग उसकी मां कि योनि में घुसा हुआ था...
वीर – मैम ये तो आप का बेटा है... ये केसे हो सकता हे...
अनीता – हो सकता है अगर बस ट्रस्ट होना चाहिए और प्यार...
वीर को अब उसकी मैडम पे भरोसा हो चुका था...
अनिता – बेटा तुम नही जानते एक मां के लिए ये कितनी बड़ी बात है.. की वो अपने ही बेटे के साथ वो सब करे जो वो उसके पापा के साथ करती हे.. बेटा उसके साथ बिताया हुआ एक एक पल मुझे पूरे दिन बैचेन करता है... बेटा तुम भी इतना न सोचो अपनी मां से बात करो....
वीर – मेम वो आप के जैसी मॉर्डन नही है.. बात नही कर सकता हूं...
अनिता – बेटा वीर फिर एक काम करो..आज रात को बस उनके कपड़े उतार दो..थोड़ा चूम लो थोड़ा छेड़ो...तुम खुद जान जाओगे..
वीर – वो वो मेम.. मेने कल उनका ब्लाउज खोल दिया था लेकिन मां ने मुझे कुछ बोला नहीं सुबह...
अनिता – ये तो अच्छी बात है यानी कही न कही उन्हे बुरा तोह नही लगा था..आज ही अगला कदम बड़ा दो..मना करे तो रुक जाना नही तो वो एक औरत ही तुम एक मर्द.. अच्छे से करना..एक बार बस उन्हे आदत लगा दे तेरे जवान लोड़े की... हाए क्या बोल रही हो सॉरी बेटा.. बताना ठीक है आगे क्या होता हे...अब तुम जाओ आज हाफ डे की छुट्टी मेरी और से... मां के लिए कुछ गिफ्ट लेता जा...
वीर ने काफी सोचा मां के लिए क्या लिया जाय..ब्रा पहनती नही मां.. और ऐसा वैसा कुछ ले भी गया तो घर में कोई देख सकता था..
फिर वीर के दिमाग में एक अच्छा सा आइडिया आया और मेने मां के लिए एक सोने का मंगलसूत्र खरीद लिया...
बिमला मंगलसूत्र देख हैरान और खुस हो गई और फिर मजाक में बोली...
"बहू लाने के कहा था और तू ही की मेरे लिए मगलसूत्र ले आया पागल " मां मुस्करा दी...
और मेने उनके गले में मंगलसूत्र डाल दिया...
बिमला – क्या जरूरत थी इतना खर्चा करने की...
वीर ने आयने में देख रही उसकी मां के कंधे पे अपना सर रखा और एक हाथ से अपनी मां के मुंह को पकड़ के उसे हल्का सा सहला के आयने में देख के कहा...
वीर – माई तेरे अलावा है ही कोन मेरा..और इतनी खूबसूरत लड़की का गला सुना सुना अच्छा नही लगता.. आप ने मेरी पढ़ाई के लिए बेचा था न माई.. हाए कितनी खुसबूरत हो आप मां दिल होता है आप से ही शादी कर लू...
बिमला ये सुन के पानी पानी हो गई और उसकी छूत में कुछ हलचल सी मच उठी...
बिमला – चुप हो जा बड़ा आया मां से शादी करेगा..
वीर – क्या कमी है मुझे में आप का बापू से अच्छे से ध्यान रख सकता हु.. आप को दुनिया की हर खुशी दूंगा मां..
बिमला – रहने दे सब मर्द एक जैसे होते है... तेरे बापू भी यही सब बोलते थे...
वीर अपनी मां के गले को चूमने लगता है और बिमला ये वार सह नही पाती और मदहोश होकर बेटे को अपनी मनमानी करने से रोक नही पाई....
की तभी वीर के पापा आ जाते है और बिमला वीर से तुरंत ही दूर हो गई और अपने काम में लग गई... बिचारी को ऐसा लगा जैसे कोई पराया मर्द उसके साथ कुछ कर रहा हो और उसका पति आ गया हो...
जब वो बाहर निकल आई और शांत हुए उसे अपनी योनि पे गिपालन महसूस हुआ.. उसे भी यकीन नही हो रहा था की इतने साल बाद उसकी योनि ऐसे गीली होकर पानी छोड़ रही थी वो भी उसके अपने बेटे के लिए... वो शर्म से लाल हो गई थी...
अपनी पत्नी को यू भागता हुआ बाहर जाते देख वीर का बाप भी थोड़ा हैरान था...
वीर – मेम आप क्या बोल रही हो..
वीर डरते हुए बोलता है...
अनिता अपने फोन को हाथ में लेती और रवि को एक तस्वीर दिखाती हे जो देख रवि के होस उड़ गई उसे अपनी आखों पे यकीन नही हो रहा था..

तस्वीर में अनीता अपने बेटे की गोद में बैठी थी और उसका बेटा पूरा नंगा था और सायद उसका लिंग उसकी मां कि योनि में घुसा हुआ था...
वीर – मैम ये तो आप का बेटा है... ये केसे हो सकता हे...
अनीता – हो सकता है अगर बस ट्रस्ट होना चाहिए और प्यार...
वीर को अब उसकी मैडम पे भरोसा हो चुका था...
अनिता – बेटा तुम नही जानते एक मां के लिए ये कितनी बड़ी बात है.. की वो अपने ही बेटे के साथ वो सब करे जो वो उसके पापा के साथ करती हे.. बेटा उसके साथ बिताया हुआ एक एक पल मुझे पूरे दिन बैचेन करता है... बेटा तुम भी इतना न सोचो अपनी मां से बात करो....
वीर – मेम वो आप के जैसी मॉर्डन नही है.. बात नही कर सकता हूं...
अनिता – बेटा वीर फिर एक काम करो..आज रात को बस उनके कपड़े उतार दो..थोड़ा चूम लो थोड़ा छेड़ो...तुम खुद जान जाओगे..
वीर – वो वो मेम.. मेने कल उनका ब्लाउज खोल दिया था लेकिन मां ने मुझे कुछ बोला नहीं सुबह...
अनिता – ये तो अच्छी बात है यानी कही न कही उन्हे बुरा तोह नही लगा था..आज ही अगला कदम बड़ा दो..मना करे तो रुक जाना नही तो वो एक औरत ही तुम एक मर्द.. अच्छे से करना..एक बार बस उन्हे आदत लगा दे तेरे जवान लोड़े की... हाए क्या बोल रही हो सॉरी बेटा.. बताना ठीक है आगे क्या होता हे...अब तुम जाओ आज हाफ डे की छुट्टी मेरी और से... मां के लिए कुछ गिफ्ट लेता जा...
वीर ने काफी सोचा मां के लिए क्या लिया जाय..ब्रा पहनती नही मां.. और ऐसा वैसा कुछ ले भी गया तो घर में कोई देख सकता था..
फिर वीर के दिमाग में एक अच्छा सा आइडिया आया और मेने मां के लिए एक सोने का मंगलसूत्र खरीद लिया...

बिमला मंगलसूत्र देख हैरान और खुस हो गई और फिर मजाक में बोली...
"बहू लाने के कहा था और तू ही की मेरे लिए मगलसूत्र ले आया पागल " मां मुस्करा दी...

और मेने उनके गले में मंगलसूत्र डाल दिया...
बिमला – क्या जरूरत थी इतना खर्चा करने की...
वीर ने आयने में देख रही उसकी मां के कंधे पे अपना सर रखा और एक हाथ से अपनी मां के मुंह को पकड़ के उसे हल्का सा सहला के आयने में देख के कहा...
वीर – माई तेरे अलावा है ही कोन मेरा..और इतनी खूबसूरत लड़की का गला सुना सुना अच्छा नही लगता.. आप ने मेरी पढ़ाई के लिए बेचा था न माई.. हाए कितनी खुसबूरत हो आप मां दिल होता है आप से ही शादी कर लू...
बिमला ये सुन के पानी पानी हो गई और उसकी छूत में कुछ हलचल सी मच उठी...
बिमला – चुप हो जा बड़ा आया मां से शादी करेगा..
वीर – क्या कमी है मुझे में आप का बापू से अच्छे से ध्यान रख सकता हु.. आप को दुनिया की हर खुशी दूंगा मां..
बिमला – रहने दे सब मर्द एक जैसे होते है... तेरे बापू भी यही सब बोलते थे...
वीर अपनी मां के गले को चूमने लगता है और बिमला ये वार सह नही पाती और मदहोश होकर बेटे को अपनी मनमानी करने से रोक नही पाई....

की तभी वीर के पापा आ जाते है और बिमला वीर से तुरंत ही दूर हो गई और अपने काम में लग गई... बिचारी को ऐसा लगा जैसे कोई पराया मर्द उसके साथ कुछ कर रहा हो और उसका पति आ गया हो...
जब वो बाहर निकल आई और शांत हुए उसे अपनी योनि पे गिपालन महसूस हुआ.. उसे भी यकीन नही हो रहा था की इतने साल बाद उसकी योनि ऐसे गीली होकर पानी छोड़ रही थी वो भी उसके अपने बेटे के लिए... वो शर्म से लाल हो गई थी...
अपनी पत्नी को यू भागता हुआ बाहर जाते देख वीर का बाप भी थोड़ा हैरान था...