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Adultery बुरी फसी लक्ष्मी आंटी (Completed)

Lefty69

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Lefty69

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22.2
मैं आप दोनों को यह सजा सुनती हूं कि आप दोनों अपनी लक्ष्मी आंटी को कल सुबह तक इतना प्यार करोगे की तुम्हारी लक्ष्मी आंटी को कभी इस सुख की कमी ना खले। समझे?”

लक्ष्मी आंटी ने अपनी बाहें खोली और हम दोनों उससे लिपट गए। हम सब पसीने से भीगे हुए थे तो लक्ष्मी आंटी के सुझाव पर विक्की ने गरम पानी का shower चला दिया। कल सुबह की तरह हम दोनों ने लक्ष्मी आंटी को अच्छे से धोया और साफ किया। आज लक्ष्मी आंटी होश में थीं तो लक्ष्मी आंटी ने भी हम दोनों को अच्छे से रगड़ रगड़ कर नहलाया। मेरे और विक्की के हाथ लक्ष्मी आंटी की चूत, गांड़ और मम्मों को कुछ ज्यादा ही साफ कर रहे थे तो लक्ष्मी आंटी ने भी हमारे लौड़ों को अच्छे से मालिश कर साफ़ किया।

अब मुझे और सहा नहीं गया। मैंने लक्ष्मी आंटी को कमर में से मोड़ कर उसके मुंह पर विक्की का लौड़ा लगाया। पीछे मैं था तो मैंने लक्ष्मी आंटी के पैरों को फैला कर उसकी गीली चूत को खोल दिया। विक्की ने लक्ष्मी आंटी को अपना लौड़ा चूसता देख उसकी प्रशंसा की पर मुझे गुस्से में आंख दिखाई।

मेरी भी मज़बूरी थी!! मैंने लक्ष्मी आंटी की बहती चूत पर अपने लौड़े का सुपारा रगड़ा और लक्ष्मी आंटी के काम रसों से पहले अपना लौड़ा गीला कर दिया। फिर धीरे धीरे मज़े से एक एक छोटे धक्के से लक्ष्मी आंटी की चूत भर दी। लक्ष्मी आंटी की हालत विक्की के जोर जोर से चूसा जाने वाले लौड़े को समझ आई और उसने मुझे डांटा के मुंह में वह अपना रस छोड़ना नहीं चाहता।

मेरे दिमाग में बत्ती जली और मैंने झूठे गुस्से से कहा, “विक्की, अगर तुझे इतनी जल्दी है तो लक्ष्मी आंटी को उठा ले।”

मैंने लक्ष्मी आंटी के बाल पकड़ कर उसका मुंह खिंच कर विक्की के लौड़े से हटाया। 'चूउप' की आवाज से लक्ष्मी आंटी के मुंह से विक्की को लौड़ा निकला और अगले ही पल लक्ष्मी आंटी की बच्चेदानी तक घुसा मेरा लौड़ा भी बाहर निकल आया।

लक्ष्मी आंटी ने उत्तेजना में अधूरे छोड़ा जाने पर गुस्सा दबते हुए निराशा से कहा “झगड़ा मत करो बाबू, मैं आप दोनों की हूं। जैसे चाहो करो, मैं मना नहीं करुंगी।”

विक्की ने मुझे अलग होता देख गरमी में लक्ष्मी आंटी को bathroom की दीवार पर दबा दिया और उसके होंठ चूमने लगा। गरमाई लक्ष्मी आंटी ने विक्की को पूरा साथ देते हुए अपनी बाहों का हार विक्की के गले में डाल दिया।

विक्की ने मौके पर चौका मारा और लक्ष्मी आंटी चीख उठी,
“विक्की बाबू!!!! मैं गिर जाऊंगी! आह… ऊंह…”

विक्की ने लक्ष्मी आंटी को उठा कर दीवार पर दबाते हुए अपना मूसल उसकी गीली गुफा में गाड़ दिया। लक्ष्मी आंटी ने इस तरह की ठुकाई सपने में भी नही सोची होगी जिसका अब वह अनुभव ले रही थी। विक्की फटाफट वार करते हुए लक्ष्मी आंटी को अपनी बाहों में कस कर पकड़ लिया। अब उसके पैरों को अपने हाथों के उपर लेकर लक्ष्मी आंटी की चूत और गांड़ को अच्छे से खोल दिया।

“ला विक्की, मै तेरी मदद करता हूं।”

मैंने पिछे से लक्ष्मी आंटी की जांघे विक्की के हाथों के नीचे से पकड़ ली। लक्ष्मी आंटी ने मूड कर मेरी तरफ देखा तो मैंने लक्ष्मी आंटी को चूमते हुए उसकी गांड़ को अपने सुपारे से भेद दिया।

“मां… अन्हहह… मरी… अहह… बाबू!!!… हां… हां… हां… हां…” लक्ष्मी आंटी की चीखें bathroom में गूंज उठी। मेरे इस मजे में बस इस बात से निराश था की ये मौका हम रिकॉर्ड नहीं कर पाए।

खैर, लक्ष्मी आंटी की तंग कसी हुई गांड़ में निराशा और अफसोस के लिए जगह कहां? हम दोनों ने मिलकर लक्ष्मी आंटी को अपने लौड़ों पर उठा कर पटखना शुरु कर दिया तो लक्ष्मी आंटी ने बाहों और पैरों से विक्की को पकड़ कर पीठ और सर मेरे भरोसे छोड़ दिया। लक्ष्मी आंटी ने मानो अपने बदन की मिल्कियत हम दोनों में बांट दी थी। यह एहसास एक तरफ से लक्ष्मी आंटी के उपर हमें असीम हक देता था और दूसरी तरफ लक्ष्मी आंटी की पूरी खुशहाली की जिम्मेदारी। उत्तेजना और डर के इस मिश्रण में खुद को भूल कर हम एक दूसरे के एहसास में डूब गए।
ZfQxH

https://pixbb.com/image/xwe7p

लक्ष्मी आंटी की चिल्लाहत से हमारी वासना बढ़ती जा रही थी। विक्की और मैं लक्ष्मी आंटी को उत्तेजना की चरम सुख में ज्यादा से ज्यादा डुबोने का काम करने के लिए लगे पड़े थे। आखिर कार लक्ष्मी आंटी की कसी हुई गांड़ में, मैं ऐसा निचोड़ा गया कि मैं सह नहीं पाया।

“लक्ष्मी आंटी… आह… आनहह… हा… हा… आह… अह…”की पुकार से लक्ष्मी आंटी की आंत मेरे बीज से भर दी गई। मेरी आवाज और मेरे लन्ड से बाहर निकलते रस को लक्ष्मी आंटी की चूत से महसूस करते हुए विक्की भी झड गया।

थकी हुई लक्ष्मी आंटी को हम दोनों ने सहारा देकर खड़ा रखा तो लक्ष्मी आंटी की चूत और गांड़ में से हमारे रस की धारा बहने लगी। थकी लक्ष्मी आंटी ने मुस्कुराते हुए कहा,
“सन्नी बाबू, इतना गुस्सा ठीक नहीं। अब उतर गया कि अब भी गुस्सा बाकी है?”

हम सब shower चला कर साफ़ हो गए और फिर बड़े bathtub में बैठ गए। लक्ष्मी आंटी bathtub में पैर फैला कर ऐसे लेटी थी कि अंदर दाखिल होता पानी उसके गुपतांगों को हलकी गुदगुदी से साफ करता। हम दोनों लक्ष्मी आंटी के बगल में लेट कर उसके शरीर के अंग अंग को अपने होठों से, हाथों से और पैरों से सहलाकर लक्ष्मी आंटी को हलके हलके उत्तेजित रखे हुए थे।

Score Card रविवार सुबह 8.30 बजे तक
लक्ष्मी आंटी--मुंह------चूत------गांड
विक्की----------8--------7--------6
सन्नी--------------8--------6-------7
 
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kamdev99008

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इंतज़ार है Lefty69 भाई.............. इस कहानी को अब सिर्फ सेक्स नहीं......
लक्ष्मी आंटी की ज़िंदगी और सपनों के साथ आगे तक लेकर जाओ

एक सम्पूर्ण कथानक
 

Lefty69

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विक्की

पानी में 10 मिनट बैठने से हमारी त्वचा पर झुर्रीयां पड़ने लगी और हम सब बाहर निकल आए। लक्ष्मी आंटी ने हम दोनों को अच्छे से पोंछा तो हमने भी लक्ष्मी आंटी के बदन से एक एक बूंद चूम कर उसके शरीर को सुखाया।

जाहिर सी बात है कि इस से लक्ष्मी आंटी गरमा गई और लक्ष्मी आंटी को छुटकारा दिलाने में हम दोनों लग गए। हॉल के जिस सोफे पर हम ने लक्ष्मी आंटी को पहली बार बिठाया था, उसी पर अब हम दोनों ने लक्ष्मी आंटी को ऐसे लिटाया के लक्ष्मी आंटी के पैर फैल कर जमीन छू रहे थे और लक्ष्मी आंटी कमर से ऊपर लेटी हुई थी।

लक्ष्मी आंटी की गीली गरमी को सूंघते हुए मैं आगे बढ़ा और अपने होठों से लक्ष्मी आंटी के गुप्तांग को चूमते हुए उसे सुखाने लगा। लक्ष्मी आंटी ने सिसकारियों भरते हुए अपनी उंलियां मेरे बालों में डाल कर मेरा सर अपनी मुनिया पर दबाया। लक्ष्मी आंटी की आहें भरते समय पूरे बदन में सिहरन दौड़ रही थी। लक्ष्मी आंटी का बदन कांपने लगा और पसीने छूट कर लक्ष्मी आंटी उत्तेजना वश चीखने चिल्लाने लगी। मैंने लक्ष्मी आंटी के सुख के मोती को चूसना चालू रखा और अपनी जीभ से उस दाने को रगड़ते हुए अपनी उंगलियों को लक्ष्मी आंटी की गरम गहराई में उतार दिया।

लक्ष्मी आंटी ने मेरे सर को अपनी मुनिया पर दबाते हुए अपना सर हिलाकर अपनी विवशता और उत्तेजना में तड़पना जारी रखा। मैंने लक्ष्मी आंटी के रस से भरी मेरे दाहिने हाथ की उंगलियों को लक्ष्मी आंटी की चूत में से बाहर निकाला तो लक्ष्मी आंटी ने नाराजी के स्वर में कराहा।

मैंने लक्ष्मी आंटी की खाली चूत को अपनी बाईं हाथ की दो उंगलियों से भरते हुए उसे चुप कराया। लक्ष्मी आंटी के काम रस से भरी हुई दाहिनी उंगलियां अब लक्ष्मी आंटी के पिछले सुराख में फ़ैल ने लगी तो लक्ष्मी आंटी ने मज़े लेने में अगला पड़ाव पकड़ लिया। लक्ष्मी आंटी ने अब अपने हाथों को मेरे सर से हटा कर अपनी कड़ी चूचियों को दबाना शुरू कर दिया। लक्ष्मी आंटी से इतनी उत्तजना सही नहीं गई और एक मस्तानी चीख निकाल कर लक्ष्मी आंटी ने मेरे जीभ पर रस की धारा उड़ा दी।

सन्नी ने कैमेरा बाजू में रखा और लक्ष्मी आंटी के उपर लेट कर उसके होंठों को हलके से चूमा।

“यार, लक्ष्मी आंटी तो फिर से पसीने में भीग गई। अब लक्ष्मी आंटी को फिर से नहाना पड़ेगा।”

सन्नी, “चल, थोड़ी मदद कर ते हैं।”

हम दोनों ने लक्ष्मी आंटी को फिर से bathtub के गरम पानी में बिठाया। सन्नी लक्ष्मी आंटी की हालत का फायदा उठाकर उसके उपर लेट गया और उसके होंठ चूमने लगा। लक्ष्मी आंटी को bathtub के किनारे से दिक्कत हो रही थी तो सन्नी पीछे हो गया। लक्ष्मी आंटी ने सन्नी के उपर बैठ कर उसे चूमना शुरू किया। अभी अभी झड चुकी लक्ष्मी आंटी को अपनी खाली मुनिया एक पल भी नहीं भाई और लक्ष्मी आंटी ने सन्नी के लौड़े को पकड़ कर उसका सुपाड़ा अपनी मुनिया पर रगड़ना शुरू किया। सन्नी बेचारा लक्ष्मी आंटी का हमला सहते हुए bathtub के किनारे को पकड़ कर लक्ष्मी आंटी को चूमता रहा।

लक्ष्मी आंटी ने सन्नी पर रहम करते हुए उसके लौड़े पर अपना बदन रखा और अपनी गरमी में सन्नी का लौड़ा समा लिया। पानी में मस्ती करते जोड़े को जो रोके वह १२ वर्ष तक जंगल में तपस्या कर के प्रायश्चित करे। पर जो इस जोड़े से जुड़े वो?

लक्ष्मी आंटी पानी में आगे पीछे होते हुए सन्नी के लौड़े को पकड़ कर दबाने में व्यस्त थीं तो सन्नी लक्ष्मी आंटी के इस हमले को उपभोग करते हुए आंखें बंद कर लक्ष्मी आंटी को चूम रहा था। मेरे bathtub में दाखिल होने का पता लक्ष्मी आंटी को तब चला जब मैंने पीछे से उसके कंधे पकड़े। लक्ष्मी आंटी ने मेरी तरफ देखा तो मैंने अपने लौड़े का सुपारा लक्ष्मी आंटी की गांड़ पर दबाया।

“विक्की बाबू!!!” की चीख निकाल कर लक्ष्मी आंटी ने मेरे लौड़े को अपनी गांड़ में समा लिया। मैंने लक्ष्मी आंटी को कस कर पकड़े रखा और धीरे धीरे अपना मूसल उसकी गांड़ में पेल दिया।

हा… हा… हा… के पुकार के साथ लक्ष्मी आंटी ने सर उठाकर उपर देखते हुए अपनी उत्तेजित विवशता की चीखों से बाथरूम को भर दिया। जब मेरा लौड़ा जड़ तक लक्ष्मी आंटी की गांड़ में समा गया तो मैंने रुकना ठीक समझा। लक्ष्मी आंटी दो पल रुक कर समझ गई कि अब उसकी चाल है। लक्ष्मी आंटी ने धीरे से उठते हुए अपनी चूत और गांड़ से हम दोनों को बाहर निकाला। जब मेरे सूपड़े ने लक्ष्मी आंटी की गांड़ को फैलाया तब लक्ष्मी आंटी ने उपर देखते हुए बैठना शुरु किया।

हा… मां… आह… हनह… अंह… आह… मां!!!

लक्ष्मी आंटी ने हम दोनों को वापस लेने में अपनी पूरी ताकत लगा दी थी। हम दोनों लक्ष्मी आंटी की गरमी में सेकते हुए लक्ष्मी आंटी के मज़े ले रहे थे। सन्नी ने आंखों से इशारा किया तो मैंने बाजू में रखा कैमेरा देखा। लक्ष्मी आंटी की कई सुनहरी यादें हम ने कैमेरा में रिकॉर्ड की है यह देख अच्छा लगा। लक्ष्मी आंटी कैमेरा ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया से बेखबर मानो स्वर्ग में बैठे देवताओं को गुहार लगते हुए हम दोनों के लौडों से अपनी चूत और गांड़ मरवा रही थीं।

में पीछे से लक्ष्मी आंटी के तंग संतरों को पकड़ा तो सन्नी ने आगे बढ़कर उन संतरों पर जडी लाल बेरियों को अपने होठों से पकड़ लिया। हम दोनों ने मानो ठान लिया था कि लक्ष्मी आंटी की मस्तानी आवाज को कोई नहीं रोकेगा। लक्ष्मी आंटी के हर धक्के से छपाक… छ्पाक… की आवाज लक्ष्मी आंटी की चीखों में मिलकर एक नई धुन बना रही थी। लक्ष्मी आंटी ने कई बार झड़ने के कारण होश खोकर किसी जानवर की तरह चुधना जारी रखा।

5 मिनट की बेरहम कुटाई के बाद कुछ ऐसा हुआ जिसकी हम में से किसी को भी उम्मीद नहीं थी। मेरा लौड़ा छीलने लगा और सन्नी का चेहरा भी कुछ असुविधा के भाव दिखा रहे थे। लक्ष्मी आंटी की उत्तेजना की आवाज में कुछ दर्द लग रहा था। मैंने लक्ष्मी आंटी को पिछे से पकड़ कर रोका, “लक्ष्मी आंटी, कुछ गडबड है। मेरा लौड़ा जैसे पानी में भी सुख रहा है”

सन्नी के दिमाग की बत्ती जली, “धत्त तेरे की! अरे चूत में चिकनाहट के लिए रस होता है और गांड़ में भी थोड़ा रस होता है। जब हमने पानी से भरे tub में मस्ती की तो रस धूल गया और फिर हमें तकलीफ हुई।”

लक्ष्मी आंटी को हम दोनों ने उठाया और गरम पानी का shower चलाने को कहा। लक्ष्मी आंटी shower चलाने को भागी तो सन्नी ने bathtub के plug को खिंच निकाला। Bathtub में जमा पानी बह गया और shower से होती बारिश tub में बरसने लगी। उतने में मैं क्रीम की शीशी लेकर आया।

लक्ष्मी आंटी का चेहरा क्रीम की शीशी देख कर खिल उठा। हमने लक्ष्मी आंटी को खड़ा कर उसके चूचे चूसना शुरू किया तो लक्ष्मी आंटी आहें भरती हुई हमारे सर अपने मम्मो पर दबाने लगी। हमने अपनी उंगलियों पर क्रीम लगा कर लक्ष्मी आंटी के छेदों में भर दी तो लक्ष्मी आंटी ने अपना पैर उठाकर हमें जगह बनाकर दी। हमारी उंगलियां लक्ष्मी आंटी को दोहरा चोद रही थीं जब लक्ष्मी आंटी ने हमें बाजू कर दिया।

अब लक्ष्मी आंटी ने क्रीम की शीशी में से काफी क्रीम अपनी हथेली पर लेकर अपने हाथों पर फैलाया। लक्ष्मी आंटी ने हम दोनों को bathtub के किनारे बिठाकर हमारे कड़े लौड़ों को अच्छे से क्रीम लगा कर चिकना बनाया। अब मेरे पैरों को जोड़ कर लक्ष्मी आंटी मेरी गोद में बैठ गई। अपनी पतली उंगलियों से मेरे लौड़े को पकड़ कर लक्ष्मी आंटी ने मेरे लौड़े को अपनी गांड़ में समा लिया।

“आह… सन्नी बाबू अब अच्छा लग रहा है। बस अब की बार अपनी लक्ष्मी आंटी की गांड़ फाड़ दो पर रुकना नहीं। मां… आह…” कहते हुए लक्ष्मी आंटी ने अपनी गांड़ मरवाना शुरू कर दिया। सन्नी ने अपना मौका नहीं छोड़ा। सन्नी ने मेरे पैर फैला कर बीच में आ गया। लक्ष्मी आंटी के पैर और फ़ैल गए तो लक्ष्मी आंटी के यौवन के फूल की पंखु़रियां भी खुल गई। सन्नी ने एक वार में अपनी तलवार लक्ष्मी आंटी की कोमल जवानी में म्यान कर दी।।

“सन्नी बाबू!!! मां… अन्हह… हा… हा… हा… ओहह… बड़े बेरहम हो बाबू। जरा बता कर आते। मैं आप को मना थोड़ी ना करती। उफ्फ… आह…” करते हुए लक्ष्मी आंटी ने सन्नी के कंधों को अपने हाथों से पकड़ लिया। अब लक्ष्मी आंटी ने सन्नी के कंधों पर जोर देते हुए खुद की चुधाई शुरू कर दी। मैं नीचे से लक्ष्मी आंटी की कमर पकड़ कर लक्ष्मी आंटी को मदद कर रहा था तो सन्नी लक्ष्मी आंटी को पकड़ने की मजबूत जगह दे कर चूधाई में अपना योगदान दे रहा था।

बीच में लगे break के कारण या पता नहीं क्यूं पर अब हमने लक्ष्मी आंटी को ऐसे shower से बेहती धारा में लक्ष्मी आंटी को 15 मिनट कुटा और तब जा कर मैंने लक्ष्मी आंटी की गांड़ भरी। मेरा रस फूट पड़ा तो मैंने लक्ष्मी आंटी की गांड़ पकड़ कर अपना लौड़ा ठूस कर रख दिया। मेरी हालत समझ कर और अपनी आत्तेजना के हाथों मजबुर सन्नी ने लक्ष्मी आंटी का कंधा दबाकर ठाप पर ठाप लगाने लगा। कुछ ही पलों में सन्नी भी अपना रस लक्ष्मी आंटी की कोख में भर कर छूट गया।

Score Card रविवार सुबह 9.30 बजे तक
लक्ष्मी आंटी मुंह----चूत----गांड
विक्की---------8-----7-----7
सन्नी------------8-----7-----7
 

Lefty69

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Lefty69

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सन्नी


हम सब एक दूसरे को सुखाकर वापस kitchen पहुंच गए और नाश्ता बनाया। लक्ष्मी आंटी के साथ हंसी मजाक में वक्त का पता नहीं चला और नाश्ता करने के बाद हम सब हॉल में पहुंच गए।

सामने टीवी पर एक वीडियो चल रहा था तो लक्ष्मी आंटी ने हम से पूछा, "बाबू, अगर आप दोनों का इस खेल में कोई तजुर्बा नहीं था तो जरा बताओ ऐसे अलग अलग पैंतरे कहां से लाए? ये मत कहना कि अभी अभी सोचा। सारे कपड़े और वो जो मेरे अंदर डाला था, ये ऐसेही नहीं आया। अब बताओ!!"

विक्की बोला, "अरे लक्ष्मी आंटी, अब तुमसे क्या छुपाना!! जैसे टीवी पर प्यार या हंसी कि फिल्में होती हैं वैसे ही इन बातों की भी होती हैं। पर उन्हें चुपके से वीडियो बनाकर देखते हैं।"

लक्ष्मी आंटी को अभी ऐसी फिल्म देखनी थी पर हम दोनों में से किसी ने भी इस बारे में कुछ इंतजाम नहीं किया था। मैंने कुछ सोचा और उपर से हमारा कैमेरा ले आया। पहला सीन ही बलात्कार का था और वो भी लक्ष्मी आंटी के बलात्कार का। खैर जो होगा सो होगा ऐसे सोच कर मैंने टीवी चालू कर दिया। हम दोनों के बीच में बैठकर लक्ष्मी आंटी ने अपना बलात्कार होते हुए देखने लगी। जब टीवी पर विक्की, लक्ष्मी आंटी को उत्तेजित करता दिखा तो लक्ष्मी आंटी सच में तपने लगी। उसने हम दोनों के लौड़े पकड़ कर हमें हिलाने लगी।

लक्ष्मी आंटी इस सीन में इतनी खो गई थी कि जब उसने अपनी झिल्ली फटते देखी तो वह चीख पड़ी। लक्ष्मी आंटी ने गुस्से से विक्की कि ओर देखते हुए कहा, "विक्की बाबू, आप बहुत बुरे हो!! अब मैं आपका लौड़ा नहीं हिलाऊगी। पता है कितना दर्द हुआ? आप को सजा देनी पड़ेगी।"

लक्ष्मी आंटी ने मेरी गोद में आते हुए मेरा लौड़ा अपने हाथों में लिया और अपनी चूत पर रखा। लक्ष्मी आंटी बैठी तो मेरा लौड़ा उसकी चूत में समा गया। लक्ष्मी आंटी की गीली गरमी मेरे लौड़े को चूमती चूसती रही और मैं विक्की को लक्ष्मी आंटी का बलात्कार करता देख लक्ष्मी आंटी का मज़ा ले रहा था। टीवी पर विक्की के कर धक्के के साथ लक्ष्मी आंटी अपनी कमर उठकर मुझसे चुधवा रही थी। टीवी पर चलते हर चीख और हर आह के साथ लक्ष्मी आंटी मज़े से आह भर रही थी। पाच मिनट बाद जब टीवी पर विक्की कि एक राहत भरी आह निकली तो लक्ष्मी आंटी मेरे लौड़े पर झडने लगी और मैं भी लक्ष्मी आंटी की गरम चूत को गरमी से भरने लगा।

लक्ष्मी आंटी ने मुझे बदन पर लेट कर विक्की को देखा। विक्की लक्ष्मी आंटी की चुधाई देख अपनी उत्तेजना बड़ी मुश्किल से काबू में रखे हुए था। टीवी पर लक्ष्मी आंटी फूटफूट कर रो रही थी और उसकी चूत से खून और वीर्य निकालना साफ दिख रहा था।

लक्ष्मी आंटी बोली, "विक्की बाबू, पता है कि मै इतनी क्यों रो रही थी?"

हम दोनों ने अपने सर हिलाते हुए ना कहा।

लक्ष्मी आंटी ने बताया, "मैंने मन ही मन तयारी कर ली थी कि मेरा आप दोनों से बुरा हाल होने वाला है। जब आप ने मेरी झिल्ली फाड़ी तो मुझे दर्द हुए पर मैं उसके लिए तयार थी। बाद में को मज़ा आया उसके लिए मैं तयार नहीं थी। जब आप ने मेरी कोरी जवानी में अपना पानी छोड़ दिया तब मैं झडी और उसके लिए मैं तयार नहीं थी।"

मेरे रस से भरी चूत को मेरे लौड़े से उठाते हुए लक्ष्मी आंटी ने अपनी चूत को विक्की के लौड़े पर रखा। टीवी पर अब तक मैंने लक्ष्मी आंटी के हाथ अटका दिए थे उसे उत्तेजित करता दिख रहा था। लक्ष्मी आंटी ने विक्की को लौड़ा पूरा अन्दर लेते हुए मेरी ओर देखते हुए अपनी आंख मारी।

लक्ष्मी आंटी, "सन्नी बाबू, आप तो किसी भी लड़की को खुद अपने कपड़े उतारने पर मजबूर कर सकते हो।"

टीवी पर लक्ष्मी आंटी को मैंने धीरे धीरे चोदना शुरू किया और लक्ष्मी आंटी ने विक्की को अपने अंदर रखते हुए अपनी चूत के दाने को सहलाना शुरू किया। जल्द ही टीवी पर मैंने लक्ष्मी आंटी को अच्छे से चोदना चालू किया और लक्ष्मी आंटी ने विक्की के लौड़े पर बैठ आगे पीछे करते हुए अपने दाने को सहलाना चालू रखा।

हालांकि लक्ष्मी आंटी विक्की से चूधा नहीं रही थी पर लक्ष्मी आंटी के योनि की अकड़न से बनती मालिश विक्की को मज़े दे रही थी। टीवी पर जैसे ही मैंने अपना रस लक्ष्मी आंटी की जख्मी चूत में उड़ेला, लक्ष्मी आंटी ने आह भरते हुए झडना चालू कर दिया और इस से विक्की भी अपना बांध खोल लक्ष्मी आंटी की कोख भरने लगा।

लक्ष्मी आंटी ने मुस्कुराते हुए विक्की को चूमा और दोपहर का खाना पकाने के लिए किचन में चली गई। विक्की ने कहा, "यार, ये हमें निचोड़ कर ही दम लेगी!!"

"तू उसे रोकना चाहता है?"

हम दोनों ने हंसते हुए लक्ष्मी आंटी पीछे जाना ठीक समझा।

Score Card रविवार सुबह 10.30 बजे तक
लक्ष्मी आंटी मुंह----चूत----गांड
विक्की---------8-----8-----7
सन्नी------------8-----8-----7
 

SKYESH

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हम सब एक दूसरे को सुखाकर वापस kitchen पहुंच गए और नाश्ता बनाया। लक्ष्मी आंटी के साथ हंसी मजाक में वक्त का पता नहीं चला और नाश्ता करने के बाद हम सब हॉल में पहुंच गए।

सामने टीवी पर एक वीडियो चल रहा था तो लक्ष्मी आंटी ने हम से पूछा, "बाबू, अगर आप दोनों का इस खेल में कोई तजुर्बा नहीं था तो जरा बताओ ऐसे अलग अलग पैंतरे कहां से लाए? ये मत कहना कि अभी अभी सोचा। सारे कपड़े और वो जो मेरे अंदर डाला था, ये ऐसेही नहीं आया। अब बताओ!!"

विक्की बोला, "अरे लक्ष्मी आंटी, अब तुमसे क्या छुपाना!! जैसे टीवी पर प्यार या हंसी कि फिल्में होती हैं वैसे ही इन बातों की भी होती हैं। पर उन्हें चुपके से वीडियो बनाकर देखते हैं।"

लक्ष्मी आंटी को अभी ऐसी फिल्म देखनी थी पर हम दोनों में से किसी ने भी इस बारे में कुछ इंतजाम नहीं किया था। मैंने कुछ सोचा और उपर से हमारा कैमेरा ले आया। पहला सीन ही बलात्कार का था और वो भी लक्ष्मी आंटी के बलात्कार का। खैर जो होगा सो होगा ऐसे सोच कर मैंने टीवी चालू कर दिया। हम दोनों के बीच में बैठकर लक्ष्मी आंटी ने अपना बलात्कार होते हुए देखने लगी। जब टीवी पर विक्की, लक्ष्मी आंटी को उत्तेजित करता दिखा तो लक्ष्मी आंटी सच में तपने लगी। उसने हम दोनों के लौड़े पकड़ कर हमें हिलाने लगी।

लक्ष्मी आंटी इस सीन में इतनी खो गई थी कि जब उसने अपनी झिल्ली फटते देखी तो वह चीख पड़ी। लक्ष्मी आंटी ने गुस्से से विक्की कि ओर देखते हुए कहा, "विक्की बाबू, आप बहुत बुरे हो!! अब मैं आपका लौड़ा नहीं हिलाऊगी। पता है कितना दर्द हुआ? आप को सजा देनी पड़ेगी।"

लक्ष्मी आंटी ने मेरी गोद में आते हुए मेरा लौड़ा अपने हाथों में लिया और अपनी चूत पर रखा। लक्ष्मी आंटी बैठी तो मेरा लौड़ा उसकी चूत में समा गया। लक्ष्मी आंटी की गीली गरमी मेरे लौड़े को चूमती चूसती रही और मैं विक्की को लक्ष्मी आंटी का बलात्कार करता देख लक्ष्मी आंटी का मज़ा ले रहा था। टीवी पर विक्की के कर धक्के के साथ लक्ष्मी आंटी अपनी कमर उठकर मुझसे चुधवा रही थी। टीवी पर चलते हर चीख और हर आह के साथ लक्ष्मी आंटी मज़े से आह भर रही थी। पाच मिनट बाद जब टीवी पर विक्की कि एक राहत भरी आह निकली तो लक्ष्मी आंटी मेरे लौड़े पर झडने लगी और मैं भी लक्ष्मी आंटी की गरम चूत को गरमी से भरने लगा।

लक्ष्मी आंटी ने मुझे बदन पर लेट कर विक्की को देखा। विक्की लक्ष्मी आंटी की चुधाई देख अपनी उत्तेजना बड़ी मुश्किल से काबू में रखे हुए था। टीवी पर लक्ष्मी आंटी फूटफूट कर रो रही थी और उसकी चूत से खून और वीर्य निकालना साफ दिख रहा था।

लक्ष्मी आंटी बोली, "विक्की बाबू, पता है कि मै इतनी क्यों रो रही थी?"

हम दोनों ने अपने सर हिलाते हुए ना कहा।

लक्ष्मी आंटी ने बताया, "मैंने मन ही मन तयारी कर ली थी कि मेरा आप दोनों से बुरा हाल होने वाला है। जब आप ने मेरी झिल्ली फाड़ी तो मुझे दर्द हुए पर मैं उसके लिए तयार थी। बाद में को मज़ा आया उसके लिए मैं तयार नहीं थी। जब आप ने मेरी कोरी जवानी में अपना पानी छोड़ दिया तब मैं झडी और उसके लिए मैं तयार नहीं थी।"

मेरे रस से भरी चूत को मेरे लौड़े से उठाते हुए लक्ष्मी आंटी ने अपनी चूत को विक्की के लौड़े पर रखा। टीवी पर अब तक मैंने लक्ष्मी आंटी के हाथ अटका दिए थे उसे उत्तेजित करता दिख रहा था। लक्ष्मी आंटी ने विक्की को लौड़ा पूरा अन्दर लेते हुए मेरी ओर देखते हुए अपनी आंख मारी।

लक्ष्मी आंटी, "सन्नी बाबू, आप तो किसी भी लड़की को खुद अपने कपड़े उतारने पर मजबूर कर सकते हो।"

टीवी पर लक्ष्मी आंटी को मैंने धीरे धीरे चोदना शुरू किया और लक्ष्मी आंटी ने विक्की को अपने अंदर रखते हुए अपनी चूत के दाने को सहलाना शुरू किया। जल्द ही टीवी पर मैंने लक्ष्मी आंटी को अच्छे से चोदना चालू किया और लक्ष्मी आंटी ने विक्की के लौड़े पर बैठ आगे पीछे करते हुए अपने दाने को सहलाना चालू रखा।

हालांकि लक्ष्मी आंटी विक्की से चूधा नहीं रही थी पर लक्ष्मी आंटी के योनि की अकड़न से बनती मालिश विक्की को मज़े दे रही थी। टीवी पर जैसे ही मैंने अपना रस लक्ष्मी आंटी की जख्मी चूत में उड़ेला, लक्ष्मी आंटी ने आह भरते हुए झडना चालू कर दिया और इस से विक्की भी अपना बांध खोल लक्ष्मी आंटी की कोख भरने लगा।

लक्ष्मी आंटी ने मुस्कुराते हुए विक्की को चूमा और दोपहर का खाना पकाने के लिए किचन में चली गई। विक्की ने कहा, "यार, ये हमें निचोड़ कर ही दम लेगी!!"

"तू उसे रोकना चाहता है?"

हम दोनों ने हंसते हुए लक्ष्मी आंटी पीछे जाना ठीक समझा।

Score Card रविवार सुबह 10.30 बजे तक
लक्ष्मी आंटी मुंह----चूत----गांड
विक्की---------8-----8-----7
सन्नी------------8-----8-----7


ye 2 -3 month ke bad update dene ka kya logic hai ???????
 
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Lefty69

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ye 2 -3 month ke bad update dene ka kya logic hai ???????
Actually बीच में एक कहानी मन में बन अयी और मुझे उस पर काम करना पड़ा। Character का backstory वगैरा काफी था और आगे भी बहुत बन गया तो मैंने वहीं बनाया। पर जब मैंने यहां पोस्ट करना शुरु कर दिया तो पता चला के मै rules समझ नहीं पाया था। जब मैंने character की उम्र 18 से कम लिखीं तो मुझे रोका गया हालांकि character की कोई sexual activities 18 saal ke pahle shuru nahi hui.
साथ में ही character negative shades mein tha to usne baccha uth jayega ye dar dikhakar maa se balatkar kiya.
Rules padhkar mujhe laga ke jab tak baccha involved ya witness nahi hai to koi problem nahi hai. I was wrong and that story went to private section for correction.
So basically khaya piya kuch nahi glass toda 10Lakh ka.
 
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