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Vacations✈ 🏖 are Planned for this summer week
So update will comes after next week.
Enjoy your day
& very imp
हिलाते रहो
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हिलाते रहो
Last edited:
Thank you jiCongrats on completing 700 pages on ur story dear.
urban resource institute
Nice update,Waiting for next update
Bahut bahut aabhaar dostGaram.
Kya seduction hai kamalnath-reena ka
Kamalnath intazar m hai kb use reena ki gulabi badi chuchiya chusne ko milega
Thnxxx bhai ... enjoy krne kaKamal kar diya donon ne cinema ghar main...Maja aayega
Bahut bahut abhaar dostबहुत ही कामुक गरमागरम और उत्तेजना से भरपूर अपडेट है
निशा ने तो अपना दांव खेल दिया लगता है जल्दी ही अमन से मिलन होने वाला है
Superb update bro.. humme to shadishuda beti sonal ka intezar hai kab tak apne papa chacha,, sasur...... waiting more
Superb update Bhai but where is fucking Raj please add raj word's more please funs request waiting for next update i always support you Bhai keep it up accept fun request please
गजब का अपडेट लिखा है भाई एक दम तनतनाता गर्म मामला....
ड्रीमबॉय भाई,
पहले तो आपको सात सौ पन्ने पूरे होने की बधाई।
कहानी कुछ समय पहले पढ़नी छोड़ दी थी इसीलिए ध्यान नहीं रहा.
परन्तु अब फिर पढ़नी आरम्भ की है.
और जैसी अपेक्षा थी, मस्त चल रही है.
धन्यवाद।
Waise ye jeeja sali to kuch zyada hi aage nikal gaye hain, khair chalo inki film khatam hui par ye kamal nath ke ghar mein kaunsi film shuru hone wali hai uska intezar hai..
Dhamakedar update Mitra aagr ka intezar
Romanchak. Pratiksha agle rasprad update ki
Bhai kuch Ragini ki update de do kya gul khila rhi hai.....
Nice update
Congrats on completing 700 pages on ur story dear.
urban resource institute
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Garam.
Kya seduction hai kamalnath-reena ka
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NEW UPDATE IS POSTEDबहुत ही कामुक गरमागरम और उत्तेजना से भरपूर अपडेट है
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Super super super super update Bhai awesome keep it up don't forget i always support you Bhai waiting for next updateUPDATE 169 C
लेखक की जुबानी
CHAMANPURA
दोपहर का खाना खाने के बाद राहुल अपने कमरे मे अपनी मा के आने का इंतजार कर रहा था ।
उसकी मा ने उसे कमरे मे आने का बोलकर किचन का काम निपटा रही थी ।
राहुल कमरे मे आते ही अपने सारे कपडे निकाल कर अपना लण्ड मसल मसल कर उसे खड़ा किये हुआ था ।
कि तभी उसके दरवाजे को खोलती हुई शालिनी कमरे मे आती है और सामने राहुल को बिस्तर पर नंगा लेटकर अपना लण्ड सहलाते देखती है ।
अपने बेटे की इस हरकत से शालिनी भी सिहर गयी और उसने कमरा का दरवाजा बन्द करते हुए बडी ही कामुकता से अपनी मैक्सि निकाल दी और पूरी तरह से नंगी होकर इठलाती हुई राहुल की ओर बढने लगी ।
अपनी मा की इस हरकत से राहुल की सासे अटक गयी ,उसके दिल की धडकनें तेज हो गयी । लण्ड का सुपाडा पूरी तरह फुल कर लाल हो गया ।
वो आंखे फाडे अपनी मा के कामुक रस भर नंगे बदन को निहार रहा था ।
36DD की जबरदस्त गोल गोल और कसी हुई चुचिया , शालिनी की मादकता भरी चाल से बहुत ही कामुक ढंग से हिल रही थी ।
उसकी चर्बीदार फैली हुई कमर और गुदाज नाभि से निचे पेड़ू एक शेप मे चुत तक उभरा हुआ था जिस्पे फैली हुई हल्की फुल्की झाटे उस हिस्से को और भी ज्यादा खुबसूरत बना रही थी ।
मांसल चिकनी गोरी चित्ती जान्घे कमरे की रोशनी सबसे ज्यादा चमक रही थी ।
शालिनी बिना रुके राहुल के बगल मे बिस्तर के पास आ कर खड़ी हो गई ।
राहुल के जिस्म की गर्मी अचानक से बढ गयी थी और वो थुक गटक कर अपने पैर निचे उतार कर वही बिसतर पर बैठ गया ।
वो आंखे फाडे अपने ठिक सामने अपनी नंगी मा को निहार रहा था ।
उसने पहले अपना एक हाथ आगे बढाते हुए शालिनी के नंगी कमर के पिछले हिस्से को छुआ और शालिनी सिस्क पडी
अप्नी मा की कामुक सिसकी सुनकर राहुल ने अपना हाथ अपनी मा के पीठ पर उपर सहलाते हुए आगे की ओर दबाया और दुसरे हाथ से सीधा एक चुची को थाम लिया ।
राहुल के स्पर्श से शालिनी का रोम रोम अकड़ चुका था और उसकी चुचियो के निप्प्ल तन कर सीधे खडे हो गये थे ।
राहुल ने अपनी मुह मे लार इकठ्ठा करते हुए अपनी नजरे उपर की और अपनी मा के आंखो मे देखा । अगले ही उसने अपनी आंखे बंद करते हुए अपनी गीली जीभ को उसके निप्प्ल के निचे रखते हुए होठो मे पुरा निप्प्ल भर लिया ।
राहुल की इस हरकत से शालिनी पूरी तरह हिल गयी और अपनी एडिया उचकाकर राहुल के सर पर बड़े प्यार से हाथ फेर कर सिसकी - उम्म्ंम्ं बेटाअह्ह्ह सीईईई
राहुल ने अब एक हाथ से अपनी मा की पीठ सहलाते हुए दुसरे हाथ चुची को पकडे हुए उसको मुह मे चुबलाना शुरु कर दिया ।
राहुल के गीली जीभ लगातार शालिनी के निप्प्ल को छेड़ रही थी और वो राहुल के सर को अपने सीने मे दबाये आहे भर रही थी ।
राहुल ने धीरे धीरे अपना हाथ जो पीठ पर रेंग रहा था उसको निचे की तरफ लाते हुए अपनी मा के कूल्हो को छूना शुरु कर दिया
एक हाथ मे जैसे ही राहुल ने अपनी मा के नरम नरम कुल्हे मह्सूस किये उसने चुची पर दुसरा हाथ भी हटाकर पीछे चुतडो पर ले गया और अब दोनो हाथो से अपनो मा के गाड़ को सहलाने लगा ।
राहुल के ठंडे हाथो का स्पर्श अपने चुतडो पर पाते ही शालिनी ने अपनी गाड़ सख्त करने लगी ।
वही राहुल ने दुसरी चुची पर मुह भिड़ दिया ।
राहुल ने जैसे ही पहले चुची को छोडा शालिनी उसको हाथ मे लेके सहलाते हुए अपनी चुची की लाली को कम करने लगी जो राहुल ने चुस चुस कर किये थे
फिर राहुल ने अच्छे से एक हाथ की कलाई से अपनी मा के गाड़ को जकड़ा और दुसरे हाथ से अपनी मा की चुची पकडते हुए उसको जोर जोर से मसलते हुए चुसने लगा ।
शालिनी सिसकिया भी तेज होने लगी - आह्ह बेटा आअराअम्ं से उम्म्ंम आह्ह उम्म्ंम
राहुल के कानो जैसे जैसे उसके मा की मादक सिसकियाँ पड रही थी वो और भी जोश मे अपने मा के चुचि और गाड को मस्ल रहा था ।
कुछ ही देर मे उसने शालिनी को पल्टा और घुमाते हुए उसको अपने आगे बिसतर पर बिठा दिया और पीछे से उसके पीठ मे अपना सीना सटाते हुए हाथ आगे बढा कर अपनी मा की नंगी चुचियो को थाम लिया
अपनी ठंडी पीठ पे अपने बेटे के सीने की तपिश महसुस कर शालिनी पुरा गनगना गयी और जिस तरह से राहुल उसकी कैस हुई चुचिया मसल रहा था उसे लग रहा था कि आज वो इनकी सारि कसावट निचोड ही लेगा
राहुल उसकी चुचियो के निप्प्ल आगे की ओर खिच के वापस से हथेलियों से उसकी निप्प्ल के साथ ही चुचिया मलने लगता जिससे शालिनी राहुल के जिस्म पर लोटने लगी थी
राहुल ना सिर्फ चुचियो पर बल्कि अब उसका हाथ शालिनी के निचे के जिस्मो को भी छूना शुरु कर चुके थे ।
उसने अपने दोनो हाथ एक लय मे बडी ही कामुकता से सरकाते हुए पहले पेट के किनारो पर फिर कमर से होते हुए उसकी चिकनी गुदाज जांघो को सहलाने ल्गा औ फिर जांघो के भीतरी हिस्सों को अपने पंजो से मसलते हुए उसने चुत के आस पास पेड़ू के निचे हाथ घुमाना शुरु कर दिया ।
राहुल को अपनी चुत की ओर बढता पाकर उसकी चुत बजबजाने लगी थी और जल्द इसका अह्सास राहुल को हुआ जब उसकी उंगलियाँ अपनी मा के बुर के मुहाने को छूती है ।
लसलसाई बुर का स्पर्श पाते ही राहुल उत्तेजना बढ गयी और उसने फौरन एक ऊँगली कच्च से अपनी मा की गर्म बुर मे पेल दी
शालिनी - अह्ह्ह बेटा उह्ह्ह्ह उह्ह्ह उम्म्ं माअह्ह्ह अह्ह्ह
राहुल ने वापस से दुसरे हाथ से अपनी मा की एक चुची को मसलना शुरु कर दिया ।
शालिनी के उपर अब दोहरा वार होने लगा था ।
शालिनी ने भी राहुल के दोनो हाथो पर अपने हाथ रख कर उसकी क्रियाशीलता पर और जोर लगाने लगी साथ ही तेज सिसकिया लेने
अह्ह्ह मह्ह्ह उम्म्ंम्ं सीईई ऐसे ही बेटा अह्ह्ह्ह उम्म्ंम उम्म्ं हा अह अह
शालिनी की चुत मारे उत्तेजना के भर भर के रस बहाने लगी और उसके कमर तेज से झटके खाने लगी
राहुल का पुरा हाथ अपनी मा के काम रस से सना चुका था ।
जैसे ही शालिनी ने शान्त होकर राहुल के हाथ पे अपनी पकड ढीली की ।
राहुल अपनी मा के चुत के रस से सनी हुई उंगलियाँ अपने मुह मे चुभलानी शुरु के दी म
शालिनी अपने बेटे की इस हरकत से थोडी शर्माई - धत्त गन्दा
राहुल - क्यू आप मेरा टेस्ट नही करते हो क्या ,
राहुल की बाते सुन के शालिनी को राहुल के तने हुए लण्ड का ख्याल आया जो कबसे उसकी पीठ पर किसी रॉड की तरह चिपका हुआ था ।
शालिनी मुस्कुराई और अपना हाथ पीछे ले जाके सीधा राहुल के लण्ड को पकड ली
अपनी मा के नरम हथेली का स्पर्श पाते ही राहुल सिस्क पड़ा और शालिनी मुस्कुरा कर उठ गयी ।
फिर वो राहुल के सामने घुटने के बल बैठती हुई उसके लण्ड को हाथो मेलेके मसलने लगी और राहुल मादक सिसकिया लेने लगा
देखते ही देखते शालिनी राहुल का सुपाडा खोल्के उसका लण्ड मे मुह मे भर ली
राहुल ने एक ठंडी आह भरी और उसकी मा ने उसका लण्ड चुसना शुरु कर दिया ।
राहुल - उह्ह्ह मम्मीईई अह्ह्ह ऐसे ही , बहुत अच्छा लग रहा है उम्म्ंम अह्ह्ह
शालिनी राहुल की सिस्किया सुनकर कर मुह मे लण्ड चुबलाते हुए नजरे उठा कर राहुल को देखा । जो आंखे भिचे हुए अपने चुतड उचकाये जा रहा था जिससे ज्यादा ज्यादा लण्ड का हिस्सा अपनी मा के गले मे उतार सके ।
शालिनी ने उसके आड़ो को मसलती हुई लण्ड को गले तक चोक करने लगी ।
जिससे राहुल का लण्ड और भी फुलने लगा । शालिनी के गाल फुलने लगे ।
राहुल के लण्ड मे अचानक से हुए परिवर्तन से शालिनी की चुत फिर से कुलबुलाने लगी और वो सुपाड़े पर जिभ फिराते हुए उसको होठो से चुब्लाने लगी ।
राहुल का लण्ड अब पूरी तरह से तैयार था , लण्ड पर कसी हुई नसे और फुला हुआ लाल सुपाडा तन चुका था , जिसमे से उसके पेसाब की नली का छेद भी फैला हुआ दिख रहा था ।
शालिनी ने अपने बेटे के लिंग की सख्ती देख कर समझ गयी कि अब ये तैयार हो गया है ।
इसिलिए वो मुस्कुरा कर खड़ी हुई
राहुल ने नजरे उठा कर अप्नी मा को देखा और खुद भी लण्ड को सहलाते हुआ खड़ा हो गया ।
शालिनी घूम कर बिस्तर पर लेट गयी और जान्घे खोल्कर अपनी बुर को दबोचा तो उसकी चुत बजबजा उठी ।
फिर उस्ने अपनी चुत के निकले रस को उसके उभरे हुए फाको पर फैलाते हुए राहुल से इशारा किया वो आगे आये
राहुल पूरी मदहोशि से आगे बढ़ कर बिस्तर पर आ गया और अपनी मा के जांघों के बिच आकर अपना लण्ड का सुपाडा अपनी मा ने बुर पर रखा ।
सुपाडा इतना फुला हुआ था कि शालिनी की कमसिन सी चुत छिप गयी थी ।
उसकी जरा सी भी लकीर उपर से नही दिख रही थी
राहुल ने कमर चलाते हुए सुपाड़े का दबाव अपनी मा के चुत के दाने पर बनाया ।
शालिनी - आउह्ह उम्म्ं बेटा उम्म्ंम सीईईई उम्म्ंम
राहुल अपनी मा की हालत देख कर थोडा मुस्कुराया और अपना लण्ड पकड कर अपने सुपाड़े से अपनी मा के चुत के फाको को फैलाने लगा ।
अपने बेटे के तपते सुपाड़े को अपनी नरम गिली चुत पर घिसता पाकर शालिनी पूरी तरह पागल होने लगी ।
वो सिस्क्ते हुए अपने चुचे खुद मसलने लगी ।
राहुल भी अपनी मा की मदहोशि देख कर जोश मे आने लगा और फिर जांघो को उठाते हुए लण्ड को चुत के मुहाने पर लगाते हुए कमर को आगे धकेला
अगले ही पल एक तेज तर्रार धक्के के साथ उस्का लण्ड अपनी मा के गर्म चुत मे फना हो गया ।
शालिनी की चुत की दीवारे चिरता हुआ राहुल का लण्ड जड़ तक अन्दर घुसता चला गया और शालिनी की आंखे मुह सब फैल गये ।
कुछ सेकंड के अंतराल पर एक गहरी आआह भरते हुए शालिनी की सिसकिया शुरु हो गयी और राहुल ने भी लण्ड उपर खीचता हुआ एक बार फिर से वैसे ही जोर का लण्ड अपनी मा के बुर मे पेला
इस बार रही सही कसर भी पूरी हो गयी और लण्ड अपने जगह बनाता हुआ घ्प्प घ्प्प अन्दर जाने लगा
राहुल पुरा का पुरा लण्ड बाहर निकाल कर घप्प घप्प करके जोर जोर से अपनी कमर पटकते हुए अपनी मा के चुत की गहराई मे पले जा रहा था
शालिनी - आह्ह आह्ह बेएएटाआहह उह्ह्ह्ह उम्म्ं आह्ह ऐहहह सेह्ह्ह नाआआअह्ह उम्म्ंम
राहुल ने देखा कि उसकी मा कुछ बोल्ना चाह रही है तो धक्के हल्के करता हुआ चोदना जारी रखता हुआ - क्या हुआ मा उम्म्ं
शालिनी - आह्ह कुछ नही तु तो ऐसे चोद रहा था कि पुरा पेट फाड़ डालेगा मेरा अह्ह्ह उम्म्ंं आअराम से पेल ना बेटा उह्ह्ह कभी किया नही है क्या पहले
अपनी मा के सवाल पर राहुल हस देता और लण्ड को फिर से कस कस के पेलने लगता हौ ।
शालिनी - आह्ह माह्ह उह्ह्ह बोल ना , क्या सच तु आज पहली बार उम्म्ं
राहुल बस मुस्कुराता रहता है और बिना कुछ बोले झुक कर अपनी मा की चुचियो को पकड को मसलता हुआ गचागच पेलने लगता है
शालिनी के सवाल फिर से अटक जाते है और राहुल अपनी मा के दोनो हाथ पकड कर उपर करके सटासत पेलते हुए - उह्ह्ह माआह्ह क्या मस्त चुत है आपकी उह्ह्ह मजा आ रहा है आह्ह
शालिनी अपने आप को बेटे की कैद मे बध कर चुदते हुए बहुत ही उत्तेजित हुई जा रही थी - आह्ह हा बेटा मुझे भी बहुत अह्ह्ह उह्ह्ह्ह ऐसे ही पेल मुझे कस कस के अह्ह्ह तू बहुत अच्चाआह्ह्ह ओह्ह्ह माआह्ह उम्म्ंम
राहुल - आपको अच्छा लग रहा है ना मा , उम्म्ं ओह्ह मुझे भी गाली दो ना पापा के जैसे
शालिनी अपने बेटे की फरमायिश सुन कर हस दी - धत्त हिहिही आह्ह रुक मत पेल ना और तेज्ज्ज अह्ह्ह
राहुल - नही दो ना मुझे भी अह्ह्ह गाली जैसे पापा को देती हो ओह्ह उम्म्ंम्ं
शालिनी - अब तुझे क्या सुनना है बोल तू हीईई उम्म्ंम्ं बता अह्ह्ह ऊहह
राहुल - जो आप्का मन करे , हिहिही दो ना मम्मी प्लीज अह्ह्ह नही तो मै नही चोदूंगा
शालिनी अपनी चुत के छल्ले मे राहुल का लण्ड कसती हुई - मादरचोद रुकना मत पेल जब तक झड़ नही जाता है आह्ह ऐसे ही पेल जैसे तेरा बाप मुझे चोदता है उह्ह्ह अपने पापा के जैसे चोद ना उह्ह्ह
अपनी मा के मुह से जोशिले शब्द सुन्कर राहुल का लन्ड़ और भी अकड़ गया ।वो और भी कस कस के अपनी मा की बुर मे चोदने लगा
राहुल - ओह्ह मम्मी , मुझे बहुत पसंद है ये शब्द अह्ह्ह क्या आप मेरी भी रन्डी बनोगी उह्ह्ह मेरी रन्डी मम्मी बनोगी उह्ह्ह बोलो ना मम्मी
अपने बेटे के मुह से अपने लिये रन्डी शब्द सुन्कर कर शालिनी की चुत बहना शुरु हो गयी और वो अपनी गाड़ उठाकर लण्ड को निचोडती हुई झड़ने लगी
राहुल उस दौरान भी चोद्ते हुए - आह्ह बोलो ना मम्मी , बनोगी ना मेरी रंडी मम्मी ऊहह बोलो मा
शालिनी अपनी कमर झटकते हुए - आह्ह हाअह बेटा सब बनूँगी , तेरी मा रन्डी ही तो है तभी तो तुझ्से चुदवा रही है
शलिनी कसमसा म्ते हुए - आह्ह पेल अपनी रन्डी मा को और तेज ऐसे ही हाह्ह उह्ह्ब माआह्ह रुकना मत ओह्ह ओह्ह हा बेटा उह्ह्ह
शालिनी ने राहुल के लण्ड को पूरी तरह से अप्ने बुर के छल्ले मे कस रखा था और अपनी मा की बाते सुन्कर राहुल भी चरम पर था
राहुल - आह्ह माह्ह मै भी आने वाला हू उह्ह्ह ,
शालिनी - मुझे देना बेटा मुझे चाहिये उह्ह्ब जल्दी कर
राहुल ने जल्दी जल्दी अपना लण्ड निकाला और सुपाड़े को मुट्ठि मे भरके उठ कर अपनी मा के ओर गया
उस्से पहले ही उसका लण्ड की नसो ने उसके हाथो मे ही झटके देने शुरु कर दिये
राहुल जल्दी से अपनी मा के मुह पर लण्ड ले जाकर आखिर के दो पिचकारी देता हुआ - आह्ह मेरी रंडी मा ये लो हहह उह्ह्ब
शालिनी अप्नी जीभ निकाले आखिर बुंद तक मुह खोले रही
और फिर उसने लपक कर राहुल की सनी हुई हथेली पकड कर उसको मुह मे बोर के चुस्ने लगी
फिर उसने राहुल के लण्ड को चुस्ते हुए अच्छे से निचोड़ा ।
राहुल हाफ्ता हुआ अप्नी मा के सिरहाने बैठ गया और उसकी मा नजरे उठा कर अपने बेटे को देख कर मुस्कुराने लगी
राहुल की नजरे जैसे ही अपने मा से मिली वो शर्मा गया क्योकि उसे अब ये सब थोडा अजीब लग रहा था कि उसने अपनी मा से क्या क्या बोला ।
राहुल हस्ता हुआ - सॉरी मम्मी , हिहिही आप मेरी प्यारी मम्मी हो
शालिनी मुस्कुराते हुए राहुल को अपने पास आने को कहा और राहुल सरकता हुआ अपनी मा के पास गया
शालिनी ने उसके चेहरे को थाम कर माथा चूम लिया ।
राहुल - तो आप गुस्सा नही ना हो ,,उसके लिए
शालिनी मुस्कुराती हुई ना मे सर हिलाती है
राहुल भी अपनी मा के गालो को चुम कर उस्से चिपक जाता है ।
JAANIPUR
छत पर अपने कमरे मे टीवी और कुलर चालू कर बैठा कमलनाथ बार बार घड़ी निहारता हुआ अपनी बहु के आने का इन्तेजार कर रहा था ।
उसको उपर आये आधे घंटे से ज्यादा हो चुका था , उसकी बेताबी बढती ही जा रही थी ।
उसने सोचा क्यू ना एक बार निचे का चक्कर काट कर आया जाये और वही थोडी मस्ती कर ली जाये ।
कमलनाथ अपने लण्ड को पजामे मे सेट करके उस्का त्म्बू बनाता हुआ बिसतर से उठा और कमरे से बाहर निकला ही था कि उसको रीना की थोडी खिलखिलाहट सुनाई दी ।
वो आवाज बगल के कमरे से आ रही थी जो उस्की बहु का ही कमरा था ।
कमलनाथ की इन्द्रिया सचेत हुई और उसके पाव अपनी बहू के कमरे के दरवाजे की ओर मुड गये ।
आधा भिड्का हुआ दरवाजा देखकर कमलनाथ की जिज्ञसा बढने लगी
वो कुछ बहुत ही कामुक दृश्य की कल्पना लिये तेज धडकते दिल के साथ आगे बढ़ने लगा ।
और जैसे ही उसने दरवाजे के गैप से अन्दर झाका तो देखा
कि रमन और रीना दोनो बिस्तर पर लेते हुए थे और अचानक से रीना खिलखिलाती हुई बिस्तर से उठ गयी लेकिन रमन ने लपकते हुए उसकी साडी का पल्लू थाम लिया और उसे खिचना शुरु कर दिया
रीना अपनी जगह पर गोल गोल घूमती रही और कुछ ही पल मे उसके कमर से साडी उतर गयी ।
पूरी साडी हाथ मे आते ही रमन के उसको फेक कर झटके से बिस्तर से उठता हुआ रीना की ओर बढा ।
रीना पीछे कमरे दिवाल की ओर हस्ती हुई खिसकने लगी ।
रमन एक मादक नशे मे उसकी ओर बढने लगा ।
दोनो की आंखे एक दुसरे मे अटकी हुई
कमरे का नजारा देख कर कमलनाथ ने पजामे के उपर से अपने लण्ड को जोर से भिन्चा और एक गहरी आह भरते हुए वापस से कमरे मे देखने लगा ।
रमन ने रीना को दिवाल से लगा कर उसके करीब जाकर उसके आंखो मे देखते हुए उसके होठो से अपने होठ जोड लिये और दोनो मे एक गहरा चुंबन होने लगा
जिसे देख कर कमलनाथ के मुह मे भी लार भरने लगा और उसको अपनी जवानी के दिन याद आने लगे जब वो अपनी रज्जो के साथ ऐसे ही रोमैंटिक भरे पल गुजारा करता था और समय ने कैसे उसको हवस मे बदल कर रख दिया ।
ना जाने कित्ने सालो से उसने सिवाय चोदने के उसने रज्जो से कोई रोमांस नही किया ,,, कमरे मे जैसा कुछ चल रहा था वैसा ही कमलनाथ की भी करने की इच्छा होने लगी ।
अन्दर रमन रीना के होठो से सरकता हुआ उसके गुदाज पेट को चूमना शुरु कर चुका था और उसकी चर्बीदार नाभि को मुह के भर उसमे जीभ से कुरेदने लगा
रिना भी आंखे बन्द किये मादक सियकिया भारती हुई रमन के सर को अपने पेट पर दबाए जा रही थी ।
कुछ ही देर मे रमन ने रीना को घुमाया और उसके कमर को चूमने लगा और उपर बढते हुए वो खड़ा होकर पीछे से रीना कन्धे चूमना शुरु कर दिया ।
रीना पूरी तरह से सिरह उठि थी उसकी तेज सासो से उसकी चुचिया ब्लाउज को फाडने को बेताब थी वो पीछे से अपनी गाड को रमन के पैट के उपर घिस भी रही थी ।
वही कमरे के बाहर खड़ा कमलनाथ परेशान हुआ जा रहा था ।
उस्को एक जगह खड़ा होने मे भी दिक्कत होने लगी ,, पुरा शारिर कामोत्तेजना सा क्प्कपा रहा था और उस्के पैर हिल रहे थे ।
उसने अपना लण्ड भीचना शुरु कर दिया
उधर कमरे रमन आगे बढते हुए रीना के ब्लाउज़ खोलने शुरु कर दिये
रीना कसममाटी हुई रमन की बाहो मे ढीली पडने लगी और रमन ने ब्रा के कैद उसकी चुचियो को मिजने लगा
रीना सिसकिया लेने लगी और रमन के हाथ पर हाथ रख कर अपनी चुचिया मिजवाने लगी ।
वही अपनी बहु का कामुक रूप देख कर कमलनाथ का सुपाडा फूलना शुरु हो गया था ।
रमन ने रीना का ब्लाउज निकाल दीया और बहुत ही कामुकता से उसने उसकी ब्रा को सरकाना शुरु कर दिया
अपने पति की इस हरकफ से रीना उसकी बाहो मे सिम्टती चली गयी उस्का रोम रोम खड़ा हो गया ।
चुचियो के निप्प्ल तन गये और उसके जिस्म मे एक कपकपी सी होने लगी ।
हौले से रमन ने बहुत ही धीरे धीरे रिना की चुचियो के उपर से उसके ब्रा के कप उतारते हुए उन्हे नंगा कर दिया
अपनी बहु को अधनंगी देख कर कमलनाथ के लण्ड से सोमरस की कुछ बुन्दे टपकी
वो थुक गटकते हूए अपनी बहु के गुलाबी तने हुए निप्प्ल निहारे जा रहा था । उसके मोटे मोटे 34DD के गोल गोल चुचे पुरे तने हुए थे ।
रमन ने ब्रा अपनी हाथो से सरकाते हुए निचे जमीन पर गिरा दी और निचे से रीना के चुचो को थामते हुए हौले से उन्हे सह्लाया
रिना - उम्म्ंम सीईई बेबी उह्ह्ह्ह
रमन उसके नंगे कन्धों को चुमता हुआ बहुत ही आहिस्ता आहिस्ता उसकी चुचियो को हथेली मे भरने लगा ।
अपने पति की सख्त हथेलियों की खुरच से उसकी नाजुक निप्प्ल टपकने लगे थे और उनमे एक खुजलाहट सी होने लगी थी ।
रीना ने अपने हाथ वापस से रमन के हाथ पर रखके थोडा दबाव बना कर उसे इशारा किया कि वो जरा सख्ती से उसकी चुचियो को मसले
इतना इशारा काफी था कि रमन अपने दोनो हाथ आगे बढा कर बाये हाथ दाहिनी चुची और दाये हाथ से बाई चूची पकडते हुए क्रास कर लिया और वापस अपनी खुरदरी हथेली को रिना के नाजुक निप्प्ल पर रगड़ता हुआ हाथ पीछे खिचने लगा
रीना अपने पति के इस हरकत से पूरी तरह काप गयी और सिस्किने लगी
रमन ने अब भर भर के दोनो हाथो से रीना की चुचिया मसलने लगा ।
रीना भी अपने हाथो से उसकी मदद करने लगी
वही कमलनाथ कमरे के बाहर अपना लण्ड बाहर निकाल्ते हुए उसे हिलाना शुरु कर दिया था ।
वही रमन रीना को पलट पर उसको वापस से दिवाल पर ल्गाते हुए झुक कर उसकी चुचिया चूसने ल्गा और रीना उसके सर अपने सीने मे दफन करने लगी ।
वो बारी बारी से एक एक चुची को मुह मे भर कर चुसने लगा और फिर उपर उठ कर रीना के होठो से अपने होठ जोडकर वापस से उसके होठो को चुसना शुरु कर दिया
इस दौरान उत्तेजना रीना अपने पति के होठो को चुबलाती हुई उसके शर्ट खोलने लगी और रमन भी अपनी बेल्ट खोलता हुआ पैंट निकाल दिया ।
रीना रमन के नंगे सीने से लिपट कर कस के उससे चिपक गयी और एक बार फिर दोनो एक दुसरे के होठ चूसने लगे
अब रमन ने अपने हाथ से रीना के चर्बीदार गाड़ को मसल्ते हुए उसकी आँखों मे देखा और रीना से इशारा किया
रिना ने उसकी आंखो मे देखते हुए धीरे से अपने होठ हिला कर कुछ बोली , जिससे रमन का चेहरा खिल उठा और वो झुक कर रीना को अपनी गोद मे उठा लिया तो रीना खिलखिलाने लगी
कमलनाथ को लगने लगा कि अब एक जबरज्स्ट चुदाई देखने को मिल ही जायेगी लेकिन हुआ उस्का उलटा
रमन रीना को अपनी बाहो मे लेके बिस्तर की ओर तो मगर उस जगह पर कमलनाथ को कुछ भी नजर नही आ रहा था ।
तभी कमरे से रीना की आवाज आई - अरे बुद्धू दरवाजा बंद कर लो ना हिहिहिही
कमलनाथ ने जैसे ही रिना की आवाज सुनी उसकी फट गयी और वो झटके से वहा हट गया और तेजी से अपने कमरे मे घुस गया
तभी उसे रीना के कमरे बंद होने की आवाज आई और वो मन मसोस कर रह गया ।
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POST CREDIT SENSE
खड़ी दुपहरी मे चमनपुरा बस स्टैण्ड पर रन्गीलाल खड़ा होकर एक बस का इन्तेजार कर रहा था और लगातार फोन पर जुड़ा हुआ बाते किये जा रहा था
कि एक बस आकर उससे थोडी दुर रुकती है ,, और बस पर नजरे गडाये रंगीलाल बेताब होकर मोबाइल हाथो मे घुमा रहा था कि तभी उसकी आंखे खिल उठी और चेहरे पर एक मुस्कान फैल गयी ।
सामने एक ट्राली बैग लिये बस से उतरती भिड़ के बिच से नीली साडी मे रज्जो इथलाती मुस्कुराती हुई रन्गीलाल की ओर बढने लगती है ।
जिसे देख कर रंगीलाल की बाहे खिल जाती है और उसकी खुशी का ठिकाना नही होता है ।