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Incest पुरा परिवार हवस का शिकार

कहानी का हीरो आप किसे समझ रहे हो ??


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Prince_007

Member
105
876
94
अपडेट 17


ट्रेन पुरी रफ़्तार से चल रही थी सब खाना खा के सो चुके थे । पर राहुल कुछ सोच रहा था काफी देर तक यूँ ही सोचने के बाद वो उठकर पेशाब करने जा रहा था की उसकी नज़र निधि पे गयी जो गहरी नींद में थी उसके कपड़े अस्त वस्त हो गये थे जिससे उसकी आधी चूची बहार को आने को हो रही थी ।ये नज़ारा देख राहुल का लंड हिचकोलें मरने लगा ।तभी उसकी नज़र निशा पे गयी तो वो पता नही कब उठ गयी थी और राहुल को देख रही थी।जैसे ही राहुल की नज़र निशा पे गयी वो ग्लानी से भर गया और जल्दी से बाथरूम चला गया इधर निशा ये सब देख मुस्कुरा दी ।
बाथरूम से आह्ह्ह..उफ्फ्फ...की आवाज़ से राहुल बहार से ही सुन के रुक गया और सुनने लगा ।चोदो भैया आअह्ह..अब रहा नही जाता आपके लंड के बिना आह्ह ...भैया फाड़ दो अपनी बहन की चूत ।तभी एक और आवाज़ आयी आअह्ह्ह..हाँ दीदी तेरी चूत फाड़ के तुझको रंडी बनाऊंगा ।
थोड़ी देर ऐसे ही चला और आह्ह्ह..की आवाज़ से वो शांत हो गये और थोड़ी ही देर में एक लड़का बहार आया तो सामने राहुल को खड़ा देखा ।राहुल को देख लड़के की हालत खराब हो गयी वो पसीने से भीग गया पर कुछ बोला नही और तुरंत वहा से निकल गया कुछ सेकंड के बाद लड़की भी निकली तो सामने राहुल को देख कुछ बोली नही और चली गयी ।इधर राहुल ये सब सुन के आचंभित था की क्या ये सच में भाई बहन हैं और ऐसे खुले में चुदाई को अंजाम दे रहे हैं वो सोच ही रहा था की पीछे से निशा आकर बोली यही रहोगे क्या रात भर ये सुन राहुल अपनी दुनिया से बहार आया और बोला की नही नही और पेशाब करके चला गया निशा अपने आप में ही बड़बड़ायी ये राहुल को क्या हुआ अभी तो ठीक था । रात काफी हो चुकी थी सब सो चुके थे । इधर गरिमा अपने पापा के साथ बिस्तर पे बैठे हुए थी ।
सुरेश - आज तो पीछे से ही करना हैं जान ,पीछे का भी छेद खुलावा लो बहुत मज़ा आएगा ।
गरिमा - पापा पर पीछे तो बहुत दर्द होगा।
सुरेश - मज़ा भी तो बहुत आएगा डार्लिंग एक बार करवा के देखो बार बार गांड ही मरवाओगी ।
गरिमा - कुछ सोच के ठीक हैं पापा देखती हूँ, वैसे पलक बोली थी की पीछे की गली खुलवाने में भी बहुत मज़ा आता हैं ।
सुरेश - खुश होता हुआ वाह जान ये हुई ना बात और उसके होंठों को अपने होंठों में भर लेता हैं। दोनो बाप बेटी एक दूसरे को बेतहसा चूमे जा रहे थे । गरिमा ने मस्ती में सुरेश का लंड को
पकड़ लिया और सुरेश भी गरिमा की गाण्ड को मसले जा रहा था। दोनो ने अपना मुँह खोल के एक दूसरे की जीभ का स्वागत किया ।लार से दोनो का मुँह भर चुका था ।इधर सुरेश गांड की दरार में ऊँगली करने लगा था ।कुछ देर होंठों को खाने के बाद दोनो अलग होते हैं दोनो ही जोर जोर से साँसे ले रहे थे की एक दूसरे को देख मुस्कुरा दिये ।सुरेश ने जल्दी से अपने कपड़े उतर के बिस्तर पे लेट गया,गरिमा भी समझ गयी और वो भी सुरेश की टाँगें के बीच बैठ के लंड पकड़ लेती हैं। गरिमा सुरेश की आँखों में देखती हैं और मुस्कुरा के लंड पे जीभ फेर देती हैं ।सुरेश भी इस एहसास से आँखें बंद कर लेता हैं।
गरिमा भी गपा गप लंड मुँह में लेकर चूसने लगी इस मस्ती और मज़े में सुरेश की सिसकियाँ निकलने लगी आह्ह .. गरिमा उम्म्म..चुसो बेटी आह्ह... ,लंड थूक से गीला होकर चमक रहा था ।गरिमा बहुत सारा थूक सुरेश के लंड पे उगल देती हैं और लंड को पकड़ के हिलाते हुए बोलती हैं ।आह्ह ..पापा आपका लंड कितना मस्त हैं और फिर से मुँह में भर कर चूसने लगती हैं ।कुछ देर की चुसाई के बाद गरिमा नंगी हो जाती हैं और जाकर सुरेश के मुँह पे बैठ जाती हैं। सुरेश भी अपनी जीभ को चूत पे रख देता हैं जैसे ही गरिमा चूत पर जीभ महसूस करती हैं । वो एक दम से मचल जाती हैं।निचे से सुरेश चूत पे जीभ
घुमाये जा रहा था। लगातार चूत पे जीभ के घुमाव के कारण गरिमा की सिसकियाँ निकलने लगती हैं आह्ह ... पापा चाटो ऐसे ही उफ्फ्फ...पापा बेटीचोदी साले भड़वे आह्ह्ह .. इस तरह गरिमा बहुत गरम हो जाती हैं । और वो मस्ती में बोलती हैं चोद दो पापा अब रहा नही जाता इतना सुनते ही सुरेश उठकर बोला घोड़ी बन साली ,गरिमा जल्दी से घोड़ी बन जाती हैं ।सुरेश बिना कुछ सोचे ही गांड में मुँह घुसा देता हैं ।पहली बार गरिमा की गांड को कोई चाट रहा था इस एहसास से गरिमा और गर्म हो गयी और आहे भरने लगी आअह्ह...पापा कितना मज़ा आ रहा हैं गांड चटवाने में उफ्फ्फ..आप सच बोले थे गांड का भी अलग मज़ा हैं
सुरेश भी गांड को चाटना छोड़ के बोला अभी तो लंड जायेगा तब देखना कितना मज़ा हैं और फिर से चाटने लगता हैं गांड को फैला के जीभ को छेद पे जैसे ही घूमता हैं गरिमा की आह्ह्ह ..निकल जाती हैं आह्ह्ह ..पापा...
गांड थूक से पुरी तरह गीली हो चुकी थी ।उसने जल्दी से लंड गांड के छेद रख के रगड़ा ही था की गरिमा गांड उछलने लगी आह्ह..पापा डालो ना । सुरेश ने लंड को गांड के छेद पे रखकर जोर का धक्का मारा और लंड का टोपा गांड को खोलता हुआ समा गया गरिमा की एक आह्ह भारी चीख निकल गयी आह्ह्ह ...भोसड़ी के मादरचोद निकाल साले दर्द हो रहा हैं । सुरेश जान बस थोड़ा और वो जल्दी से एक और धक्का मार देता हैं जिस से गरिमा की गांड फट जाती हैं ।वो दर्द के मारे बिलबिला उठती हैं आह्ह्ह.. मादरचोद भड़वे फट गयी गांड आह्ह....रंडी के पिल्ले और रोने लगती हैं सुरेश गरिमा की ऐसी हालत पे घबरा जाता हैं ।और बोलता हैं ।इतना मत चिल्ला साली तेरी माँ उठ जाएगी ।गरिमा बोली माँ के लोड़े तेरी गांड फटेगी तब बोलियो की मत चिल्ला हरामी साले निकाल लंड बहार,सुरेश बोला अब इतना हो गया हैं तो थोड़ा और सह ले साली और धीरे धीरे अपनी कमर चलाने लगता हैं गांड का गुड़गाँव बन ना शुरु हो चुका था ।इधर गरिमा की दर्द भारी सिसकियाँ निकलने लगी आह्ह्ह .. बेटीचोद दर्द हो रहा हैं और जलन भी हो रही हैं तेल लगा ले भोसड़ी के, ये सुन के सुरेश लंड निकल देता हैं जिससे गरिमा को थोड़ी राहत मिलती हैं । सुरेश लंड को देखता हैं तो उसपे खून लगा हुआ था ।ये देख सुरेश थोड़ा घबरा जाता हैं पर हवस उसपे हावी होती हैं इसीलिए वो गरिमा को कुछ नही बोलता । लंड पे तेल लगा के और गांड पे तेल लगाने वाला होता हैं की उसकी गांड पे खून लगा था ।वो जल्दी से तेल लगा के लंड को गांड के छेद पे रख के धीरे धीरे घुसा देता हैं इस बार उतना दर्द तो नही पर उसकी गांड में जलन होना थोड़ा कम हुआ और हलका दर्द के साथ लंड गांड की गहराई में उतर जाता हैं ।
सुरेश धीरे धीरे गांड चुदाई शुरू कर देता हैं गरिमा को ये दर्द अब कुछ मीठे दर्द में परिवर्ती हो चुका था आअह्ह .. पापा चोदो और जोर से चोदो अच्छा लग रहा हैं ।सुरेश ये सुन मुस्कुरा देता हैं और जोर जोर से धक्के लगाने लगता हैं आह्ह्ह ...पापा उफ्फ्फ...साले थोड़ा धीरे चोद मादरचोद ,अब तो सुरेश को भी मज़ा आने लगा था वो गांड चुदाई की मस्ती में बोला चुप साली रांड ,माँ की लोड़ी कुत्तिया तु मेरा लंड लेने के लिए ही जन्मी थी साली भड़वी आह्ह्ह ...गरिमा रांड आज फाड़ दूंगा तेरी ये मस्तानी गांड आह्ह्ह ..रंडी थोड़ी देर गांड की कुटाई के बाद सुरेश लंड को चूत में डाल के धक्के मरने लगता हैं ।अब गरिमा भी सब कुछ भूल के मज़े लूटने लगती हैं आअह्ह्ह ...पापा फाड़ दो पापा मेरी चूत गांड को उफ्फ्फ..., सुरेश से भी अब ये मस्ती बर्दाश्त नही होती और बोलता हैं आअह्ह ...साली बोल मज़ा आ रहा हैं ना तुझे बोल साली रंडी । हाँ पापा बहुत मज़ा आ रहा हैं आह्ह ...चोदो मुझे चोदो ,सुरेश भी कभी गांड तो कभी चूत बारी बारी से दोनो छेद खोलने में लगा था ।ऐसे ही ये चुदाई का सिलसिला चलता रहा तभी गरिमा झड़ने लगी और ठंडी होकर मुरझा गयी इतने में सुरेश ने लंड चूत से निकल के गांड में डालकर 3-4 धक्के ही मारे की आह्ह्ह ... करते हुए उसका लंड गरिमा की गांड को भीगाने लगा और हांफ्ते हुए दोनो बिस्तार पे धारासाही हो गये और जोर जोर से सांसे लेने लगते हैं । जब गरिमा को होश आया तो उसने गांड में ऊँगली करके वीर्य को चाटने लगी। ये सब देख सुरेश मुस्कुरा जाता हैं । कुछ देर बाद गरिमा उठने को हुई तो उसकी गांड में इतनी तेज़ का दर्द उठा की उसकी आह्ह निकल गयी । जैसे तैसे सुरेश गरिमा को उठा के बोला कुछ दिन दर्द होगा जान उसके बाद सिर्फ मज़ा आएगा कल में तुमको दवाई दे दूंगा बोल के अपने कमरे में चला जाता हैं इधर गरिमा भी आह्ह करते हुए सो जाती हैं । सुरेश को अपने बिस्तर पे ना पाकर बरखा उठ के बैठी थी तभी सुरेश कमरे में जाता हैं तो बरखा को देख के चौंक जाता हैं अंदर ही अंदर उसकी गांड फट गयी थी ।तभी बरखा बोली कहा गये थे ।सुरेश कुछ नही बरखा पेशाब करने गया था । बरखा हम्म..चलो सो जाओ सुबह दुकान जाना हैं ।
सुबह की पहली किरण और चिड़िया की चू चू की आवाज़ से आयशा की आँख खुलती हैं ।जो उठकर अंगड़ाई लेती हैं और काम करने लगती हैं धीरे धीरे सूरज देवता का प्रकाश पूरे गाँव में फ़ैल जाता हैं तभी रोहन उठता हैं और सीधा उसकी नज़र आयशा की चूची पे जाती हैं जो सामने झुक के झाड़ू लगा रही थी चोली में कैद उसके उभार रोहन
को मस्त कर गये उसने भगवान को धन्यवाद किया और उठकर फ्रेश होने चला गया ।रोहन भी अब अपने खेत में काम करने लगा था तो वो नास्ता करके खेत में चला जाता हैं ।इधर राहुल ,निशा ,निधि और आरोही भी उठ कर सफर का मज़ा ले रहे थे की आरोही बोली भैया गोवा कब आएगा ।अभी तो बहुत दूर हैं आरोही आज का पुरा दिन और रात उसके अगली सुबह हम लोग गोवा में होंगे समझी ।क्या इतना समय क्या करेंगे भैया और उदास हो जाती हैं ।निधि क्या करेंगे क्या सफर का मज़ा लेते हैं और क्या ।तभी निशा बोली हाँ राहुल तो कल रात सफर का अच्छा मज़ा ले रहा था और मुस्कुरा देती हैं जिसे सुन राहुल की सीटी पीटी गुम हो जाती हैं ।आरोही अच्छा क्या मज़ा लिया भैया बताओ ना ।निशा हाँ राहुल बता दो ना क्या मज़ा लिया और मुस्कुरा देती हैं ।अब बेचारा राहुल क्या बोलता वो उठकर बोलता हैं अभी आता हूँ ।और बाथरूम की तरफ निकल जाता हैं ।इधर निशा मुस्कुरा के मन में बोलती हैं अच्छा जी कब तक बचोगे में भी देखती हूँ ।निधि क्या मज़ा किया भैया ने तुम ही बता दो तो निशा बोली कुछ नही यार बस ऐसे ही बोली में तो बस तुम सोते हुए अपने कबूतर ढक कर सोया करो और मुस्कुरा देती हैं ।आरोही समझ नही पाता पर निधि ये सुन शर्मा जाती हैं ।आरोही कबूतर कैसे कबूतर निशा ,निशा अरे बुद्दू और अपने उभार की तरफ इशारा करते हुए बोली ये और क्या ।आरोही भी शर्म से लाल हो जाती हैं इधर निधि के मन में क्या भैया रात को मेरी चूची देख रहे थे ओह गॉड और शर्म से कुछ बोल नही पाती हैं । बरखा और सुरेश नाश्ता कर चुके थे पर गरिमा अभी तक निचे नही आयी थी तभी बरखा उसको बुलाने गयी गरिमा उठ बेटा सुबह कब की हो गयी हैं आज ऑफिस नही जाएगी क्या? मम्मी सोने दो ना आज जाने का मन नही हैं ।तो निचे चलकर दरवाजा तो बंद कर ले दुकान पे जाने का समय हो गया हैं ।गारिम ठीक हैं मम्मी और वो उठकर जैसे ही बिस्तर से उठने को होती हैं उसकी आह्ह्ह निकल जाती हैं ।क्या हुआ गरिमा
कुछ नही मम्मी बस ऐसे ही वो जैसे तैसे दर्द सह के उठती है और निचे जाती हैं ।बरखा बेटा खाना बना दिया हैं खा लेना बोल के बरखा और सुरेश निकल जाते हैं वो दरवाजा बंद करके सोफे पे बैठ कर आहे भरते हुए उफ्फ्फ..बेटीचोद ने गांड फाड़ दी कितना दर्द हो रहा हैं ।पर दूसरे हर पल उसको गांड चुदाई की मस्ती याद आ जाती हैं और वो मुस्कुरा के बोलती हैं मज़ा तो आया बहुत पर दर्द भी बहुत हुआ ।वो सोफे पे ही सो जाती हैं
इधर राहुल थोड़ी देर बाद आता हैं और बोलता हैं भैया यहाँ भी चार चाय दे दो और बैठ के पकोड़े के साथ बातें करते हुए सफर का मज़ा लेते हैं ।
दोपहर हो चली थी रोहन खेत से नही आया तो आयशा ही उसको बुलाने को गयी ।रोहन खेत जोत रहा था। तभी आयशा को देख के ट्रैक्टर रोक के उतरता हैं उसके पास आकर बोलता हैं तुम यहाँ क्या कर रही हो।भैया दोपहर हो चुकी हैं खाना नही खाना क्या ।मैं घर ही आने वाला था आयशा ,कोई ज़रुरत नही हैं मैं खाना लेकर ही आयी हूँ ।
रोहन ये सुन मुस्कुरा देता हैं और बोलता हैं आज तो तुम बिल्कुल पत्नी वाला काम कर दी ।ये सुन के आयशा शर्मा जाती हैं और बोलती हैं भैया ये कुछ ज़्यादा ही हो गया ।
दोनो पेड़ की छाँव में बैठकर खाना खाते हैं । थोड़ी ही देर में खाना ख़त्म करके हाथ मुँह धो कर रोहन उठता हैं की आयशा थोड़ा झुक के बर्तन उठा रही थी तभी उसकी नज़र उसके चोली में गयी जहा चूचियाँ पसीने से भीगी हुई दुखाई दे रही थी ।ये सब देख रोहन का लंड सर उठाने लगा और तभी आयशा की नज़र रोहन पे गयी जो उसकी चूची को ही देखे जा रहा था आयशा ये सब देख के मुस्कुरा देती हैं और बोलती हैं भैया देख लिया तो मै जाऊं ना ये सुनते ही रोहन शर्मा गया। आयशा उठते हुए बोली अभी देख लो बस इतना बोल के वो मुस्कुरा देती हैं तभी रोहन बोलता हैं कभी चोली उतर के भी दिखा दे तो कुछ बात बने । ये सुन आयशा बोली ठीक है भैया मुझे नदी किराने ले चलो तब चोली खोल के क्या घाँघरा उतर के टाँगें फैला दूंगी और हँसते हुए भाग जाती हैं ।ये सुन के रोहन चिल्ला के बोलता क्या सच में नदी पे वो इतना ही बोल पाता हैं की आयशा बहुत दूर निकल जाती हैं ।
जैसे तैसे दिन बीत जाता हैं और राहुल ,निधि ,निशा और आरोही खाना खा के बर्थ पे लेट जाते हैं। इधर रोहन को आयशा से बात करने का समय ही नही मिल पा रहा था जब भी रोहन बात करना चाहता आयशा कभी मम्मी से चिपक जाती तो कभी अपने पापा से बात करने लगती देखते ही देखते समय गुज़ार गया और वो लोग खाना खा के सोने चले गये । रात का एक पहर बीत गया पर रोहन के आँखों में तो नींद ही नही थी वो जैसे तैसे उठकर आयशा के पास जाता हैं जो आज आंगन में ही चटाई पे सो रही थी । रोहन चुपके से आयशा के करीब जाता हैं उसका दिल जोरो से धड़क रहा था थोड़ी हिम्मत करके वो उसके साथ ही लेट जाता हैं उसके बदन की गर्मी रोहन को महसूस होने लगती हैं ।पाता नही कैसे पर रोहन आयशा से चिपक जाता और उफ्फ्फ..पहली बार आयशा के बदन की छुवान ने रोहन को अंदर तक झंझौर दिया उसके धड़कने तेज़ हो गयी।हाथ कांपने लगे ।उसने कांपते हुए हाथों को धीरे धीरे आगे बढ़ाया और ले जाकर आयशा के चुचो पे रख दिया ।इस एहसास से रोहन का लंड खड़ा होने लगा उसने थोड़ी और हिम्मत की और चूची को धीरे से दबा देता हैं आह्ह्ह .. ये एहसास उसको मदहोश कर गया और उसके मुँह से अपने आप ही निकल गया आह्ह्ह .. क्या चूची हैं तेरी आयशा और इस मस्ती को पाने के लिए वो फिर से आयशा की चूची के दबाने लगता हैं आह्ह .. आयशा वो धीरे धीरे से कब जोर जोर से मसलने लगा उसको खुद भी पता नही चला।उसका लंड आयशा की गांड पे रगड़ खाने लगा ।वो मस्ती में खो गया था । आयशा अपने जिस्म पे किसी का हाथ पाकर उठ गयी और जोर से चिल्लायी चोर चोर ये सुनते ही रोहन की गांड फट गयी और उसने जल्दी से आयशा का मुँह अपने हाथ से बंद करके बोला आयशा मैं हूँ रोहन ,ये सुन आयशा चुप हो गयी और बोली भैया तुम ये सब क्या कर रहे हो ।तभी उनकी मम्मी उठ गयी और बोली कहा हैं चोर ? ये आवाज़ से रोहन जल्दी से अलग हुआ और बोला हाँ आयशा चोर कहा हैं ,तब तक उनकी मम्मी आ गयी तो आयशा ने बात को संभालते हुए बोली की मम्मी मैंने सपना देखा था की चोर हमारा सब कुछ चुरा कर ले गया । इसपे उसकी मम्मी हँसते हुए बोली तु भी ना और एक प्यार से चपात मरते हुए बोली ।फिर
वो चली गयी और आयशा ,रोहन को बोली भैया आपको शर्म नही हैं। आपको तो कल बताती हूँ बोल के सो गयी इधर रोहन को अपनी गलती पे पछतावा हो रहा था की वो हवस में क्या कर गया कही आयशा पापा को ना बोल दे ये सब सोच के ही उसकी गांड फट रही थी ऐसे ही वो भी सो गया ।
इधर गरिमा पापा आज के बाद गांड नही दूंगी कितना दर्द हो रहा हैं और चिल भी गया हैं आप बहुत गंदे हो ।
सुरेश - गरिमा मुझे माफ़ कर देना हवस ने मुझे पागल कर दिया था । और ये दवाई ले इसको खा लियों और इसको लगा लियो ठीक हैं ।
वो दवाई लेकर वोली ठीक हैं तभी सुरेश बोला जो मज़ा आया गरिमा उसका क्या इस बात को सुन गरिमा मुस्कुरा गयी पर कुछ बोली नही ।सुरेश सोने चला जाता हैं । गरिमा दवाई खाकर और दवाई लगाकर सो जाती हैं ।
इधर सुरेश बरखा की बुर में लंड पेलते हुए बोल रहा था आह्ह्ह .. साली रंडी क्या बुर हैं तेरी उफ्फ्फ.. बरखा रानी
बरखा भी मस्ती में आह्ह्ह राजा चोदो और जोर से चोदो मुझे उफ्फ्फ .. और कुछ ही देर में झाड़ के सो जाते हैं ।
दूसरी तरफ विक्की और अजय दारु पीते हुए
विक्की - साली निधि नही आयी ।
अजय - लगता हैं भाई रंडी डर गयी हैं । बहन की लोड़ी इसीलिये नही आयी ।
विक्की - कोई नही कब तक बचेगी रंडी कल ही उसकी चूत में लंड देता हूँ और दोनो हँसने लगते हैं ।
तिवारी - बेटा सो जा कितना पियेगा ।
विक्की - पापा मुझे पीने का शौंक नही , पीता हूँ गम भुलाने को ,
तिवारी - अच्छा क्या गम हैं तुझे
विक्की - पापा मुझे उस राहुल मादरचोद से बदला लेना हैं और निधि और आरोही को चोदना हैं इतना बोल के वो अपने पापा से लिपट जाता हैं ।
तिवारी - हाँ बेटा कुछ दिन रुक जा , वो रंडियों बहुत जल्द ही तेरे बिस्तर पे टाँगें खोल के पड़ी होंगी।
 

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ट्रेन पुरी रफ़्तार से चल रही थी सब खाना खा के सो चुके थे । पर राहुल कुछ सोच रहा था काफी देर तक यूँ ही सोचने के बाद वो उठकर पेशाब करने जा रहा था की उसकी नज़र निधि पे गयी जो गहरी नींद में थी उसके कपड़े अस्त वस्त हो गये थे जिससे उसकी आधी चूची बहार को आने को हो रही थी ।ये नज़ारा देख राहुल का लंड हिचकोलें मरने लगा ।तभी उसकी नज़र निशा पे गयी तो वो पता नही कब उठ गयी थी और राहुल को देख रही थी।जैसे ही राहुल की नज़र निशा पे गयी वो ग्लानी से भर गया और जल्दी से बाथरूम चला गया इधर निशा ये सब देख मुस्कुरा दी ।
बाथरूम से आह्ह्ह..उफ्फ्फ...की आवाज़ से राहुल बहार से ही सुन के रुक गया और सुनने लगा ।चोदो भैया आअह्ह..अब रहा नही जाता आपके लंड के बिना आह्ह ...भैया फाड़ दो अपनी बहन की चूत ।तभी एक और आवाज़ आयी आअह्ह्ह..हाँ दीदी तेरी चूत फाड़ के तुझको रंडी बनाऊंगा ।
थोड़ी देर ऐसे ही चला और आह्ह्ह..की आवाज़ से वो शांत हो गये और थोड़ी ही देर में एक लड़का बहार आया तो सामने राहुल को खड़ा देखा ।राहुल को देख लड़के की हालत खराब हो गयी वो पसीने से भीग गया पर कुछ बोला नही और तुरंत वहा से निकल गया कुछ सेकंड के बाद लड़की भी निकली तो सामने राहुल को देख कुछ बोली नही और चली गयी ।इधर राहुल ये सब सुन के आचंभित था की क्या ये सच में भाई बहन हैं और ऐसे खुले में चुदाई को अंजाम दे रहे हैं वो सोच ही रहा था की पीछे से निशा आकर बोली यही रहोगे क्या रात भर ये सुन राहुल अपनी दुनिया से बहार आया और बोला की नही नही और पेशाब करके चला गया निशा अपने आप में ही बड़बड़ायी ये राहुल को क्या हुआ अभी तो ठीक था । रात काफी हो चुकी थी सब सो चुके थे । इधर गरिमा अपने पापा के साथ बिस्तर पे बैठे हुए थी ।
सुरेश - आज तो पीछे से ही करना हैं जान ,पीछे का भी छेद खुलावा लो बहुत मज़ा आएगा ।
गरिमा - पापा पर पीछे तो बहुत दर्द होगा।
सुरेश - मज़ा भी तो बहुत आएगा डार्लिंग एक बार करवा के देखो बार बार गांड ही मरवाओगी ।
गरिमा - कुछ सोच के ठीक हैं पापा देखती हूँ, वैसे पलक बोली थी की पीछे की गली खुलवाने में भी बहुत मज़ा आता हैं ।
सुरेश - खुश होता हुआ वाह जान ये हुई ना बात और उसके होंठों को अपने होंठों में भर लेता हैं। दोनो बाप बेटी एक दूसरे को बेतहसा चूमे जा रहे थे । गरिमा ने मस्ती में सुरेश का लंड को
पकड़ लिया और सुरेश भी गरिमा की गाण्ड को मसले जा रहा था। दोनो ने अपना मुँह खोल के एक दूसरे की जीभ का स्वागत किया ।लार से दोनो का मुँह भर चुका था ।इधर सुरेश गांड की दरार में ऊँगली करने लगा था ।कुछ देर होंठों को खाने के बाद दोनो अलग होते हैं दोनो ही जोर जोर से साँसे ले रहे थे की एक दूसरे को देख मुस्कुरा दिये ।सुरेश ने जल्दी से अपने कपड़े उतर के बिस्तर पे लेट गया,गरिमा भी समझ गयी और वो भी सुरेश की टाँगें के बीच बैठ के लंड पकड़ लेती हैं। गरिमा सुरेश की आँखों में देखती हैं और मुस्कुरा के लंड पे जीभ फेर देती हैं ।सुरेश भी इस एहसास से आँखें बंद कर लेता हैं।
गरिमा भी गपा गप लंड मुँह में लेकर चूसने लगी इस मस्ती और मज़े में सुरेश की सिसकियाँ निकलने लगी आह्ह .. गरिमा उम्म्म..चुसो बेटी आह्ह... ,लंड थूक से गीला होकर चमक रहा था ।गरिमा बहुत सारा थूक सुरेश के लंड पे उगल देती हैं और लंड को पकड़ के हिलाते हुए बोलती हैं ।आह्ह ..पापा आपका लंड कितना मस्त हैं और फिर से मुँह में भर कर चूसने लगती हैं ।कुछ देर की चुसाई के बाद गरिमा नंगी हो जाती हैं और जाकर सुरेश के मुँह पे बैठ जाती हैं। सुरेश भी अपनी जीभ को चूत पे रख देता हैं जैसे ही गरिमा चूत पर जीभ महसूस करती हैं । वो एक दम से मचल जाती हैं।निचे से सुरेश चूत पे जीभ
घुमाये जा रहा था। लगातार चूत पे जीभ के घुमाव के कारण गरिमा की सिसकियाँ निकलने लगती हैं आह्ह ... पापा चाटो ऐसे ही उफ्फ्फ...पापा बेटीचोदी साले भड़वे आह्ह्ह .. इस तरह गरिमा बहुत गरम हो जाती हैं । और वो मस्ती में बोलती हैं चोद दो पापा अब रहा नही जाता इतना सुनते ही सुरेश उठकर बोला घोड़ी बन साली ,गरिमा जल्दी से घोड़ी बन जाती हैं ।सुरेश बिना कुछ सोचे ही गांड में मुँह घुसा देता हैं ।पहली बार गरिमा की गांड को कोई चाट रहा था इस एहसास से गरिमा और गर्म हो गयी और आहे भरने लगी आअह्ह...पापा कितना मज़ा आ रहा हैं गांड चटवाने में उफ्फ्फ..आप सच बोले थे गांड का भी अलग मज़ा हैं
सुरेश भी गांड को चाटना छोड़ के बोला अभी तो लंड जायेगा तब देखना कितना मज़ा हैं और फिर से चाटने लगता हैं गांड को फैला के जीभ को छेद पे जैसे ही घूमता हैं गरिमा की आह्ह्ह ..निकल जाती हैं आह्ह्ह ..पापा...
गांड थूक से पुरी तरह गीली हो चुकी थी ।उसने जल्दी से लंड गांड के छेद रख के रगड़ा ही था की गरिमा गांड उछलने लगी आह्ह..पापा डालो ना । सुरेश ने लंड को गांड के छेद पे रखकर जोर का धक्का मारा और लंड का टोपा गांड को खोलता हुआ समा गया गरिमा की एक आह्ह भारी चीख निकल गयी आह्ह्ह ...भोसड़ी के मादरचोद निकाल साले दर्द हो रहा हैं । सुरेश जान बस थोड़ा और वो जल्दी से एक और धक्का मार देता हैं जिस से गरिमा की गांड फट जाती हैं ।वो दर्द के मारे बिलबिला उठती हैं आह्ह्ह.. मादरचोद भड़वे फट गयी गांड आह्ह....रंडी के पिल्ले और रोने लगती हैं सुरेश गरिमा की ऐसी हालत पे घबरा जाता हैं ।और बोलता हैं ।इतना मत चिल्ला साली तेरी माँ उठ जाएगी ।गरिमा बोली माँ के लोड़े तेरी गांड फटेगी तब बोलियो की मत चिल्ला हरामी साले निकाल लंड बहार,सुरेश बोला अब इतना हो गया हैं तो थोड़ा और सह ले साली और धीरे धीरे अपनी कमर चलाने लगता हैं गांड का गुड़गाँव बन ना शुरु हो चुका था ।इधर गरिमा की दर्द भारी सिसकियाँ निकलने लगी आह्ह्ह .. बेटीचोद दर्द हो रहा हैं और जलन भी हो रही हैं तेल लगा ले भोसड़ी के, ये सुन के सुरेश लंड निकल देता हैं जिससे गरिमा को थोड़ी राहत मिलती हैं । सुरेश लंड को देखता हैं तो उसपे खून लगा हुआ था ।ये देख सुरेश थोड़ा घबरा जाता हैं पर हवस उसपे हावी होती हैं इसीलिए वो गरिमा को कुछ नही बोलता । लंड पे तेल लगा के और गांड पे तेल लगाने वाला होता हैं की उसकी गांड पे खून लगा था ।वो जल्दी से तेल लगा के लंड को गांड के छेद पे रख के धीरे धीरे घुसा देता हैं इस बार उतना दर्द तो नही पर उसकी गांड में जलन होना थोड़ा कम हुआ और हलका दर्द के साथ लंड गांड की गहराई में उतर जाता हैं ।
सुरेश धीरे धीरे गांड चुदाई शुरू कर देता हैं गरिमा को ये दर्द अब कुछ मीठे दर्द में परिवर्ती हो चुका था आअह्ह .. पापा चोदो और जोर से चोदो अच्छा लग रहा हैं ।सुरेश ये सुन मुस्कुरा देता हैं और जोर जोर से धक्के लगाने लगता हैं आह्ह्ह ...पापा उफ्फ्फ...साले थोड़ा धीरे चोद मादरचोद ,अब तो सुरेश को भी मज़ा आने लगा था वो गांड चुदाई की मस्ती में बोला चुप साली रांड ,माँ की लोड़ी कुत्तिया तु मेरा लंड लेने के लिए ही जन्मी थी साली भड़वी आह्ह्ह ...गरिमा रांड आज फाड़ दूंगा तेरी ये मस्तानी गांड आह्ह्ह ..रंडी थोड़ी देर गांड की कुटाई के बाद सुरेश लंड को चूत में डाल के धक्के मरने लगता हैं ।अब गरिमा भी सब कुछ भूल के मज़े लूटने लगती हैं आअह्ह्ह ...पापा फाड़ दो पापा मेरी चूत गांड को उफ्फ्फ..., सुरेश से भी अब ये मस्ती बर्दाश्त नही होती और बोलता हैं आअह्ह ...साली बोल मज़ा आ रहा हैं ना तुझे बोल साली रंडी । हाँ पापा बहुत मज़ा आ रहा हैं आह्ह ...चोदो मुझे चोदो ,सुरेश भी कभी गांड तो कभी चूत बारी बारी से दोनो छेद खोलने में लगा था ।ऐसे ही ये चुदाई का सिलसिला चलता रहा तभी गरिमा झड़ने लगी और ठंडी होकर मुरझा गयी इतने में सुरेश ने लंड चूत से निकल के गांड में डालकर 3-4 धक्के ही मारे की आह्ह्ह ... करते हुए उसका लंड गरिमा की गांड को भीगाने लगा और हांफ्ते हुए दोनो बिस्तार पे धारासाही हो गये और जोर जोर से सांसे लेने लगते हैं । जब गरिमा को होश आया तो उसने गांड में ऊँगली करके वीर्य को चाटने लगी। ये सब देख सुरेश मुस्कुरा जाता हैं । कुछ देर बाद गरिमा उठने को हुई तो उसकी गांड में इतनी तेज़ का दर्द उठा की उसकी आह्ह निकल गयी । जैसे तैसे सुरेश गरिमा को उठा के बोला कुछ दिन दर्द होगा जान उसके बाद सिर्फ मज़ा आएगा कल में तुमको दवाई दे दूंगा बोल के अपने कमरे में चला जाता हैं इधर गरिमा भी आह्ह करते हुए सो जाती हैं । सुरेश को अपने बिस्तर पे ना पाकर बरखा उठ के बैठी थी तभी सुरेश कमरे में जाता हैं तो बरखा को देख के चौंक जाता हैं अंदर ही अंदर उसकी गांड फट गयी थी ।तभी बरखा बोली कहा गये थे ।सुरेश कुछ नही बरखा पेशाब करने गया था । बरखा हम्म..चलो सो जाओ सुबह दुकान जाना हैं ।
सुबह की पहली किरण और चिड़िया की चू चू की आवाज़ से आयशा की आँख खुलती हैं ।जो उठकर अंगड़ाई लेती हैं और काम करने लगती हैं धीरे धीरे सूरज देवता का प्रकाश पूरे गाँव में फ़ैल जाता हैं तभी रोहन उठता हैं और सीधा उसकी नज़र आयशा की चूची पे जाती हैं जो सामने झुक के झाड़ू लगा रही थी चोली में कैद उसके उभार रोहन
को मस्त कर गये उसने भगवान को धन्यवाद किया और उठकर फ्रेश होने चला गया ।रोहन भी अब अपने खेत में काम करने लगा था तो वो नास्ता करके खेत में चला जाता हैं ।इधर राहुल ,निशा ,निधि और आरोही भी उठ कर सफर का मज़ा ले रहे थे की आरोही बोली भैया गोवा कब आएगा ।अभी तो बहुत दूर हैं आरोही आज का पुरा दिन और रात उसके अगली सुबह हम लोग गोवा में होंगे समझी ।क्या इतना समय क्या करेंगे भैया और उदास हो जाती हैं ।निधि क्या करेंगे क्या सफर का मज़ा लेते हैं और क्या ।तभी निशा बोली हाँ राहुल तो कल रात सफर का अच्छा मज़ा ले रहा था और मुस्कुरा देती हैं जिसे सुन राहुल की सीटी पीटी गुम हो जाती हैं ।आरोही अच्छा क्या मज़ा लिया भैया बताओ ना ।निशा हाँ राहुल बता दो ना क्या मज़ा लिया और मुस्कुरा देती हैं ।अब बेचारा राहुल क्या बोलता वो उठकर बोलता हैं अभी आता हूँ ।और बाथरूम की तरफ निकल जाता हैं ।इधर निशा मुस्कुरा के मन में बोलती हैं अच्छा जी कब तक बचोगे में भी देखती हूँ ।निधि क्या मज़ा किया भैया ने तुम ही बता दो तो निशा बोली कुछ नही यार बस ऐसे ही बोली में तो बस तुम सोते हुए अपने कबूतर ढक कर सोया करो और मुस्कुरा देती हैं ।आरोही समझ नही पाता पर निधि ये सुन शर्मा जाती हैं ।आरोही कबूतर कैसे कबूतर निशा ,निशा अरे बुद्दू और अपने उभार की तरफ इशारा करते हुए बोली ये और क्या ।आरोही भी शर्म से लाल हो जाती हैं इधर निधि के मन में क्या भैया रात को मेरी चूची देख रहे थे ओह गॉड और शर्म से कुछ बोल नही पाती हैं । बरखा और सुरेश नाश्ता कर चुके थे पर गरिमा अभी तक निचे नही आयी थी तभी बरखा उसको बुलाने गयी गरिमा उठ बेटा सुबह कब की हो गयी हैं आज ऑफिस नही जाएगी क्या? मम्मी सोने दो ना आज जाने का मन नही हैं ।तो निचे चलकर दरवाजा तो बंद कर ले दुकान पे जाने का समय हो गया हैं ।गारिम ठीक हैं मम्मी और वो उठकर जैसे ही बिस्तर से उठने को होती हैं उसकी आह्ह्ह निकल जाती हैं ।क्या हुआ गरिमा
कुछ नही मम्मी बस ऐसे ही वो जैसे तैसे दर्द सह के उठती है और निचे जाती हैं ।बरखा बेटा खाना बना दिया हैं खा लेना बोल के बरखा और सुरेश निकल जाते हैं वो दरवाजा बंद करके सोफे पे बैठ कर आहे भरते हुए उफ्फ्फ..बेटीचोद ने गांड फाड़ दी कितना दर्द हो रहा हैं ।पर दूसरे हर पल उसको गांड चुदाई की मस्ती याद आ जाती हैं और वो मुस्कुरा के बोलती हैं मज़ा तो आया बहुत पर दर्द भी बहुत हुआ ।वो सोफे पे ही सो जाती हैं
इधर राहुल थोड़ी देर बाद आता हैं और बोलता हैं भैया यहाँ भी चार चाय दे दो और बैठ के पकोड़े के साथ बातें करते हुए सफर का मज़ा लेते हैं ।
दोपहर हो चली थी रोहन खेत से नही आया तो आयशा ही उसको बुलाने को गयी ।रोहन खेत जोत रहा था। तभी आयशा को देख के ट्रैक्टर रोक के उतरता हैं उसके पास आकर बोलता हैं तुम यहाँ क्या कर रही हो।भैया दोपहर हो चुकी हैं खाना नही खाना क्या ।मैं घर ही आने वाला था आयशा ,कोई ज़रुरत नही हैं मैं खाना लेकर ही आयी हूँ ।
रोहन ये सुन मुस्कुरा देता हैं और बोलता हैं आज तो तुम बिल्कुल पत्नी वाला काम कर दी ।ये सुन के आयशा शर्मा जाती हैं और बोलती हैं भैया ये कुछ ज़्यादा ही हो गया ।
दोनो पेड़ की छाँव में बैठकर खाना खाते हैं । थोड़ी ही देर में खाना ख़त्म करके हाथ मुँह धो कर रोहन उठता हैं की आयशा थोड़ा झुक के बर्तन उठा रही थी तभी उसकी नज़र उसके चोली में गयी जहा चूचियाँ पसीने से भीगी हुई दुखाई दे रही थी ।ये सब देख रोहन का लंड सर उठाने लगा और तभी आयशा की नज़र रोहन पे गयी जो उसकी चूची को ही देखे जा रहा था आयशा ये सब देख के मुस्कुरा देती हैं और बोलती हैं भैया देख लिया तो मै जाऊं ना ये सुनते ही रोहन शर्मा गया। आयशा उठते हुए बोली अभी देख लो बस इतना बोल के वो मुस्कुरा देती हैं तभी रोहन बोलता हैं कभी चोली उतर के भी दिखा दे तो कुछ बात बने । ये सुन आयशा बोली ठीक है भैया मुझे नदी किराने ले चलो तब चोली खोल के क्या घाँघरा उतर के टाँगें फैला दूंगी और हँसते हुए भाग जाती हैं ।ये सुन के रोहन चिल्ला के बोलता क्या सच में नदी पे वो इतना ही बोल पाता हैं की आयशा बहुत दूर निकल जाती हैं ।
जैसे तैसे दिन बीत जाता हैं और राहुल ,निधि ,निशा और आरोही खाना खा के बर्थ पे लेट जाते हैं। इधर रोहन को आयशा से बात करने का समय ही नही मिल पा रहा था जब भी रोहन बात करना चाहता आयशा कभी मम्मी से चिपक जाती तो कभी अपने पापा से बात करने लगती देखते ही देखते समय गुज़ार गया और वो लोग खाना खा के सोने चले गये । रात का एक पहर बीत गया पर रोहन के आँखों में तो नींद ही नही थी वो जैसे तैसे उठकर आयशा के पास जाता हैं जो आज आंगन में ही चटाई पे सो रही थी । रोहन चुपके से आयशा के करीब जाता हैं उसका दिल जोरो से धड़क रहा था थोड़ी हिम्मत करके वो उसके साथ ही लेट जाता हैं उसके बदन की गर्मी रोहन को महसूस होने लगती हैं ।पाता नही कैसे पर रोहन आयशा से चिपक जाता और उफ्फ्फ..पहली बार आयशा के बदन की छुवान ने रोहन को अंदर तक झंझौर दिया उसके धड़कने तेज़ हो गयी।हाथ कांपने लगे ।उसने कांपते हुए हाथों को धीरे धीरे आगे बढ़ाया और ले जाकर आयशा के चुचो पे रख दिया ।इस एहसास से रोहन का लंड खड़ा होने लगा उसने थोड़ी और हिम्मत की और चूची को धीरे से दबा देता हैं आह्ह्ह .. ये एहसास उसको मदहोश कर गया और उसके मुँह से अपने आप ही निकल गया आह्ह्ह .. क्या चूची हैं तेरी आयशा और इस मस्ती को पाने के लिए वो फिर से आयशा की चूची के दबाने लगता हैं आह्ह .. आयशा वो धीरे धीरे से कब जोर जोर से मसलने लगा उसको खुद भी पता नही चला।उसका लंड आयशा की गांड पे रगड़ खाने लगा ।वो मस्ती में खो गया था । आयशा अपने जिस्म पे किसी का हाथ पाकर उठ गयी और जोर से चिल्लायी चोर चोर ये सुनते ही रोहन की गांड फट गयी और उसने जल्दी से आयशा का मुँह अपने हाथ से बंद करके बोला आयशा मैं हूँ रोहन ,ये सुन आयशा चुप हो गयी और बोली भैया तुम ये सब क्या कर रहे हो ।तभी उनकी मम्मी उठ गयी और बोली कहा हैं चोर ? ये आवाज़ से रोहन जल्दी से अलग हुआ और बोला हाँ आयशा चोर कहा हैं ,तब तक उनकी मम्मी आ गयी तो आयशा ने बात को संभालते हुए बोली की मम्मी मैंने सपना देखा था की चोर हमारा सब कुछ चुरा कर ले गया । इसपे उसकी मम्मी हँसते हुए बोली तु भी ना और एक प्यार से चपात मरते हुए बोली ।फिर
वो चली गयी और आयशा ,रोहन को बोली भैया आपको शर्म नही हैं। आपको तो कल बताती हूँ बोल के सो गयी इधर रोहन को अपनी गलती पे पछतावा हो रहा था की वो हवस में क्या कर गया कही आयशा पापा को ना बोल दे ये सब सोच के ही उसकी गांड फट रही थी ऐसे ही वो भी सो गया ।
इधर गरिमा पापा आज के बाद गांड नही दूंगी कितना दर्द हो रहा हैं और चिल भी गया हैं आप बहुत गंदे हो ।
सुरेश - गरिमा मुझे माफ़ कर देना हवस ने मुझे पागल कर दिया था । और ये दवाई ले इसको खा लियों और इसको लगा लियो ठीक हैं ।
वो दवाई लेकर वोली ठीक हैं तभी सुरेश बोला जो मज़ा आया गरिमा उसका क्या इस बात को सुन गरिमा मुस्कुरा गयी पर कुछ बोली नही ।सुरेश सोने चला जाता हैं । गरिमा दवाई खाकर और दवाई लगाकर सो जाती हैं ।
इधर सुरेश बरखा की बुर में लंड पेलते हुए बोल रहा था आह्ह्ह .. साली रंडी क्या बुर हैं तेरी उफ्फ्फ.. बरखा रानी
बरखा भी मस्ती में आह्ह्ह राजा चोदो और जोर से चोदो मुझे उफ्फ्फ .. और कुछ ही देर में झाड़ के सो जाते हैं ।
दूसरी तरफ विक्की और अजय दारु पीते हुए
विक्की - साली निधि नही आयी ।
अजय - लगता हैं भाई रंडी डर गयी हैं । बहन की लोड़ी इसीलिये नही आयी ।
विक्की - कोई नही कब तक बचेगी रंडी कल ही उसकी चूत में लंड देता हूँ और दोनो हँसने लगते हैं ।
तिवारी - बेटा सो जा कितना पियेगा ।
विक्की - पापा मुझे पीने का शौंक नही , पीता हूँ गम भुलाने को ,
तिवारी - अच्छा क्या गम हैं तुझे
विक्की - पापा मुझे उस राहुल मादरचोद से बदला लेना हैं और निधि और आरोही को चोदना हैं इतना बोल के वो अपने पापा से लिपट जाता हैं ।
तिवारी - हाँ बेटा कुछ दिन रुक जा , वो रंडियों बहुत जल्द ही तेरे बिस्तर पे टाँगें खोल के पड़ी होंगी।
आयशा की नज़र रोहन पे गयी जो उसकी चूची को ही देखे जा रहा था आयशा ये सब देख के मुस्कुरा देती हैं और बोलती हैं भैया देख लिया तो मै जाऊं ना ये सुनते ही रोहन शर्मा गया। आयशा उठते हुए बोली अभी देख लो बस इतना बोल के वो मुस्कुरा देती हैं तभी रोहन बोलता हैं कभी चोली उतर के भी दिखा दे तो कुछ बात बने । ये सुन आयशा बोली ठीक है भैया मुझे नदी किराने ले चलो तब चोली खोल के क्या घाँघरा उतर के टाँगें फैला दूंगी

Bahut kamuk
 
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