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Adultery सपना या हकीकत [ INCEST + ADULT ]

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DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
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हो जाइए तैयार
आगामी अपडेट्स के लिए

राज - अनुज और रागिनी
Hard-core threesome
बहुत जल्द

Gsxfg-IAX0-AAa-Jnh
(सिर्फ पनौती न लगे बस 😁)
 
Last edited:

Raj Kumar Kannada

Good News
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UPDATE 192 B


वरमाला का समय हो चुका था और दोनो एक दुसरे के सामने खुश होकर वरमाला लेके खड़े थे

दूल्हा दुल्हन की फोटो और तस्वीरों को मोबाइल मे कैपचर कर सबको अपना स्टोरी स्टेटस अपडेट करना था ।
ऐसे मे दोनो पक्षो के लोग स्टेज के सामने निचे बिल्कुल अव्यवस्थित और बेकाबू थे । सीटी बाजी और हुल्लड़बाजी से सदभावना भरी धक्कामुक्की भी हल्की फुल्की हो रही थी ।
ऐसे मे कमलनाथ अपने जेब से मोबाइल लेके भीड मे आगे बढता हुआ मोबाइल उपर करके बेधड़क रिकॉर्डिंग करने इस बात से बेखबर की अभी भी उसकी कोहनी से जिसके कन्धे पर धक्का लगा है वो दुल्हे की बुआ संगीता थी ।

संगीता - आउच्च , अरे देखिये ना कैसे धक्का दे रहे है ।

भीड और शोर अक्सर आपकी नैतिकता आपसे छीन कर आपको विवेकहीन बना ही देती है और उम्र का इससे कोई भी लेना देना नही होता ।

शादी जैसे माहौल मे वरमाला जैसा मनमोहक पल जिसमे हसी मजाक होना एक आम बात होती है ऐसी शोर और सिटियाबाजी होती भीड भरे वातावरण मे कमलनाथ के कान मे जैसे ही संगीता की आवाज पड़ी वो उसके शब्दों को दोहरे अर्थ मे ले गया और हस पड़ा ।

कमलनाथ बिना उसकी ओर देखे हसी मे बोला - कौन है भाई जो बिना देखे भाभी जी को धक्का दे रहा है , देख के धक्का दो ।

संगीता कमलनाथ के मजाक को समझ गयी और थोड़ी लाज मे हस भी पड़ी ।
उसकी हसी कानो मे पडते ही कमलनाथ ये जाचने के लिए उसकी ओर घुमा कि देखू तो कौन है और जैसे ही वो गरदन घुमा कर संगीता की ओर देखा , उसकी नजरे सीधा संगिता के गहरे गले वाले नीले ब्लाउज पर गयी और उसकी उभरी हुई गुदाज चुचियॉ की घाटी देख कर उसकी आन्खे फैल गयी ।

"ओ बैनचौं " , कमलनाथ के मुह से इतना ही निकला और वो संगीता को अपनी ओर देखता पाकर चुप होकर सामने देखने लगा ।

कमलनाथ की एक पल के लिए फट ही गयी समझो वही संगीता को कमलनाथ का कॉमप्लीमेंट पसन्द आया और उसने सोचा क्यू ना कमलनाथ को ही लपेटा जाये ।
मगर अगले ही पल उसे जन्गीलाल का ख्याल आया , तो उसने सोचा ट्राई करती हु देखती हु कौन आता है हाथ मे ।

भरी भीड का फायदा संगीता को लेना ही था और जानबुझ कर कमलनाथ की ओर झुकी ,

"अरेह्ह भाभी जी आराम से, कही गिर मत जाईये "

" मेरे प्यार मे " , कमलनाथ आखिर के लब्ज फुसफुसाता हुआ संगीता के हाथ पकड कर उसको सीधा किया ।

संगिता लाज भरी मुस्कुराहट के साथ - सॉरी वो किसी ने पीछे से धक्का दे दिया

कमलनाथ अपने आगे जगह बनाता हुआ - अच्छा आप यहा आ जाईये इधर जगह है

संगीता मुस्कुराई और कमलनाथ के बाई तरफ से उसके पुरे आगे ना आकर उसके बाई जांघ के सीध मे आधा आगे आ गयी ।

कमलनाथ का मुसल अब तक अपना असर छोड़ चुका था , पजामे मे टेन्ट और संगीता के दाये कूल्हो पर स्पर्श ।

सुपाडा रगड़ कर कमलनाथ को जितना मजा आ रहा था वही संगीता की भी कोसिस हो रही थी अपनी
पीठ का स्पर्श कमलनाथ के कंधो और सिनो पर हो सके ।

वही स्टेज पर लड़के लड़कियो मे दूल्हा दुल्हन को घेर रखा था ।
रिन्की भी थोडा अटेन्सन पाने की आस मे अपने दुल्हे भैया का पीछा नही छोड रही थी , वही दुल्हन की ओर से संख्या ज्यादा थी ।
ऐसे मे अनुज सरकते धक्के खाते वीडियो फ्रेम मे आने के प्रयास मे दूल्हे की साइड पहुच गया


"का हो देवर जी माल देख कर बराती साइड हो गईलीं " , पंखुडी भाभी ने अनुज को बगल मे खड़ी रिन्की को लेके छेड़ते हुए बोली ।
सारे लोग हस दिये , ऐसे मे अनुज मारे लाज के हस तो दिया मगर रिन्की से नजरे मिलते ही वो हसी भी गायब हो गयी ।
रिन्की ने भी बगल मे खड़े अनुज को पाया तो उसकी भी बेचैनी बढने लगी , उसने अपनी जुल्फो को कानों मे अटकाकर कनअखियों से उसकी ओर निहारा और सामने देखने लगी ।
वही दुल्हन की ओर खड़े राहुल ने मौका पाकर बबिता से सट रहा था , जिसपर बबिता खीझ रही थी मगर सबके सामने चाह कर भी कुछ बोल नही सकती थी ।
बबिता के बगल मे ही अरून था और उसके बाई तरफ पीछे ही गीता खड़ी थी ।
जो अरून को अपने पास पाकर बहुत खुश थी , हौले से उसने अपना हाथ धीरे से आगे करके उल्टे पंजे से अपनी उंगलियाँ अरून की उंगलियो पर स्पर्श किया ।

जिससे दोनो सिहर गये और अरून झटके से गरदन घुमा कर गीता की ओर देखा तो वो मुस्कुरा रही थी , अरून की सासे भी तेज हुई और उसने हाथ पीछे कर निचे ही गीता की कलाई को पकड़ लिया ।

गीता मानो सहम कर एक पल को पुतला ही बन गयी , आंखे फैली हुई सासे अटकी हुई धड़कन तेज और तभी उसी समय वरमाला हो गया ।

धड़ाधड कर चमकीले एक्सपलोजन दागे गये और तालियाँ सिटियां बजने लगी ।
तब जाके कही गीता को सुध आया और जब उसने वापस अरून की ओर देखा तो वो आगे देखता हुआ तालियां बजा रहा था ।

गीता ने चौक कर निचे देखा तो उसका हाथ वैसे ही खाली है और मानो पल भर के लिए उसने कोई सपना देखा हो ।

गीता मन में बड़बडाने लगी - शायद मेरा भ्रम ही था , अरून ऐसा नही कर सकता उसमे इतनी हिम्मत नही ।

उसके बाद सारे लोग निचे आ गये और आशीर्वाद - सगुन देने का प्रोग्राम चालू हो गया ।


वहीं स्टेज के नीचे कुर्सियों पर जिसको जहा जगह मिली वो बैठ गया ।

इधर संगीता ने आस पास कमलनाथ को देखा तो नजर नही आया और वो कुछ लाईन पीछे बैठा हुआ था ।

मौका देखकर संगीता उठी और कमलनाथ के पास जाने लगी ।
वही मुरारी की नजरे अभी तक अपनी बहन पर जमी हुई थी ।
उसने संगीता को उठ कर कमलनाथ के पास जाते हुए देखा और वहा उसे समझ नही आया कि वो क्या बातें कर रहे है ।

अपनी बहन का पहनावा और उसके हसमुख मिजाज से हो रही बात चीत पर मुरारी परेशान हो रहा था ।
उसने देखा कि संगीता कमलनाथ के मोबाइल पर कुछ टाइप करके मोबाइल उसको दिया और फिर हस्ती हुई कुछ बोल कर वापस आने लगी ।

मुरारी ने नजरे फेर ली दुसरी ओर
ममता ने नोटिस किया कि उसके पति अभी भी कुछ परेशान है तो उसने उनकी ओर देख कर पूछा- क्या हुआ सब ठिक है ना ?
मुरारी ने मुस्कुरा कर हा मे सर हिलाया और धीरे धीरे एक एक करके बारी बारी से सारे लोग स्टेज पर तस्वीरें निकलवा कर निपटारा करने लगे ।

वही संगीता के मोबाईल पर मैसेज बिप होने लगे एक के बाद एक करके

संगीता ने अपना मोबाइल खोला और व्हाट्सअप पर एक नये नम्बर से कुछ वीडियोज़ फोटो आये थे ।
सगीता ने उस नये नम्बर की डीपी देखी और फिर मुस्कुराते हुए गरदन घुमा कर कमलनाथ की ओर देखा ।
कमलनाथ भी उसकी ओर देख कर मुस्कुराते हुए वापस स्टेज की ओर देखने लगा ।

वही मुरारी को बेचैनी हो रही थी कि संगीता - कमलनाथ के बीच क्या खिचड़ी पक रही है ।

संगीता ने कमलनाथ के मदद के लिए उसको व्हाट्सअप पर थैंक्स का मैसेज किया ।

वही कमलनाथ का मैसेज बिप हुआ तो उसने मोबाइल खोल कर संगीता का मैसेज देखकर मुस्कुराया और टाइप करने लगा ।

कमलनाथ - most welcome ji 😊

संगीता - ☺☺
कमलनाथ ने एक नजर संगीता की ओर देखा और वापस मोबाइल मे टाइप करने लगा

कमलनाथ - agar aap kahe to mai aapki bhi aisi hi achchi tasvire nikal sakata hu

संगीता ने मैसेज पढ कर ही कमलनाथ का इरादा समझ गयी और मुस्कुराते हुए मैसेज टाइप करने लगी

संगीता - achcha ji , lekin kaha ?
संगीता - yaha to kitni bhid hai koi dekhega to kya sochega ?

कमलनाथ - abhi nahi thoda sbko khana pina kar lene dijiye , fir ek jagah hai waha chal sakte hai hm log

संगीता की सासे चढ़ने लगी और उसने टाइप किया - hmm ok dekhati hu 🙂

फिर उसने नजरे घुमा कर कमलनाथ की ओर देखा , दोनो की आंखो मे हवस उतर ही चुका था , कमलनाथ बैठे हुए ही अपना मुसल सेट करने लगा कुर्ते के निचे से ।
कुछ देर बाद लोग खाना खाने पर भीड गये वही स्टेज पर दूल्हा दुल्हन का क्लोजअप तस्वीरें के पोजेज हो रहे थे ।
कैमरामेन तरीके तरिके रोमैंटिक पोज बता रहा था और जो कुछ भी हो सकता था अमन और सोनल करने की कोसिस करते थे ।

पास मे खड़ी निशा ने कुछ सोचा और कैमरामैन से बोली - भैया यहा पर ये लोग एक भी अच्छा पोज नही करने वाले देख नही रहे कैसे शर्मा रहे है सबके सामने !!

सोनल मारे लाज मुस्कुरा कर मुह फेर ली और अमन भी हस दिया ।

निशा - ऐसा करती हुई मै इन दोनो को लेके उपर जाती हु और आप भी खाना खा के आजाओ जल्दी से फिर शादी भी होनी है उपर ही

कैमरा मेन ने अपने साथी की ओर देखा तो उसने हामी भर दी और निशा दोनो को लेकर घर मे जाने लगी


दूल्हे के साइड से कुछ लोगो के आपति कि तो उसने निशा ने चहक कर जवाब दिया - जीजू अब हमारे हो गये है आप लोग खाना खा के घर जाओ हिहिहिही
निशा की शरारत भरी बात पर सब हस दिये ।

रागिनी - अरे कहा लेके जा रही है उपर , जमाई बाबू कुछ खायेंगे नही क्या ।

निशा - खायेंगे ना लेकिन शादी के बाद अभी तो इनका फोटोशूट बाकी है उसके लिए उपर लेके जा रही

बबिता - मै भी चलुगी जीजू के साथ हिहिही
निशा डांट कर - नही कोई नही आयेगा , ये लोग पहले से ही इतना शर्मा रहे है और भीड नही चाहिये

राज की मामी ने भी बदले मे बबिता को समझाया और जाने से मना किया, फिर घर के सारे लोग खाना खाने के लिए स्टाल की ओर चले और निशा दोनो को लेके उपर चली गयी
उपर पहुचते ही निशा सोनल और अमन सोनल के कमरे मे चले गये
कमरे मे जाते ही सोनल ने लपक कर अमन को पकडा और उसके होठ चूसने लगी निशा के सामने ही
और अमन को सुरुर चढने लगा उसने भी सोनल के कन्धे थाम कर उसके होठ चुसने लगा ।

निशा दरवाजा भिड़का कर - ओहो लैला मजनू , थोड़ा सबर कर लो हिहिहिही और तु सोनल थोडा अपने मेकअप का ध्यान दे

दोनो हस्ते हुए अपने होठ पर रुमाल रख कर साफ करते हुए अलग हुए

अमन ने पास ही आईने मे अपना मुह देखा तो
सोनल की लिपस्टिक उस्के होठो के उपर निचले लाल कर चुकी थी जिसे देख कर निशा चहकी - हिहिहिही अब जीजू ऐसे ही रहो आप हिहिही
अमन हड़बड़ा कर - अरे नही यार , वाशरूम कहा है

निशा खिलखिला कर - निचे है ,जाना है ऐसे ही

सोनल अमन को परेशान देख - अब परेशान मत कर और इनको उपर वाले बाथरूम मे लेके जा जल्दी ,

निशा हस्ती - चलिये जीजू हिहिही

दोनो जीने से उपर जाने लगे और उपर का दरवाजा खोलकर उसे बाहर से बन्द करते हुए

निशा - तब मेरे डार्लिंग जीजू आपको अपना वादा याद है ना
उपर की छत पर कोई नही था , बस शादी के लिए मंडप सजा हुआ था सारे लोग निचे ही थे ।

अमन - कैसा वादा
निशा ने मौका देख कर झट से अपना हाथ शेरवानी के उपर से अमन का लन्ड दबोचा- अह्ह्ह वही कल सुहागरात वाला , करेंगे का वीडियो काल

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अमन का लन्ड पूरी तरह से तनमना गया उसने झटके से निशा को अपनी ओर खिंच और वही जीने के पास ही उसके रसिले होठ चुसने लगा
निशा भी उसका साथ देने लगी ।

अमन अपने हाथ निचे ले जाकर निशा की चर्बीदार गाड़ को उसकी उस्के लहगे के उपर से दबोचना चाह रहा था मगर कोसिस नाकाम थी ।

वही निशा अमन के होठ चुसते हुए अमन की शेरवानी मे हाथ घुमा कर पजामे के उपर से उसका मोटा लन्ड मसल रही थी


अमन - उम्म्ं निशा रुक जाओ ह्ह सीई मै परेशान हो जाऊंगा प्लिज्ज्ज सीईई अह्ह्ह

निशा ने उसकी आंखो मे देखा और उसके आड़ सहलाती हुई बोली - आज नही जीजू

फिर निशा झट से निचे बैठ कर अमन की शेरवाणी उठा कर अपने सर पर कर दिया और उसके पैंट वाली डिजाइन मे बने पजामे के हुक खोलकर उसका चैन निचे किया
फिर अंडरबियर मे हाथ घुसा कर उसका 9 इंच वाला बियर की कैन जैसा मोटा गर्म लन्ड बाहर निकाल लिया ।

अमन की हालत खराब थी और उसे डर भी लग रहा था ।

यूँ खुली छत पर सरेआम एक दुल्हा अपनी ही शादी वाले दिन अपनी साली से लन्ड चुसवा रहा है । वो उत्तेजित डर से घिरा आस पास के घरो की छत पर देख रहा था ।

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वही निचे निशा अपना मुह खोल कर उसका सुपाडा मुह मे भर चुकी थी ।
अमन सिस्का - अह्ह्ह निशाह्ह्ह उम्मममं सीईईई

निशा शेरवानी के निचे ही मुह डाले अमन का मोटा लन्ड पकड कर चुसे जा रही थी और अमन आहे भर रहा था ।
निशा ने लन्ड को उठा कर अपनी जीभ को उसकी सुपाडे की निचली गांठ पर जीभ से कुरेदा तो अमन पागल सा हो गया , उसने एक गहरी आह भरी और जीने की दिवाल का सहारा ले लिया ।

निशा ने दोनो हाथो ने उसका लन्ड पकड़ कर चुसने लगी और अमन के लिए ये सब बहुत ही रोमांचक था ।
बीते समय अपनी मा के साथ बिताये रोमांचक पल और अभी खुद की शादी मे साली से मिला सरप्राइज अमन को पुरा उत्तेजित कर दिया ।

उसके लन्ड की खुजली बढ़ने लगी थी

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उसने निशा के सर को पकड कर अपने लन्ड पर दबाव बनाने लगा तो निशा भी लन्ड को गले तक उतारने लगी

उसकी लार मे लसराया हुआ अमन का मुसल पुरा फौलादी हुआ पड़ा था और उसका सुपाडा बुरी तरह जल रहा था , उसके अब बर्दाशत होना पॉसिबल नही था

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एडिया उचका कर उसने निशा के मुह मे लन्ड को भर दिया और झटके खाने लगा , निशा का मुह पहले से लार छोड रहा और उसका मुह अब अमन मे वीर्य से भरने लगा , गट गट कर वो सारा वीर्य पी गयी और हफते हुए जब अमन शान्त हुआ तो उसने उसका लन्ड साफ कर वापस शेरवानी सेट कर दिया ।

निशा खड़ी होकर अपना मुह हथेली से पोछती हुई हस दी
अमन हस कर - तु बड़ी वो हो ?

निशा - क्या छिनाल ? हिहिहिही
अमन उसकी कमर मे हाथ डाल कर - उससे भी बढ़ कर पोर्नस्टार हो तुम एकदम चुदक्कड़

निशा उसको बाथरूम की ओर ले जाती हुई - अच्छा इतनी जल्दी जान गये मुझे

अमन - अरे साली साहिबा तुम्हे तो हम पहले से ही जानते है , ये चुतड़ कैसे मोटे हुए मै सब समझता हु

निशा हस कर शर्माती हुई - धत्त चलो फ्रेश हो लो , निचे जाना है हमे

अमन हस कर - वैसे कल वीडियो काल क्यू करना , मै तो कह रहा हु कि तुम भी चलो कल , रात मे तुम्हारी दीदी को सुला कर तुम्हारे पास आ जाऊंगा

निशा - ऊहु इतनी भी क्या जल्दी है जीजू , पहले दीदी का दिदार कर लो और मै भी तो देख लू कि आप कितने बडे खिलाड़ी है हिहिहिही
उसके बाद दोनो निचे आ गये , देखा तो निचे राज की मामी खाना लेके आई थी ।

मामी मुस्कुरा कर - अरे इतनी देर लगा दी हाथ धुलाने मे

निशा मजे लेती हुई - क्या करू मामी , जीजू को यहा का बाथरूम इतना पसन्द आया कि वो बाहर ही नही आ रहे थे , वैसे क्या कर रहे थे जीजू

अमन मामी के सामने लजा कर बस मुस्कुरा कर चुप ही रहा ।
वही निचे दूल्हे के पक्ष के खास मेहमानो की खातिरदारी मे लोग लगे हुए थे और ऐसे मे संगीता की निगाहे काफी समय से कमलनाथ को खोज रही थी , उसने दो बार मसेज भी किया मगर उसे कोई रेस्पोंस नही मिला ।

तभी उसकी नजर जंगी पर गयी जो उसकी ओर ही आ रहा था ।

जन्गी - चलिये खाना खा लिजिए
जन्गी को देखकर और कमलनाथ का रिस्पोंस ना पाकर संगीता का मूड स्विन्ग हुआ और उसने जन्गी को लपेटने का सोचा ।

संगीता - जी वो मुझे वाशरूम यूज़ करना था थोड़ा

जंगीलाल - अच्छा आप आईये इधर चलिये
और जन्गी उसे लेकर नजदीक के चंदू के घर मे घुस गया
गलियारे से होकर दोनो पीछे आंगन मे गये और वहा टोइलेट की स्थिति कुछ खास ठिक नही थी ।

संगीता - ओहो ये तो पुरा गन्दा है

जंगीलाल ने भी नजर मारी तो पाया कि किसी ने टोइलेट मे पानी नही डाला था ।

संगीता - आप बाहर जाईये मै आती हु
जन्गीलाल समझ गया कि वो खुले आंगन मे ही पेसाब करने वाली है

जन्गीलाल का मुसल टाइट हुआ और वो गलियारे से बाहर आ गया , मगर उसके दिमाग मे रागिनी से किया वादा और संगीता को पेलने की च्सक उठ रही थी ।
उसका मुसल तन रहा था और वो धीरे धीरे दबे पाव वापस गलियारे से होकर आंगन की ओर जाने लगा ,

आंगन तक पहुचने से पहले ही जंगीलाल ठहर गया उसकी आगे बढ़ने की हिम्मत नही हो रही थी।

वही संगीता पेसाब करने के बाद वही उठ कर खड़ी थी कि इस आश मे कि शायद जंगी आ जाये

संगिता को लगा कि शायद जन्गी उस मिजाज का नही है जैसा वो समझ रही है और उसका मन उतर गया
उसने अपनी साड़ी सही की और फिर वापस गलियारे की ओर आई , जैसे ही गलियारे मे वो दाखिल हुई सामने दिवाल से चिपके जंगी को देख कर वो चौकी - अरे आप यही थे क्या ?

जन्गी हड़बड़ाया - जी नही वो मै अभी आया हु

संगीता मुस्कुराई और जंगी को परेशान देख कर अपना रुख कड़ा किया - ये अच्छी बात नही है , मैने आपपर भरोसा किया था और आप

जन्गी - मै सच कह रहा हु मैने जरा भी नही देखा ,मै आया तब तक उठ चुकी थी

संगीता - मतलब आप देखने के इरादे से ही वापस आये थे ना

जंगी की चोरी पक्डी गयी और वो इस बात से कैसे इन्कार करता - जी वो मै न्हीईई

संगीता मुस्कुरा रही थी और उसको मुस्कुराता देख जंगी को अचरज हुआ - जी सॉरी वो मै बहक गया था , शादी के भागा दौडी भरे माहौल मे आपको देखकर मैने सोचा कि


संगीता की सासे चढ़ने लगी - क्या सोचा आपने , यही कि चोरी से देख लू उम्म्ंम

जंगी - जी बस ऐसा ही कुछ,
संगीता - वैसे क्या करने वाले थे देख कर आप मुझे

जंगी लाल - जी वो मै अह छोडिए ना प्लीज ,चलिये चलते है

संगिता के बार बार ओफर करने पर भी जन्गी की हिम्मत नही हो रही थी और वही उसका मुसल बेताब हुआ जा रहा था ।

संगीता ने नशीली आंखो से उसकी ओर देखा और बोली - बोलिए ना , अगर मेरे लायाक हुआ तो मै मदद कर दूंगी मै

जन्गी ने आंखे बड़ी कर संगीता की ओर देखा और थुक गटक कर बोला - जी बस देख कर हिला लेता और क्या ? इतने दिनो से मेरी बीवी ने मुझसे दुरी की है शादी की वजह से

संगीता को एक पल को जन्गी की वजह वाजीब लगी मगर उसको इससे फर्क नही पडने वाला था और वो पूरी तरह से गर्म हो गयी थी , उसने मुस्कुरा कर वापस आंगन की ओर गयि


जन्गी उसके मटकते मादक मोटे कूल्हो को हिलत देख कर उसकी ओर घूम कर अपना मुसल मसला
संगीता ने इतरा कर आंगन के बिचोबिच खडी होकर गरदन घुमा कर जंगीलाल को देखा और मुस्कुरा कर अपनी साडी उपर करने लगी ।
संगीता की हरकत से जंगी का दिमाग खराब होने लगा वो बौखला उठा , उसका लन्ड फड़कने लगा , उसने जोर से अपना मुसल मसला और थुक गटक कर वही खड़ा रहा ।

संगीता पीछे से अपनी साडी पेतिकोट के साथ बटोरती हुई उपर करने लगी , उसकी जान्घे और उसकी गाड़ और फिर पीछे से पूरी जंगी

20240120-080315

फिर वो आगे की जैसे ही झुकी उसकी गाड़ फैल कर जन्गी के सामने थी और बुर की मोटी फाके सफेद रस छोड रही थी


जंगी ने झट से एक नजर बाहर की ओर देखा और अपना पैजामा खोलकर लन्ड बाहर निकाल कर हिलाता हुआ संगीता के पास पहुच्गा - उह्ह्ह भाभीई जीई आपने मेरे लिये उह्ह्ह्ह्ह

संगीता - मुझे किसी का दर्द देखा नही जाता भाईसाहब अह्ह्ह कर लिजिए आप अपना

जंगी ने फौरन जेब से मोबाइल निकाला और रिकॉर्डिंग ऑन करते हुए निचे की ओर फोकस करते हुए सामने संगीता की गाड़ पर फोकस कर उसकी वीडियो बनाता हुआ वापस से कैमरा अपना तनमनाये मुसल पर किया और हाथो मे लेके हिलाने लगा ।

20240209-161853
जंगी समझ रहा था ये आज चुद के ही जायेगी इसलिए उसने भी देर ना करते हुए उसकी गिली फाको मे लन्ड भिड़ाते हुए हचाक से लन्ड उसकी बुर मे पेल दिया

संगीता की आंखे उलट सी गयि इस अचानक हमले से , उसे लगा जंगी प्यार ए उसको स्पर्श कर उसकी रसिले फाको को चाट कर उसे दुलार देगा
मगर जन्गी ने उसके उलटे एकदम से अपना मोटा लन्ड उसकी बुर मे उतार दिया

संगीता - अह्ह्ह माह्ह्ह येह्ह्ह क्याह्ह उह्ह्ह्ब उम्म्ं सीईई ओह्ह्ह्ह

जन्गी - चुप कर छिनार साली बनती क्या है बहनचोद येह्ह्ह लेह्ह्ह्ह साली चुदक्कड़ उह्ह्ह क्या गर्म बुर है उह्ह्ह

सन्गिता जन्गी के मुह से गालियां सुनकर और मस्त हो गयि वही

संगीता- अह्ह्ह आराम सेह्ह्ह उम्म्ंम सीईई इह्ह्ह फक्क्क्क मीईई उम्म्ंम्म्ं फ्क्क्क्क मीई येस्स्स एयेस्स

जंगी - ओह्ह तु अंग्रज की चोदी है रुक बताता हु आह्ह लेह्ह्ह अब बोल उह्ह्ह

20231119-120908
जंगी ने मोबाईल की कामलायक रिकार्डिंग होने के बाद मोबाइल कुर्ते की जेब मे रख कर उसके कुल्हे पकड कर कस कस लन्ड पेलने लगा

संगीता के लिए ऐसे आगे झुके हुए लन्ड ले पाना कठिन हो रहा था और वही जन्गी के लिए इस पोजीशन मे मजा रहा था , उसका लन्ड खड़े खड़े ही संगीता की बुर मे जड़ तक जा रहा था ,

जंगी - उह्ह्ह एल्ह्ह्ह्ह अह्ह्ह और लेह्ह्ह उम्म्ं आयेगा आह्ह बता कहा भरू , भर दू तेरी चुत मे बोल ना साली उह्ह्ह आह्ह एल्ह्ह्ह

संगीता - न न्हीईई अंडर न्हीई उह्ह्ह्ह बाहर बाहर निकाल दोह्ह्ह उह्ह्ह

जंगी लाल झट से लन्ड बाहर निकाल कर उसकी गाड़ पर पिचकारी छोड़ने लगा और झाड़ कर पीछे हट गया ।


संगीता बुरी तरह वैसे ही झुकी हुई हाफ रही थी और गाड़ पर
उसके जन्गी का वीर्य रिस्ता हुआ उसकी जांघो पर जाने लगा

संगीता - आरेह्ह जरा साफ करेंगे उस्को
जंगी ने जल्दी आनग्न मे एक तौलिये से अपना वीर्य संगीता की जांघ से साफ किया और उसे एक बालटी मे डाल दिया ।
संगीता खड़ी हुई और मुस्कुरा कर जन्गी की ओर देखा - आप तो बस कुछ और करने वाले थे ना

जंगी - हा लेकिन उसे देख कर रहा नही गया

संगीता - बहुत चालू निकले आप हिहिहिही
जन्गी उस्के पास आकर उसकी गाड़ मस्लता हुआ - अगर फुर्सत मिले तो बताता हु कितना चालू हु

संगीता - धत्त छोडिए अब , कोई आ जायेगा
जंगीलाल ने वही उचित समझा और चुप चाप दोनो बाहर आ गये ।

वही बाहर कमलनाथ के साथ साथ मुरारी की निगाहे भी संगीता को खोज रही थी । मगर कमलनाथ को अपनी आंखो के आगे पाकर मुरारी थोडा निश्चिंत जरुर था ।

मगर कमलनाथ की बेताबी बढ़ रही थी उसने मैसेज का रिप्लाई किया मगर संगीता का कोई रेस्पोन्स नही आया था ।
तो वो कॉल करने लगा ।

जन्गीलाल जैसे ही बाहर आया तो संगीता रुक कर साइड होकर कमलनाथ का फोन पिक की - हा हैलो

कमलनाथ - कहा है आप , दिख नही रही
संगीता इतरा कर स्टाल की ओर कमलनाथ को देखा जो उसे ही खोज रहा था ।

सन्गिता मुस्कुरा कर फोन पर जवाब देते हुए - लेकिन मुझे क्यूँ खोज रहे है आप ?

कमलनाथ - अरे मैने सोचा सब बिजी है तो क्यू ना आपकी तस्वीरे निकाल दूँ

संगीता ने सोचा यही मौका ठिक है और जंगी से जल्दीबाजी मे चुद भी नही पाई थी ।


संगीता - अच्छा ये बगल मे एक मकान है ना जिसपे कलर नही लगा है बस खाली सा पड़ा है

कमलनाथ ने झट से चंदू के घर की ओर देखा और संगीता के साडी से दुर से ही उसे पहचान गया ।

संगीता वही खड़ी थी ।
कमलनाथ - हा हा देख गया
संगीता - आयिये मै अन्दर हु

कमलनाथ का मुसल टाइट हुआ और उसने आस पास देखा और चुपचाप सरकता हुआ चंदू के घर मे घुस गया ।

जारी रहेगी
Super Update Bhai ❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️👍❤️❤️❤️❤️😍🥰 Keep It Up 💯💯💯💯🥰🥰😍❤️❤️❤️❤️🥰🥰🥰🥰🥰😍😍
 

DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
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Superb bhai ji ab sangita ki chut kamalnath bhi marega or janggi lal ne recording kr li h ragini ko dikane ke liye ab dekhte h ki ragini or janggi ke bich kya hota h
Bhai aap ne raj ko to dikaya hi nhi is update me or nahi anuj or salini ka kuch dikhaya but aap ka likhe ka tarika jo h wo or kisi story me maine nhi pada bhai ji agla update me dekhte h kya hota kyu ki sab ke sab line me lage h rahul babita,arun or gita,salini anuj or rinki bhi lage hue h,to wahi dono fuffa or bua ji bhi h unka bhi kuch karwao or ant me rangi lal or mamta ji ka bhi kuch karao bhai ji
Dhanywaad
 

DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
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रेगुलर अपडेट प्रोग्राम

जैसा कि मैने कहा था कि जॉब सेटल के बाद से इस कहानी पर रेगुलर अपडेट शुरु हो जायेन्गे तो इसकी शुरुवात हो गयि है
अपडेट रेगुलर का मतलब वीक मे 4-5 अपडेट आ ही जायेंगे ।
बजाय इसके कि मेरा मूड या वर्क लोड आड़े ना आये ।
कोसिस रहेगी रात मे 8-9 बजे तक अपडेट दे पाऊ
बाकी देश काल और परिस्थिति के उपर निर्भर है

तो दिखाईये अपना प्यार इस कहानी के लिए
लाइक कम्मेंट जैसे भी आप दिखा सकते है
मेरे साथ ये आपके लिए भी चुनौती भरा प्रोग्राम होने वाला है :dontknow:
 
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Raj Kumar Kannada

Good News
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DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
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UPDATE 192 C


"अरे लो ना आप !! मै दीदी के लिए भी लाता हूँ " , राज ने खाने से सजी हुई थाली लेके सिम्मी की इंसिस्ट करता हुआ उसके हाथ मे थाली देके बोला ।

फिर भाग कर दो प्लेट लगा कर वापस आया और एक प्लेट नीलू को देते हुए एक प्लेट खुद लेके खाने बैठ गया


नीलू - भाई तेरी पढ़ाई कैसी चल रही है
राज आंखे उठा कर नीलू की ओर देखा - क्या दीदी क्यू मूड की ऐसी तैसी कर रही हो हिहिहिही

राज की बात पर सिम्मी हसी और उसे हस्ता देख कर वो भी मुस्कुराते हुए - हा और क्या ? दुकान और घर की जिम्मेदारीयों से फुर्सत मिले तब तो पढ़ाई में ध्यान दू और वैसे भी मेरा ग्रेजुशन चल रहा है

नीलू - हा लेकिन उसके साथ कोई तैयारी भी कर ना , दुकान जरुरी है क्या तेरे लिये । मामी है ना

राज - मम्मी अकेले कैसे कर पायेंगी दीदी बहुत झंझट है

चारु - भाई झंझट तो आगे चल कर हो जायेगी और तु बता अब के टाईम कौन ऐसी लडकी है जो ऐसे लड़के को पसन्द करेगी जिसके पास अपना कुछ नही वो अपने मा बाप पर ही डीपेंड है

चारु की बातें सुनकर राज के दिमाग में हलचल सी मच गयी क्योकि आज तक उसने जीवन को कभी इस नजरिये से नही देखा था

नीलू - हा चारु सही बोल रही है तु , इन्फैक्ट सोनल दी की लव मैरिज भी जीजू के govt job की वजह से हो रही है

राज का दिमाग ये सब सुन कर सन्न था , वो बस सामने बैठी सिम्मी की ओर देख रहा था उसके जहन मे सवाल उठ रहे थे कि अगर भविष्य मे उसे भी किसी से प्यार हुआ तो क्या वो अपना प्यार जीत पायेगा । उसका अपना परिवार तो राजी हो भी जाये मगर उस लडकी की फैमिली का क्या ? सिम्मी जैसी लड़की के पैरंट्स मुझ जैसे आम से लड़के के लिए क्यू इतना समाजिक दबाव उठाएंगे ।

राज के जहन मे बहुत कुछ चल रहा था
कुछ अपने भविश्य का डर तो कुछ घर की चिंता
थोडा बहुत सिम्मी के करीब जाने और उसकी नजर उसके पसन्द का लड़का बनने की ख्वाईश भी उठ रही थी ।
वही इनसब के बीच मे अपने परिवार नातेदारो के संग उसके हसिन कामुक पल भी उठ कर आ रहे थे ।


"राज राज " कहा खो गया भाई , नीलू ने उसका कन्धा हिलाते हुए बोली


राज मुस्कुरा कर एक नजर सिम्मी को देखा जो उसकी ओर देख रही थी - नही नही कही तो नही

नीलू - भाई तु प्रेशर ना ले , अभी शादी इंजॉय कर मगर इस बारे मे सोचना जरुर

राज - हा दीदी सही कह रहे हो आप

चारु - अच्छा वो सब छोड़ो और ये बताओ इस कैमरे वाले से हम लोगो की तस्वीरे कैसे मिलेगी , अल्बम आने मे तो टाईम लगेगा ना

राज - अरे मै उससे ले लूंगा
चारु - ओके फिर मुझे व्हाट्स कर देना तुम

सिम्मी- मुझे भी
नीलू - मुझे भी

राज अभी सिम्मी के बारे सोच रहा था तभी चारु - अरे सोच मत अपना नम्बर बोल हम तुझे अपने ग्रुप मे ऐड के दे रहे है वही भेज देना ओके

राज - ओके दी
इधर इनकी आंख मिचौली चल रही थी वही खाने के स्टाल के एक दुसरे टेबल पर जुता चुराई की रणनीति बन रही

राहुल अरून गीता बबिता की ।
गीता अभी तक स्टेज वाली बात के लिए परेशान थी वही राहुल बबिता को परेशान करने मे कोई कसर नही छोड रहा था ।
आंखो से इशारे तो कभी कोहनी कोना छू कर

बबिता - यार राहुल तुम प्लीज ध्यान दोगे
राहुल - मेरा ध्यान तो तुम्ही पर है यार
राहुल की बात पर गीता हस दी और अरून ने बबिता का फुला हुआ मुह देख कर धीरे से गीता के हाथ पे हाथ रख कर उसको दबाया ।

गीता ने आंखे बड़ी कर अरून की ओर देखा तो अरून ने बबिता की ओर इशारा किया
गीता चुप हो गयि और मुस्कुराने लगी , वही अरून ने अपना हाथ वापस वैसे ही रखे रहा , करीब 10 मिंट तक बातें चलती रही मगर अरून ने एक बार भी गीता के हाथ से अपना हाथ नही हटाया ।

जब उठने की बारी आई तो गीता ने हाथ हिला कर मुस्कुराते हुए अरून को इशारा किया तो अरून ने लाज मे हाथ हटाते हुए - ओह्ह सॉरी
गीता मुस्कुराई और नजरे निचे किये हुए बबिता के साथ घर की ओर चली गयि ।
और राहुल हस्ता हुआ अरून को ताली देता है - साली मेरी वाली बहुत नखरे बाज है यार

अरून हस कर - नखरेवाली है तो हचक के लेगी भी देखीयो

राहुल - सीई कास ऐसा ही हो तो मजा आ जाये हिहिहिही
अरून - चलो आगे का काम देखते है , शादी भी निपटानि है ना

राहुल - हा भाई चल




वही गेट से घुसते ही संगीता कमलनाथ को गलियारे के मुहाने पर मिल गयी ।

संगीता - अरे आ गये आप , लेकिन यहा लाईट सही नही है

कमलनाथ गलियारे मे जाता हुआ - अरे आईये एक जगह है

कमलनाथ गलियारे के बीच मे उसी कमरे का दरवाजा खोलकर दाखिल होता है जहा कल रात वो सोया हुआ था ।

कमरे की बत्ती चालू कर कमलनाथ - आईये अन्दर आ जाईये

संगीता मुस्कुराती इतराती कमरे मे दाखिल हुई

कमलनाथ कमरे का दरवाजा हल्का सा भिड़काते हुए - जी कहिये कैसा फोटो निकालू

संगीता - वैसे क्या आप फोटोग्राफि करते है पेशे से

कमलनाथ - नही बस थोड़ा बहुत काम किया था बहुत पहले जब काम की तलाश मे लुधियाना गया था ।

संगीता - आह्ह देखीये मुझे कुछ एक्सक्लूसिव तस्वीरे निकलवाणी है मेरे इंस्टा पेज के लिए

कमलनाथ- हा क्यों नही कर दूँगा मै आईये खड़ी हो जाईये
कमलनाथ ने 8 10 तस्वीरें निकालने के बाद थोड़ा सा बेकाबू हुआ जा रहा था ।

सन्गिता की कामुक और नशिली अदाये उसे बुरी तरह रिझा रही थी मगर पहल हो तो हो कैसे ?
वो ये बात भी जान रहा था कि कोई भी संगीता के मिजाज वाली औरत एक अंजान आदमी के साथ इतनी नजदिकियां दिखाती हुई एक खाली घर मे उसके साथ क्यू आयेगी ।

कमलनाथ ने कुछ सोचा और फिर वो मोबाइल संगीता को देता - आह्ह एक मिंट भाभी जी मै अभी आया

संगीता थोडा सोचते हुए उसके हाथ से मोबाइल लेकर तस्वीरें देखने लगी और वही उसके जहन मे अपनी ही बड़बड़ाहट जारी थी ।

उफ्फ़ ये मर्द जात इतना भोला क्यू बनने की कोसीस करते है जैसे मानो हम औरते कुछ समझ नही रही हो ।
ये अमन के ससुराल वाले कुछ ज्यादा ही शर्म लाज का गहना ओढ़े हुए है । लगता है मुझे ही इस बार भी कुछ करना पड़ेगा नही तो आज की रात मुझे परेशान कर डालेगी ।
अभी संगीता अपने ख्यालों मे गुम थी कि तभी दरवाजे से कमलनाथ कमरे मे दाखिल हुआ


संगीता उसको देख के हस पड़ि -अरे क्या हुआ आप ऐसे क्यूँ
कमलनाथ अपने अंडरवियर मे बने तम्बू को मसलता हुआ - आह्ह अब बस भी करो ये नाटक उह्ह्ह मै जानता हूँ हम यहा क्यू मिल रहे है ।
संगीता बिस्तर पर बैठी मुस्कुराई और नजरे निचे करती हुई मुस्कुराने लगी ।

कमलनाथ उसके करीब जाकर उसके सामने खडे होकर हग करने लगता है और उसकी चर्बीदार कमर को मसलता हुआ उसकी साडी के अंडर हाथ घुसा कर गाड़ का जायजा लेता हुआ - अह्ह्ह भाभी क्या मस्त पिछवाडा है

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संगीता कमलनाथ के स्पर्श से सीस्कती है - उन्मममं सीईईई
कमलनाथ उसके कूल्हो को मसलता हुआ उसके रसिले होठ चुसने लगा है

संगीता भी उसके होठ चुसते हुए उसकी नंगी जांघ पर हाथ फिराते हुए पीठ सहलाने लगती है

कमलनाथ उसके हाथ पकड कर खड़ा करता है और खुद निचे झुक कर उसकी साडी हटाते हुए उसकी गुदाज नाभि को चुमने लगता है

अपने कूल्हो पर रंगते कमलनाथ के हाथ और पेट पर ठंडी चुंबन ने संगीता का रोम रोम खड़ा कर दिया था ।
उसके पाव कांप रहे थे और वो उसके सर मे हाथ फिराते हुए सिस्कने लगी ।

अह्ह्ह्ह सीईईई उम्म्ंम्ं आराम्म्ंं सेह्ह्ह मेरीईई साडी खराब हो जायेगीईई अह्ह्ह उम्म्ंम्ं " , संगीता बौखलाये कमलनाथ को समझाती हुई बोली ।

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कमलनाथ उसके पेट चुमता हुआ उसकी साडी उपर कर उसके भरी भरी मोटी खरबजे जैसी चुचिया बलाऊज के उपर से दबाता हुआ - उह्ह्ह भाभीईई ज्जीईई क्या मुलायम जोबनो का जोडा है अह्ह्ह बहुत रस भरा है इनमे उम्म्ंम उम्म्ंम
कमलनाथ ने अपनी थूथ को उसके दोनो चुचो के बीच ब्लाउज के उपर से रगड़ा ।

संगीता उसके सर को अपने छाती पर दबाए बुर से रस बहाती हुई - उम्म्ंम्ं भाईसाह्ह्ब्ब उह्ह्ह अह्ह्ह अराअम्ंंंं से उम्म्ंम सीईई
कमलनाथ ब्लाऊज के उपर से उसके तने हुए निप्प्ल को होठो के भर कर चुबलाया - अह्ह्ह भाभीईई जबसे आपको देखा है तबसे बेकाबू हुआ जा रहा है मन और उह्ह्ह्ह उंम्ंम्ं


संगीता कमलनाथ के गालों को थामती हुई अपने सीने पर रगड़ा कर - और क्याह्ह्ह उम्म्ंम्ं उह्ह्ह्ह अह्ह्ह माह्ह्ह्ह
संगीता की बात पर कमलनाथ उठ खडा हुआ और उसको कस कर अपने आगे करता हुआ अपने मोटा मुसल से साडी के उपर उसकी पनीयानी बुर के ठोकर मारता हुआ - और ये भीहहह

संगीता अपनी बुर के मुलायम फाको मे कमलनाथ के सुपाड़े की चोट से सिसकी - अह्ह्ह उम्म्ंम्म्ं

कमलनाथ के उसकी कमर के निचे हाथ ले जाते हुए उसकी गाड़ को पकड़ कर अपनी ओर दबाता हुआ लन्ड को जोरो से उसकी बुर मे चुभो रहा था
और संगीता उससे कस के लिपटी हुई अपनी आंखे उलटते हुए सिस्कने लगी ।
कमलनाथ ने उसकी साडी पीछे से उठाई और गाड़ नंगी कर उसको हाथों मे भरता हुआ उसके गरदन को चुमने लगा

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अपनी गाड़ पर कमलनाथ के पंजो की खरोच और गले पर चुंबन से संगीता अपनी जाघे कसने लगी , वो आंखे भिचे कमलनाथ को कसे हुए झटके खाने लगी उसकी बुर भलभला कर रस छोड़ रही थी

कमलनाथ उसकी साडी को उठाये हुए उसके सख्त हुए गाड के गोलों को सहलात हु उसकी गाड़ की दरारों मे उंगलियाँ घुसाने लगा

संगीता - आह्ह रुकिये मेरी साडी खराब हो जायेगी
कमलनाथ ने उसको झटका और उसकी साडी का पल्लू पकड कर उसको घुमाते हुए पूरी साडी अलग कर बिस्तर पर फेक दी
और उसको घुमाते हुए पीछे से पकड कर ब्लाउज के उपर से उसकी मुलायम चुचियां पकडता हुआ - उह्ह्ह भाभीई क्या मस्त चुचियां है , लगता है बहुतों ने मस्ला है इसे उह्ह्ह और तुम हो भी चालू आईटेम उह्ह्ह्ह

संगीता कमलनाथ के बाहों मे कसम्साती हुई - आह्ह प्लिज्ज्ज मान जाईये मेरे ब्लाउज खराब हो जायेंगे उह्ह्ह मह्ह्ह

कमलनाथ गुस्से मे रिझा और हाथ आगे कर उसके ब्लाउज के हुक चटकाता हुआ - बहिनचौद तेरे कप्डे के अलग ही चोचले है , निकाल इसे

सन्गिता - आह्ह आराम्ं से फटे नाह्ह्ह
"चल इसे भी निकाल दे " , कमलनाथ उसकी ब्रा उसके कन्धो से सरकाता हुआ बोला

फिर उसको झटका देके आगे बिस्तर पर धकेलता हुआ - उपर चल ना

संगीता मुस्कुराई - उसे यही तो रूप चाहिये था कमलनाथ , जो एक जानवर जैसे उसे नोच ही डाले आह्ह

संगीता घुटने के बल घिसटती हुई बिस्तर के बिच आ गयि और घोडी बन गयी ।


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कमलनाथ भी बिस्तर पर आकर उसको पीछे से पकड कर उसकी नरम नरम पेतिकोट मे फैली हुई बड़ी सी गाड़ को पन्जो से दबोचता हुआ दान्तो से काटने लगा

संगीता मजे से सिसकियाँ लेने लगी - अह्ह्ह मह्ह्ह उह्ह्ह्ह उम्म्ंम फ्क्क्क मीईई येस्स्स्स उह्ह्ह खा जाओ मेरी गाड़ उह्ह्ह फक्क एस्स ईट माय पुसीई प्लीज उह्ह्ह


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कमलनाथ संगीता का बदला हुआ रुप देख कर पागल सा हो गया और वो उसका पेतिकोट उठा कर उसकी गदराई जांघो को चुमता हुआ उसके गाड़ के दरारों मे जीभ डाल कर चाटने लगा

उम्म्ंम्ं येस्स्स एस्स आई लाइक इटह्ह उह्ह्ह येआआ उम्म्ंम सक मी लाइक दैट ऊहह येस्स सक माय एस उह्ह्ह्ंंंं ओफ्फ्फ अह्ह्ह

कमलनाथ संगीता की सिस्कियो पर और उत्तेजित होकर उसके बडे बड़े गाड़ के फाको को फैलाते हुए उसकी गाड़ के छेद पर जीभ फिराने लगा

संगीता ने जोर से अपनी गाड़ को कस लिया - ऊहह माह्ह्ह हिहिहिही उम्म्ंम तुम बहुत तेज्ज्ज हो उह्ह्ह करों ना मजा आ रहा है उह्ह्ह येस्स्स स्क माय पुसी उह्ह्ह्ह चाटो ना मेरी बुर उह्ह्ह्ह एस्स

कमलनाथ की लपलपाती जीभ ने संगीता के रसदार बुर की फान्को को चाटने लगा और जीभ डाल के मलाई निकालते हुए - ओह्ह्ह यारर क्या गजब की माल है तु ऊहह मजा आ गया


संगीता इतरा कर आगे बढ़ कर उसकी ओर घूमी और अपनी जान्घे खोलकर अपनी बुर को फैला कर दिखाती हुई - असली मजा तो अब आयेगा मेरे राअजाह्ह्ह आओ नाह्ह उम्म्ंम उह्ह्ह

कमलनाथ संगीता को अपनी बुर मसलते देख कर पागल हो गया और वो जल्दी जल्दी अपना लन्ड बाहर निकाल कर उसके बगल मे आ गया ।

उसकी फैली हुई जांघो को मसल्ते हुए अपनी उंगलिया उसकी गीली बुर पर फिराई और सहलाने लगा
संगीता ने भी बगल मे हाथ बढा कर उसका तना हुआ मुसल पकड कर मुठियाने लगी


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संगीता - आह्ह बहुत ही तगड़ा है ये तो उह्ह्ह मेरी बुर की चटनी बन जायेगी आह्ह्ह उह्ह्ह फ्क्क्क मीई डालो नह्ह्ह उम्म्ं उह्ह्ह

कमलनाथ संगिता के बुर मे अपनी बिच वाली उंगली पेले जा रहा था - डाला तो है देखो उह्ह्ह क्या गर्मी है भीतर

संगीता मचलती हहूई अपनी गाड़ पटक कर - आह्ह वो नही इसे डालो नाह्ह उम्म्ं प्लिज्ज्ज ऊहह फक्क्क मीह्ह्ह्ह उह्ह्ह

कमलनाथ मुस्कुराया और अपनी जगह बदलते हुए उसके गदराई जांघो के बिच आ गया और अपना लन्ड सेट करता हुआ अपना टोपा उसके फैले हुए बुर के फाको मे लगाया और आगे झुकते हुए हचाक से लन्ड को उसकी बुर मे जड़ तक पेल दिया


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अह्ह्ह्व अम्मीईई उह्ह्ह उह्ह्ह अह्ह्ह एस्स हिहिहिही मजा आ गया ऊहह अब करो नाआह्ह उम्म्ं एस्स फक्क्क मीई उह्ह्ह येस्स्स हार्डर येएह्ह्ह्ह वोहहह उम्म्ंम्ं उम्म फ़क मी लाइक दैट उम्म्ंम

कमलनाथ उसकी उपर चढ कर हचक हचक के पेलने लगा और संगीता जोर जोर से आहे भरने लगी

उसी समय खाने के स्टाल की ओर
" क्या भाभी जी , अरे एक लिजिए प्लीज प्लीज " , रंगी अपनी गदराई समधन को इंसिस्ट करता हुआ उसकी थाली मे गुलाबजामुन के पीस रखता हुआ बोला ।


ममता बस हस कर रह जाती है और रन्गी बाकी सबको सर्व कर रहा होता है ऐसे मे ममता बगल मे बैठे भोला के करीब होकर - अरे मेरी छिनाल ननदिया कहा है दिख नही रही
भोला ने आस पस नजर फिराया और मुस्कुरा कर बोला - शायद शेरनी अपने शिकार पर गयि होगी ।

"अरे भाईसाहब कहा है " , रन्गीलाल ने मुरारी को खाने के टेबल पर ना पाकर ममता से पूछा ।

ममता - अरे अभी यही तो थे लो आ गये ।
ममता मुरारी को देखकर - अरे कहा गये थे आप , सब इन्तेजार कर रहे थे ।

मुरारी का चेहरा पानी से भीगा था वो रुमाल से अपना चेहरा साफ करता हुआ गीले हाथ मे रुमाल घिस कर उसको फ़ोल्ड करता हुआ बिना कुछ बोले कुर्सी पर बैठ गया ।

वहा बैठे सभी मुरारी का विचलित हुआ चेहरा देख कर थे और उसपे गुस्से की भन्नाहट साफ थी ।
ममता ने उसकी जांघ पर हाथ रख कर उसके कान मे बोली - क्या हुआ जी , आप फिर से परेशान लग रहे है , सब देख रहे है ? क्या बात है बतायिये ना ?

मुरारी को अपनी स्थिति का ज्ञान हुआ और वो मुस्कुराता हुआ - अरे कुछ नही आप लोग खायिये ना प्लीज

मदन - अरे ये संगीता दीदी कहा है ?
ममता - रुको मै देख के आती हु यही कही होगी ?
मुरारी संगीता की चर्चा होने पर खडी होती ममता का बाजू पकड कर बिठाता हुआ - अरे बैठो मेरी उससे बात हुई है वो अभी फ्रेश होने गयि है आ जायेगी ।

वही पास मे खड़ा रंगी इस सस्पेंश भरे फैमिली ड्रामे को समझने की कोसिस कर रहा था मगर कोसिस बेकार थी क्योकि उसे बाकियों की भी मेहमान नवाजि देखनी थी ।

खाने के टेबल पर बैठा मुरारी खाते हुए बीच बीच मे चंदू के घर के गेट की ओर देख रहा था इस बात से बेफिकर उसकी हरकतो पर भी कोई और बारीकी से नजर रखे हुए था ।

जो काफी समय से शान्त तो था मगर उस घर मे चल रही आवा जाहि के लिए उसकी जिज्ञासा बढ़ने लगी थी ।
एक घर दो मर्द बारी बारी घर मे गये फिर दूल्हे का बाप भी गया और गुस्से मे वापस आया ।

माजरा समझ से परे था और उसने अपनी कुर्सी छोड़ी और खुद भी उस घर मे दाखिल हुआ , गलियारे घुसते ही बीच गलियारे मे एक दरवाजे से सफेद रोशनी की पतली सी निकली हुई फर्श और दिवाल को रोशन किये हुए थी और साथ मे कुछ फुसफुसाहट भरे लब्ज भी आ रहे थे ।


जैसे ही वो शख्स दरवाजे के पास पहुचा और उसने हल्का सा दरवाजे पर जोर दिया
सामने का नजारा देख कर उसकी आंखे फैल गयी ।
सामने एक बड़ी सी गाड़ वाली औरत एक शख्स के लन्ड पर उछल रही थी और वो शख्स भी कस कस के करारे झटके उसकी बुर मे दे रहा था ।

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जिस देख कर दरवाजे पर खड़ा आदमी अपने धोती मे उफनाते मुसल को मसला और थुक गटक कर कुछ पल वो नजारा देखता रहा जब तक कि उस महिला ने झट कर चिल्लाने रोक नही दी

भीतर कमरे मे झड़ते हुए संगीता रुक गयी और कमलनाथ बोला - क्या हुआ जानेमन बस हो गया उह्ह्ह थक गयी

संगीता मुस्कुराइ- ऊहु बस छेद बदलना है अब
कमलनाथ खुश हुआ कि उसे इस गदराई माल के गाड़ भी मारने को मिलेगी और वो झट से उठा घुटने के बल आ गया और संगीता भी घोडी बन कर उसके आगे झुक कर अपनी गाड़ उपर कर दी ।

भीतर का नजारा देख कर बाहर खड़े शख्स के हाथ से लन्ड छूट गया और उसकी सासे तेज हो गयी - जमाई बाबू ??

बनवारी की हालत खराब हो गयी कि उस्का बड़ा दामाद उसकी आंखो के सामने दूल्हे की ही बुआ के गाड़ के सुराख पर अपना सुपाडा सेट कर रहा था ।

कमलनाथ उसके गाड़ के छेद पर अपना लन्ड भीड़ाते हुए एक करारे झटके के साथ लण्ड को उसकी गाड़ मे आधा उतार दिया , लन्ड जाते ही कमलनाथ समझ गया कि ये खेलीखाई गाड़ है इसपे रहम दिखाने की जरुरत नही

कमलनाथ ने उसके कूल्हो को थामा और एक और तगड़े झटके के साथ अपना लन्ड उसकी गाड़ मे पेल दिया

संगीता ने गरदन उठा कर जोर से सिसकि -अह्ह्ह माह्ह्ह उह्ह्ह येस्स्स अफ्फ्फ फ्क्क्क मीई उह्ह्ह बहुत मोताह्ह है उम्म्ं य्स्स फ्क्क मीई ओह्ह्ह


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कमलनाथ कस कस के उसकी गाड़ मे पेलता हुआ उसकी गाड़ पर चाटे मार रहा था और संगीता जोर जोर चिखती सिसकिया ले रही थी
भीतर का गर्मागर्म मौहौल देख कर बनवारी का सोया लन्ड फिर से उठने लगा था ,मगर उसकी दिली इच्छा नही हो रही थी कि वो वहा रुके ।

भीतर से उसे ऐसा मह्सुस हो रहा था कि उसकी बड़ी बेटी के साथ उस्का जमाई धोखा कर रहा है और वो एक बार फिर निराश होकर बाहर चला आया

वही कमरे मे कमलनाथ इनसब से बेखबर होकर करारे झटके लगाता हुआ संगीता की गाड़ मे झड़ने ल्गा और संगीता भी आंखे मुंदे कमलनाथ के लावा उगलते उसके लण्ड को अपनी गाड़ मे पाकर मस्त हो गयी थी ।


जल्दी ही दोनो ने अपने कपडे ठिक किये और बारि बारी से बाहर निकल गये ।
वही दुल्हन के घर बाहर खडे मुरारी ने एक बार फिर जब अपनी बहन को चन्दू के घर से बाहर आते देखा तो उसका दबा गुस्सा उभर और वो सीन उसके दिमाग मे नाचने लगे जो कुछ देर पहले उसने देखा , जहा उसकी बहन कमलनाथ की थूथ को अपनी गाड़ मे रगड़वा रही थी ।


मुरारी के जहन वो दृश्य आते ही उसने आंखे भींच कर अपना मन झटका और तन मना कर घर मे चला गया क्योकि उपर शादी का मुहूर्त हो गया था और सब लोग एकत्र होने लगे थे ।

जारी रहेगी
 
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