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Romance मै सिर्फ तुम्हारा हूँ

DREAMBOY40

सपनो का सौदागर
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परम पिता परमेश्वर
की
असीम अनुकम्पा
और
मात पिता गुरूजनो के आशीर्वाद से
आज इस कहानी पर पहले 10000 व्यूज मिले है ।
:D :D :D :D

मेरे सभी अतरंंगि , रोस्टबाज , गुदगुदीदार और गुप्त पाठक का बारम्बार अभिवादन



🙏
आपका अपना
दीन दयाल दुबे उर्फ़ 3D बाबू
समाधान पार्टी के महामंत्री ,अलबेला ड्रामा कम्पनी के प्रोडुसर​
 
Last edited:

DREAMBOY40

सपनो का सौदागर
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Superbb Update

Lallo Devi ke aate hi har jagah ek alag hi mahaul ban gaya hai.

Par yaha yeh chiz dekh kar achha laga ke yaha pe ladke aur ladki ko samaan darza diya gaya hai. Warna bahot si jagah pe toh ladki ko hi baanj boldiya jaata hai agar bachha naa ho toh.

Par yaha pe yeh chiz alag dikhaa. Jo sabse achha laga mujhee.

Ab dekhte hai Lallo Devi kyaa karti humare 3D babu ke liyee

Awsome Introduction of the family members. Dadi ji has come, it seems that the fun of the story will be doubled, now let's see what rucks happens this time. Well Bhabhi's sad face makes my heart sad. :verysad:
Story updates are being posted more slowly, you should keep that in mind. As always the update was great, You are writing very well, Now let's see what happens next, Till then waiting for the next part of the story.

Thank You...

लगता अब लल्लो देवी 3D बाबू की नैय्या पार लगा कर ही मानेगी। मस्त अपडेट ।

To lalli Devi na aake to utpaat macha diya... Aur chalti bhi khoob hai unki bas ye dekhna hai ki jo akhiri mein tilmilate huye gayi hain to kahan aur kiske upar bijli girne wali hai.. aur us bijli se 3d bhaiya ka ghar roshan hoga ya.. fuse hi ud jayega.
Meera bhabhi bechari bina santan pareshan hain. Kisi or type ki story hoti to bahut se samadhan the par isme to kuch alag hi dhoondhna hoga

Bahut hi shandar update bhai.. agali update ka besabri se intezar hai.

Bahot behtareen
Shaandaar update bhai
Dadi ji tow badi mazedaar character lag rahi h
Dekhte h kiski khatia khadi kerti h ab
Lajawab behad shaandaar

aaba taani...

दादी अम्मा दादी को ऐसे ही नहीं कहते पोते को बिगाड़ने में जीतना हाथ दादी का होता हैं उतना ही हाथ सुधरने में भी होता हैं। 3D बाबू के दादी तो महा दादी हैं साथ ही माहिर खोज कर्ता आईबी के छूटे गिलास में देख पल भार में जान गई कुछ तो कारण रहा होगा जो दादी के एक पोते दीन दयाल दुबे आईबी के गिलास पी पी कर कलेजा जलाया हैं। खोज खबर से जाना 3D बाबू के आंरकली ने 15 दिन का अल्टीमेटम दिया हैं।

इसी खोज खबर में जानें हैं मीरा भाभी बहुत परेशान हैं क्योंकि वो मां नहीं बन पा रही हैं। जिस कारण शांति जी भी बहु से कुछ खिसियाए से रहते है। मां न बन पाने की ये पीढ़ा बहुत दुख दाई होता हैं न जानें कितना कुछ सहना पड़ता हैं इस पर मैने एक चोटी कहानी लिखा था बेटी- माँ मुझे कोख में ही मार दे! इच्छा हों तो इस कहानी को पढ़ कर देख सकते हैं। बरहाल मीरा ने एक बोल्ड स्टेप लिया खुद के साथ आशीष बाबू का भी टेस्ट करवा लिया।

अदभुत अतुलनीय लेखन कौशल

ka kahat ho be shure kare revo...to launde 3d ke ghar ka introduction diya..ghar ma hai 4 sadasys..pinku ji dadi aur 3d aur chautha hai tuffy matlab ki lallo. to buddhan ghar me ghuste sath hi khojbeen karne lagi ki unke peeth peech dube sadan me ka ka kand bhava. aur chat par dekhi gilas aur ib ki botal..aur buddhan ne chillane ki jagah pucha ki brand kaun sa raha..ye andaj accha laga..ki 3d kahi tharra to nhi tika rahe. fir shukla bhavan me dono sass bahu ne ashirvad bhi liya wo bhi accha laga dukariya gyan bhi pel gayi prasad ke sath bangali baba ka. Matlab ashish babu me defect hai..ek bast samajh me nahi aayi ki inki hai mithai ki dukan kahe khoya aur rabdi nahi pel rahe..agar dhar bechne ke sath khud bhi thoda pele hote to eii naubat na aati dekhte hai bangai kaun sa tantra karta hai.. udhar pco se ayush ke sara hasl janne ke baad buddhan daudi ghar ki taraf..ab pinku ke pinki banne ka time. dekhte hai ka hota hai aage...

(मेरे प्रिय लेखक मित्र तुम्हारे लिखने का जो ढंग है। वो बहुत बढ़िया है। जिस प्रकार से तुम कहानी में शब्दों को और किरदार को गढ़ते हो वो प्रशंसनीय है। और मैं विश्वास से कह सकता हूँ कि यह कहानी इस फाॅरम की उत्कृष्ट कहानियों में से एक होगी। इस बात में तनिक भी संदेह नहीं है कि तुम इसे पूरा नहीं करोगे। सबसे बड़ी बात है वास्तविकता जो तुमने दिखाई है। किरदारों को लेकर चाहे कहानी को लेकर। पर बताते हुए दुख हो रहा है कि साथ यहीं तक था। एक युद्ध चल रहा है अंतर्मन में जिसका निराकरण करना अब अत्यावश्यक या कहें कि अनिवार्य है। अभी समय है समाधान का इससे पहले समय निकले और हम हंसी का पात्र बन जायें। करना तो एक वर्ष पूर्व ही था। पर कुछ न कुछ अवरोध आते गये और विलम्ब होता गया। पर अब समय है इष्ट के सानिध्य में खुद के अवलोकन का। जब वापस आयेंगे तब तक हो सकता है कि कहानी पूर्ण हो जाये। पर जब भी आयेंगे सबसे पहले आपसे सम्पर्क करेंगे मिलते हैं अन्तराल के बाद। प्रणाम। अब विराम लेते हैं।

धन्यवाद

आभार
आपका मित्र

Bilkul sahi pakade ho ip ke bhaiya

कोई नोटिफिकेशन ही नहीं आया । पता नहीं कभी कभी एक्स फोरम को क्या हो जाता है !

वैसे हमारे यहां बुजुर्गों की धाक कुछ ज्यादा ही होती है । चाहे दादाजी या दादीजी हों या घर के सबसे बड़े सदस्य । एक समय होता था जब इनके द्वारा लिया गया फैसला अंतिम फैसला होता था पुरे परिवार के लिए । किसी में हिम्मत नहीं होती थी जो इनके फैसलों पर कोई सवाल उठा दे ।
पर अब तो सभी लोग अपने मन के मालिक हैं और अपनी इच्छानुसार करना पसंद करते हैं ।

कहानी में भी एक बुजुर्ग महिला की एंट्री हुई । लल्लो देवी जी बिल्कुल पुराने जमाने की बुजुर्ग महिला की प्रतिनिधित्व करती दिख रही हैं । इनके व्यक्तित्व से ही लग रहा है कि परिवार पर इनका अच्छा खासा दबदबा होगा ।
दादा और दादी के लिए उनका पोता अपने संतान से भी ज्यादा प्रिय होता है । और ऐसा ही लल्लो देवी के साथ भी है । वो भला कैसे अपने पोते को शराब में डूबे हुए देखना पसंद करती ! कारण पता चलते ही भागम दौड़ चालू कर दी ।
अब देखना है वह थ्री डी के लिए खुशियों की सौगात ले आ पाती है या नहीं !

इधर मीरा भाभी की दर्द भरी दास्तां भी हमें सुनने को मिला । शादी के इतने सालों बाद भी मातृत्व सुख से वंचित रही । यह समस्या सही में बड़ी ही विकट समस्या है । दवा दारू के बाद पीर पैगम्बर के दरवाजे पर जाने का भी प्रोग्राम बन रहा है । देखते हैं बंगाली बाबा क्या चमत्कार करते हैं !
लेकिन मेरे ख्याल से यह सब ढकोसला ही है । मेडिकल ट्रिटमेंट से बेहतर कोई इलाज नहीं है ।

हमेशा की तरह आउटस्टैंडिंग एंड अमेजिंग अपडेट ड्रीम ब्वाय भाई । बहुत ही खूबसूरत अपडेट था यह ।
आप सभी की प्रतिक्रिया और लम्बे समय तक इन्तजार के लिए धन्यवाद
अपडेट 12 पोस्ट कर दिया है ।
पध कर अपना बहुमूल्य योगदान स्वरुप प्रतिक्रया जरुर दे
 

Lib am

Well-Known Member
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UPDATE 012

पिछ्ले कड़ी मे आपने पढा कि कैसे लल्लो देवी अपने नाती के साथ हुए अन्याय देखते हुए कल रात हुए वारदात को स्वतः संज्ञान मे लेकर मामले की तफतिश शुरु कर दी और जब आयुष की गवाही सामने आई तो सारा मामला लल्लो को समझ आ गया और मुख्य अपराधी पर खासा नाराजगी व्यक्त करते हुए अपने आवास की ओर निकल गयी ।

अब आगे


ऑर्डर टू इन्भेस्टीगेट

लल्लो देवी तनमनाते हुए अपने आवास पर गयी और सीधा हाल मे लगे सोफे पर बैठ गयी । काफी भागा दौडी मे थक गयी थी तो प्यास मह्सूस हुई ,,मगर सामने टेबल पर रखा पानी जग खाली मिला ।

लल्लो गुस्से से लल्ल्न को आवाज दी - ये कहा मर गए हो लल्ल्न ,,पानी लाओ हमाये लिये

लल्लो की तेज आवाज सुन कर हमारे पूर्व चेयरमैन साहब पिंकू जी किचन से एक चेकदार अप्रोन लपेटे बाहर निकले साथ ही एक हाथ मे नास्ते मे प्याज़ के पकोड़े और चाय की ट्रे वही दुसरे ग्लास मे पानी वाला जग लेके हाल मे पहुचे ।

लल्लो देवी ने अपने सुपुत्र को देखते ही मुह फेर ली ।
चेयरमैन साहब थोडा हसे और सारा सामान सामने टेबल पर रख कर एक ग्लास पानी अपनी माता श्री को देते हुए उनके पाव छुए ।

पिंकू - मम्मी प्रणाम ।

लल्लो गुस्सा कर - का मम्मी मम्मी लगाये रहत हो ,,उम्र हो गयी ढंग से अम्मा नही कह सकते , मम्मीईई

चैयरमैन साहब भी तुनक कर - तो आप भी हमको पिंकू बुलाती है

लल्लो अपने सुपुत्र से हाजिर जवाबी पाकर थोडा रुकी और फिर बोली - हा तो का हुआ ,, ऊ बैजनाथ भी अपना लईका का नाम डूग्गू रखे है ।

पिंकू - मम्मी यार मजाक ना करो ,, बैजनाथ का लड़िका दुसरी मे पढिता है ।

लल्लो प्याज के गरम पकौड़े को अपने दातो से नोचते हुए - अच्छा शांत रहो ,,हमको तुमसे कुछ और बात करना है

पिंकू उखड़ कर - मम्मी यार अब संडे के दिन कही जाये के मत कही देना ,,, ऊ नया वाला डिस्को लगवाये आपके कमरे मा , आननद लेओ

लल्लो - डिस्को नाही बुफर कहते है उका , और जे हमायी बात ना घुमाओ नाही तो धयि देंगे कनपटीये पे

चेयरमैन चुप हो गये ।

लल्लो - हमको 3D को लेके बात करनी है ,,, ऊ शुक्ला के लौंडे से बात भई रही सुबह ,, आज के आज जाकर तुम ऊ वर्मा के यहा 3D के रिश्ते खातिर बात करने जाओ

चेयरमैन साहब की भौहे चौड़हिया गयी कि उनकी माता ने ये क्या आदेश जारी कर दिया ,, ना मुकदमे पर कोई बहस , ना कोई उनकी दलिल सुनी गयी ,,सीधा जजमेट पास कर दिया गया कि जाओ इन्भेस्टीगेशन करके लाओ ।

चेयरमैन साहब थोडा उखड़े मन से अपनी प्रतिक्रिया दी - का यार मम्मी , सुबह सुबह गोला खा ली है का

लेकिन जब उन्होने देखा कि उनकी माता जी आंखे गुस्से से लाल हो रही है तो वो नजरे चराते हुए लडखडाती हुई जुबान मे - ऊ वर्मा एक नम्बर चुतिया आदमी है ,,,पि पि पिछला इलेक्शन मे उसके परिवार से एक एक एक भी वोट नही मिला हमको , चुनाव हार गये हम

लल्लो रौब दिखाते हुए - ज्यादा बहाने बाजी ना बतीयाओ हमसे पिंकू , जे हमने कही दई तो कही दई

पिंकू - मतलब फाइनल है , डन एकदम

लल्लो चिल्ला कर - अब का पार्टी कार्यालय से लेटर लिख कर दे तुमको कि सेवा मे श्रीमान पूर्व चेयरमैन साहब आपसे अनुरोध है कि आप अपने ही सुपुत्र के उज्जवल भविष्य के लिए ....

चेयरमैन साहब अपनी माता जी रोकते हुए - ठीक है ठीक है , जाते हैं अभी दोपहर तक


शक का दायरा

लोकेशन : ग्रीनपार्क ब्लॉक-वी , ग्रीन पार्क हाऊसिंग सोसाइटी , रूम नंबर 083
आयुष बाबू लल्लो दादी की लताड़ और बड़बड सुनने के बाद उठे और अपने शोट्स मे पीछे की तरफ हाथ डाल कर पिछवाडा खुजाते हुए बाथरूम मे घुस गये ।

इधर नवाबगंज मे आयुष के भाईसाहब आशिष शुक्ला तकरीबन 4 बार आयुष के मोबाईल की घंटी बजा चुके थे । आशिष जी एक अनजाने डर से घिरे जा रहे थे । काफी उटपटांग ख्याल और शक का दायरा उन्के छोटे से दिमाग मे फैला ही जा रहा था ।

इधर मोबाईल की लागातार रिंग की आवाज सुनकर आयुष बाथरूम से बाहर आता है और भैया का फोन आता देख लपक कर कॉल रिसीव करता है ।

आयुष - हैलो , हा प्रणाम भैया
आशिष - हा खुश रहो बबुवा , और कईसे हो
आयुष - हम ठीक है भईया ,,आप बताओ
आशिष - हम भी ठीक है बबुवा ,,ब्बुवा तुमसे एक बात पुछनी थी ।
आयुष - हा भईया कहिये
आशिष - इ 3D की दादी आई रही और तुम्हाओ नम्बर ले गयी है , बोल रही थी कि चेयरमैन साहब बात करिही ,,,कौनो बात है का बबुवा

आयुष समझ गया तो मुस्कुरा कर - अरे नही भैया ,,,कोई चिन्ता की बात नही है । दरअसल हुआ यू था कि

फिर आयुष कल और आज की सारी बाते अपने भैया को बताता है ।

आशीष को अब थोडा तसल्ली होती है ।
आशिष हस कर - अच्छा अच्छा ,,,हाहहहा इ 3D भी पगलैट है पुरा ,,, अच्छा चलो तुम आपन ख्याल रखिहो ,,ठिक है
आयुष - जी भईया प्रणाम
आशिष - हा खुश रहो ।

इधर आशिष का फोन कटता है और वो नहाने के लिए वापस बाथरूम मे चला जाता है ।


बिरजू हेयर ड्रेसर

नवाबगंज मे शिवपूरी कालोनी के मुख्य सड़क पर ये नाऊ की दुकान है जहा हमारे पूर्व चेयरमैन साहब लगभग हर रविवार को जाते है टिपटॉप होने । मगर आज दो हफते का समय बीत चुका था ।

चेयरमैन साहब अपनी ग्रैवीटी को रेस्पोंड करती पैंट को खिचकर कूल्हो पर चढाते हुए सोफे से उठकर बाहर निकल रहे होते है कि लल्लो देवी टोकती है ।

लल्लो - पैंट सरक के जांघो मे जा रहा है ये नही कि बेल्ट लगा ले ,,,

पिंकू - मम्मी यार फैशन है ये ,,,आज के समय मे बेल्ट कौन पहनता है ।

लल्लो - अरे तो चुतड खोल के घूम लो फैशन है तो ,,, और कहा जाई रहे हो नहाना नाही है का

पिंकू उखड़ते हुए - मम्मी याररर संडे है , बिरजू के यहा जा रहे

लल्लो देवी चुप हो जाती है
चैयरमैन साहब दुबे आवास से निकल कर मेन रोड पर आते हैं और थोडा आगे चलकर बिरजू हैयर ड्रेसर की दुकान पर ताला लगा देखते हैं तो मन बहुत उदास हो जाता है ।

तभी उनकी नजर बंद शटर पर लटके एक तखती पर जाती है जिस्पे कुछ लिखा था ।

चैयरमैन साहब पास जाकर आंखो को महीन करते हुए पढ्ना शुरु करते है - निचे का बाल उपर बनता है .... बिरजूनाथ शर्मा

वो लाईन पढने के बाद वो एल नजर उपर के मंजिल पर देखते है जहा बिरजू हेयर ड्रेसर का नया बैनर लगा हुआ था ।

चेयरमैन साहब- धत्त चुतिया है एक नम्बर का इ बिरजूवा भी ।

फिर चेयरमैन साहब बगल की सीढि पकड कर उपर के फ्लोर पर जाते है और पर्दा हटा कर दुकान मे घुसते है ।

दुकान मे घुसते ही सब कुछ चका चक था । ऐसा लग रहा था मानो बिरजू ने सब कुछ रेनोवेट करवाया हो ।

चैयरमैन को साहब को अन्दर आते देख
बिरजू - अरे चेयरमैन साहब ,,, आओ बैइठो
चैयरमैन - हा ऊ सब तो ठीक है लेकिन ये निचे का अश्लीलता फैला रहे हो बे ,,,निचे का बाल उपर बनता है ,, साले झाट बनाओगे इहा का

बिरजू हस्ता हुआ - हिहिहिही अरे नाही साहब ऊ हमार लड़िका लिख के टांग दिया है परसो

चैयरमैन खीझकर- तो हटवाओ उसको और ई बताओ कितना नम्बर हय अभी

बिरजू - अरे आप बैठो साहेब बना रहे , इ लल्ल्न भईया का हो जाये बस

चैयरमैन साहब चौके - लल्ल्न !!!! अबे साले तुम इहा मसाज ले रहे हो उहा अम्मा आ गई हमको बताये नही

लल्ल्न - भईया ऊ अम्मा भोर मे ही आ गयी रही और आप सो रहे थे ।

चैयरमैन - अच्छा ठीक है यहा निकल कर, गाड़ी तैयार करो अभी निकलना है हमको कही

लल्ल्न - जी भईया
चैयरमैन - अच्छा बिरजू सुनो हम अन्दर बैठते है नम्बर आयेगा तो बुला लेना ,,,साप्ताहिक अखबार है ना उहा

चैयरमेन साहब आंखे नचा कर बिरजू से पुछते है
बिरजू एक नजर लल्लन की बंद आंखो पर देखता है और बोलता है - ह ह हा साहेब है रखा है ऊहा

चेयरमैन साहब उठकर वापस से अपनी सरकती पैंट को कमर तक खिच कर अन्दर एक कमरे मे चले जाते हैं और सरस सलिल की मैगजीन खोलकर कुछ ट्रेंडिंग मुद्दो पर छ्पे आर्टिकल पढने शुरु कर देते है।


जारी रहेगी
एक दम कंटाप अपडेट लिख दिए हो DREAMBOY40 . आयुष का पिछवाड़ा खुजाना, चेयरमैन साहब का पैंट अपर चढ़ान, दादी का पिंकू को गलियाना मजा आ गया। अपडेट देर से आया तो थोड़ा बड़ा होना चाहिए था।
 

DREAMBOY40

सपनो का सौदागर
6,307
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एक दम कंटाप अपडेट लिख दिए हो DREAMBOY40 . आयुष का पिछवाड़ा खुजाना, चेयरमैन साहब का पैंट अपर चढ़ान, दादी का पिंकू को गलियाना मजा आ गया। अपडेट देर से आया तो थोड़ा बड़ा होना चाहिए था।
कसर रह गई है तो अगले अपडेट मे खिच देंगे
आपकी प्रतिक्रिया के लिए धन्यवाद भाई
 

Jaguaar

Prime
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UPDATE 012

पिछ्ले कड़ी मे आपने पढा कि कैसे लल्लो देवी अपने नाती के साथ हुए अन्याय देखते हुए कल रात हुए वारदात को स्वतः संज्ञान मे लेकर मामले की तफतिश शुरु कर दी और जब आयुष की गवाही सामने आई तो सारा मामला लल्लो को समझ आ गया और मुख्य अपराधी पर खासा नाराजगी व्यक्त करते हुए अपने आवास की ओर निकल गयी ।

अब आगे


ऑर्डर टू इन्भेस्टीगेट

लल्लो देवी तनमनाते हुए अपने आवास पर गयी और सीधा हाल मे लगे सोफे पर बैठ गयी । काफी भागा दौडी मे थक गयी थी तो प्यास मह्सूस हुई ,,मगर सामने टेबल पर रखा पानी जग खाली मिला ।

लल्लो गुस्से से लल्ल्न को आवाज दी - ये कहा मर गए हो लल्ल्न ,,पानी लाओ हमाये लिये

लल्लो की तेज आवाज सुन कर हमारे पूर्व चेयरमैन साहब पिंकू जी किचन से एक चेकदार अप्रोन लपेटे बाहर निकले साथ ही एक हाथ मे नास्ते मे प्याज़ के पकोड़े और चाय की ट्रे वही दुसरे ग्लास मे पानी वाला जग लेके हाल मे पहुचे ।

लल्लो देवी ने अपने सुपुत्र को देखते ही मुह फेर ली ।
चेयरमैन साहब थोडा हसे और सारा सामान सामने टेबल पर रख कर एक ग्लास पानी अपनी माता श्री को देते हुए उनके पाव छुए ।

पिंकू - मम्मी प्रणाम ।

लल्लो गुस्सा कर - का मम्मी मम्मी लगाये रहत हो ,,उम्र हो गयी ढंग से अम्मा नही कह सकते , मम्मीईई

चैयरमैन साहब भी तुनक कर - तो आप भी हमको पिंकू बुलाती है

लल्लो अपने सुपुत्र से हाजिर जवाबी पाकर थोडा रुकी और फिर बोली - हा तो का हुआ ,, ऊ बैजनाथ भी अपना लईका का नाम डूग्गू रखे है ।

पिंकू - मम्मी यार मजाक ना करो ,, बैजनाथ का लड़िका दुसरी मे पढिता है ।

लल्लो प्याज के गरम पकौड़े को अपने दातो से नोचते हुए - अच्छा शांत रहो ,,हमको तुमसे कुछ और बात करना है

पिंकू उखड़ कर - मम्मी यार अब संडे के दिन कही जाये के मत कही देना ,,, ऊ नया वाला डिस्को लगवाये आपके कमरे मा , आननद लेओ

लल्लो - डिस्को नाही बुफर कहते है उका , और जे हमायी बात ना घुमाओ नाही तो धयि देंगे कनपटीये पे

चेयरमैन चुप हो गये ।

लल्लो - हमको 3D को लेके बात करनी है ,,, ऊ शुक्ला के लौंडे से बात भई रही सुबह ,, आज के आज जाकर तुम ऊ वर्मा के यहा 3D के रिश्ते खातिर बात करने जाओ

चेयरमैन साहब की भौहे चौड़हिया गयी कि उनकी माता ने ये क्या आदेश जारी कर दिया ,, ना मुकदमे पर कोई बहस , ना कोई उनकी दलिल सुनी गयी ,,सीधा जजमेट पास कर दिया गया कि जाओ इन्भेस्टीगेशन करके लाओ ।

चेयरमैन साहब थोडा उखड़े मन से अपनी प्रतिक्रिया दी - का यार मम्मी , सुबह सुबह गोला खा ली है का

लेकिन जब उन्होने देखा कि उनकी माता जी आंखे गुस्से से लाल हो रही है तो वो नजरे चराते हुए लडखडाती हुई जुबान मे - ऊ वर्मा एक नम्बर चुतिया आदमी है ,,,पि पि पिछला इलेक्शन मे उसके परिवार से एक एक एक भी वोट नही मिला हमको , चुनाव हार गये हम

लल्लो रौब दिखाते हुए - ज्यादा बहाने बाजी ना बतीयाओ हमसे पिंकू , जे हमने कही दई तो कही दई

पिंकू - मतलब फाइनल है , डन एकदम

लल्लो चिल्ला कर - अब का पार्टी कार्यालय से लेटर लिख कर दे तुमको कि सेवा मे श्रीमान पूर्व चेयरमैन साहब आपसे अनुरोध है कि आप अपने ही सुपुत्र के उज्जवल भविष्य के लिए ....

चेयरमैन साहब अपनी माता जी रोकते हुए - ठीक है ठीक है , जाते हैं अभी दोपहर तक


शक का दायरा

लोकेशन : ग्रीनपार्क ब्लॉक-वी , ग्रीन पार्क हाऊसिंग सोसाइटी , रूम नंबर 083
आयुष बाबू लल्लो दादी की लताड़ और बड़बड सुनने के बाद उठे और अपने शोट्स मे पीछे की तरफ हाथ डाल कर पिछवाडा खुजाते हुए बाथरूम मे घुस गये ।

इधर नवाबगंज मे आयुष के भाईसाहब आशिष शुक्ला तकरीबन 4 बार आयुष के मोबाईल की घंटी बजा चुके थे । आशिष जी एक अनजाने डर से घिरे जा रहे थे । काफी उटपटांग ख्याल और शक का दायरा उन्के छोटे से दिमाग मे फैला ही जा रहा था ।

इधर मोबाईल की लागातार रिंग की आवाज सुनकर आयुष बाथरूम से बाहर आता है और भैया का फोन आता देख लपक कर कॉल रिसीव करता है ।

आयुष - हैलो , हा प्रणाम भैया
आशिष - हा खुश रहो बबुवा , और कईसे हो
आयुष - हम ठीक है भईया ,,आप बताओ
आशिष - हम भी ठीक है बबुवा ,,ब्बुवा तुमसे एक बात पुछनी थी ।
आयुष - हा भईया कहिये
आशिष - इ 3D की दादी आई रही और तुम्हाओ नम्बर ले गयी है , बोल रही थी कि चेयरमैन साहब बात करिही ,,,कौनो बात है का बबुवा

आयुष समझ गया तो मुस्कुरा कर - अरे नही भैया ,,,कोई चिन्ता की बात नही है । दरअसल हुआ यू था कि

फिर आयुष कल और आज की सारी बाते अपने भैया को बताता है ।

आशीष को अब थोडा तसल्ली होती है ।
आशिष हस कर - अच्छा अच्छा ,,,हाहहहा इ 3D भी पगलैट है पुरा ,,, अच्छा चलो तुम आपन ख्याल रखिहो ,,ठिक है
आयुष - जी भईया प्रणाम
आशिष - हा खुश रहो ।

इधर आशिष का फोन कटता है और वो नहाने के लिए वापस बाथरूम मे चला जाता है ।


बिरजू हेयर ड्रेसर

नवाबगंज मे शिवपूरी कालोनी के मुख्य सड़क पर ये नाऊ की दुकान है जहा हमारे पूर्व चेयरमैन साहब लगभग हर रविवार को जाते है टिपटॉप होने । मगर आज दो हफते का समय बीत चुका था ।

चेयरमैन साहब अपनी ग्रैवीटी को रेस्पोंड करती पैंट को खिचकर कूल्हो पर चढाते हुए सोफे से उठकर बाहर निकल रहे होते है कि लल्लो देवी टोकती है ।

लल्लो - पैंट सरक के जांघो मे जा रहा है ये नही कि बेल्ट लगा ले ,,,

पिंकू - मम्मी यार फैशन है ये ,,,आज के समय मे बेल्ट कौन पहनता है ।

लल्लो - अरे तो चुतड खोल के घूम लो फैशन है तो ,,, और कहा जाई रहे हो नहाना नाही है का

पिंकू उखड़ते हुए - मम्मी याररर संडे है , बिरजू के यहा जा रहे

लल्लो देवी चुप हो जाती है
चैयरमैन साहब दुबे आवास से निकल कर मेन रोड पर आते हैं और थोडा आगे चलकर बिरजू हैयर ड्रेसर की दुकान पर ताला लगा देखते हैं तो मन बहुत उदास हो जाता है ।

तभी उनकी नजर बंद शटर पर लटके एक तखती पर जाती है जिस्पे कुछ लिखा था ।

चैयरमैन साहब पास जाकर आंखो को महीन करते हुए पढ्ना शुरु करते है - निचे का बाल उपर बनता है .... बिरजूनाथ शर्मा

वो लाईन पढने के बाद वो एल नजर उपर के मंजिल पर देखते है जहा बिरजू हेयर ड्रेसर का नया बैनर लगा हुआ था ।

चेयरमैन साहब- धत्त चुतिया है एक नम्बर का इ बिरजूवा भी ।

फिर चेयरमैन साहब बगल की सीढि पकड कर उपर के फ्लोर पर जाते है और पर्दा हटा कर दुकान मे घुसते है ।

दुकान मे घुसते ही सब कुछ चका चक था । ऐसा लग रहा था मानो बिरजू ने सब कुछ रेनोवेट करवाया हो ।

चैयरमैन को साहब को अन्दर आते देख
बिरजू - अरे चेयरमैन साहब ,,, आओ बैइठो
चैयरमैन - हा ऊ सब तो ठीक है लेकिन ये निचे का अश्लीलता फैला रहे हो बे ,,,निचे का बाल उपर बनता है ,, साले झाट बनाओगे इहा का

बिरजू हस्ता हुआ - हिहिहिही अरे नाही साहब ऊ हमार लड़िका लिख के टांग दिया है परसो

चैयरमैन खीझकर- तो हटवाओ उसको और ई बताओ कितना नम्बर हय अभी

बिरजू - अरे आप बैठो साहेब बना रहे , इ लल्ल्न भईया का हो जाये बस

चैयरमैन साहब चौके - लल्ल्न !!!! अबे साले तुम इहा मसाज ले रहे हो उहा अम्मा आ गई हमको बताये नही

लल्ल्न - भईया ऊ अम्मा भोर मे ही आ गयी रही और आप सो रहे थे ।

चैयरमैन - अच्छा ठीक है यहा निकल कर, गाड़ी तैयार करो अभी निकलना है हमको कही

लल्ल्न - जी भईया
चैयरमैन - अच्छा बिरजू सुनो हम अन्दर बैठते है नम्बर आयेगा तो बुला लेना ,,,साप्ताहिक अखबार है ना उहा

चैयरमेन साहब आंखे नचा कर बिरजू से पुछते है
बिरजू एक नजर लल्लन की बंद आंखो पर देखता है और बोलता है - ह ह हा साहेब है रखा है ऊहा

चेयरमैन साहब उठकर वापस से अपनी सरकती पैंट को कमर तक खिच कर अन्दर एक कमरे मे चले जाते हैं और सरस सलिल की मैगजीन खोलकर कुछ ट्रेंडिंग मुद्दो पर छ्पे आर्टिकल पढने शुरु कर देते है।


जारी रहेगी
Superbbb Updateee

Bahott maza aaya padhkee. Dadi ho toh aisi. Jo apne pote ke liye itna kuch kar jaaye. Ab lagta hai 3D bhaiya ki jodi ban hi jayegi. Chalo achha hi hai tab toh. Par kahani ke nayak ka kyaa hogaa aur kabb hogaa.
 

DREAMBOY40

सपनो का सौदागर
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Superbbb Updateee

Bahott maza aaya padhkee. Dadi ho toh aisi. Jo apne pote ke liye itna kuch kar jaaye. Ab lagta hai 3D bhaiya ki jodi ban hi jayegi. Chalo achha hi hai tab toh. Par kahani ke nayak ka kyaa hogaa aur kabb hogaa.
:toohappy: thank you so much bhaai
Nayak sahab ka bhi kuch jarur hi hoga wo bhi jald
 

Naik

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UPDATE 012

पिछ्ले कड़ी मे आपने पढा कि कैसे लल्लो देवी अपने नाती के साथ हुए अन्याय देखते हुए कल रात हुए वारदात को स्वतः संज्ञान मे लेकर मामले की तफतिश शुरु कर दी और जब आयुष की गवाही सामने आई तो सारा मामला लल्लो को समझ आ गया और मुख्य अपराधी पर खासा नाराजगी व्यक्त करते हुए अपने आवास की ओर निकल गयी ।

अब आगे


ऑर्डर टू इन्भेस्टीगेट

लल्लो देवी तनमनाते हुए अपने आवास पर गयी और सीधा हाल मे लगे सोफे पर बैठ गयी । काफी भागा दौडी मे थक गयी थी तो प्यास मह्सूस हुई ,,मगर सामने टेबल पर रखा पानी जग खाली मिला ।

लल्लो गुस्से से लल्ल्न को आवाज दी - ये कहा मर गए हो लल्ल्न ,,पानी लाओ हमाये लिये

लल्लो की तेज आवाज सुन कर हमारे पूर्व चेयरमैन साहब पिंकू जी किचन से एक चेकदार अप्रोन लपेटे बाहर निकले साथ ही एक हाथ मे नास्ते मे प्याज़ के पकोड़े और चाय की ट्रे वही दुसरे ग्लास मे पानी वाला जग लेके हाल मे पहुचे ।

लल्लो देवी ने अपने सुपुत्र को देखते ही मुह फेर ली ।
चेयरमैन साहब थोडा हसे और सारा सामान सामने टेबल पर रख कर एक ग्लास पानी अपनी माता श्री को देते हुए उनके पाव छुए ।

पिंकू - मम्मी प्रणाम ।

लल्लो गुस्सा कर - का मम्मी मम्मी लगाये रहत हो ,,उम्र हो गयी ढंग से अम्मा नही कह सकते , मम्मीईई

चैयरमैन साहब भी तुनक कर - तो आप भी हमको पिंकू बुलाती है

लल्लो अपने सुपुत्र से हाजिर जवाबी पाकर थोडा रुकी और फिर बोली - हा तो का हुआ ,, ऊ बैजनाथ भी अपना लईका का नाम डूग्गू रखे है ।

पिंकू - मम्मी यार मजाक ना करो ,, बैजनाथ का लड़िका दुसरी मे पढिता है ।

लल्लो प्याज के गरम पकौड़े को अपने दातो से नोचते हुए - अच्छा शांत रहो ,,हमको तुमसे कुछ और बात करना है

पिंकू उखड़ कर - मम्मी यार अब संडे के दिन कही जाये के मत कही देना ,,, ऊ नया वाला डिस्को लगवाये आपके कमरे मा , आननद लेओ

लल्लो - डिस्को नाही बुफर कहते है उका , और जे हमायी बात ना घुमाओ नाही तो धयि देंगे कनपटीये पे

चेयरमैन चुप हो गये ।

लल्लो - हमको 3D को लेके बात करनी है ,,, ऊ शुक्ला के लौंडे से बात भई रही सुबह ,, आज के आज जाकर तुम ऊ वर्मा के यहा 3D के रिश्ते खातिर बात करने जाओ

चेयरमैन साहब की भौहे चौड़हिया गयी कि उनकी माता ने ये क्या आदेश जारी कर दिया ,, ना मुकदमे पर कोई बहस , ना कोई उनकी दलिल सुनी गयी ,,सीधा जजमेट पास कर दिया गया कि जाओ इन्भेस्टीगेशन करके लाओ ।

चेयरमैन साहब थोडा उखड़े मन से अपनी प्रतिक्रिया दी - का यार मम्मी , सुबह सुबह गोला खा ली है का

लेकिन जब उन्होने देखा कि उनकी माता जी आंखे गुस्से से लाल हो रही है तो वो नजरे चराते हुए लडखडाती हुई जुबान मे - ऊ वर्मा एक नम्बर चुतिया आदमी है ,,,पि पि पिछला इलेक्शन मे उसके परिवार से एक एक एक भी वोट नही मिला हमको , चुनाव हार गये हम

लल्लो रौब दिखाते हुए - ज्यादा बहाने बाजी ना बतीयाओ हमसे पिंकू , जे हमने कही दई तो कही दई

पिंकू - मतलब फाइनल है , डन एकदम

लल्लो चिल्ला कर - अब का पार्टी कार्यालय से लेटर लिख कर दे तुमको कि सेवा मे श्रीमान पूर्व चेयरमैन साहब आपसे अनुरोध है कि आप अपने ही सुपुत्र के उज्जवल भविष्य के लिए ....

चेयरमैन साहब अपनी माता जी रोकते हुए - ठीक है ठीक है , जाते हैं अभी दोपहर तक


शक का दायरा

लोकेशन : ग्रीनपार्क ब्लॉक-वी , ग्रीन पार्क हाऊसिंग सोसाइटी , रूम नंबर 083
आयुष बाबू लल्लो दादी की लताड़ और बड़बड सुनने के बाद उठे और अपने शोट्स मे पीछे की तरफ हाथ डाल कर पिछवाडा खुजाते हुए बाथरूम मे घुस गये ।

इधर नवाबगंज मे आयुष के भाईसाहब आशिष शुक्ला तकरीबन 4 बार आयुष के मोबाईल की घंटी बजा चुके थे । आशिष जी एक अनजाने डर से घिरे जा रहे थे । काफी उटपटांग ख्याल और शक का दायरा उन्के छोटे से दिमाग मे फैला ही जा रहा था ।

इधर मोबाईल की लागातार रिंग की आवाज सुनकर आयुष बाथरूम से बाहर आता है और भैया का फोन आता देख लपक कर कॉल रिसीव करता है ।

आयुष - हैलो , हा प्रणाम भैया
आशिष - हा खुश रहो बबुवा , और कईसे हो
आयुष - हम ठीक है भईया ,,आप बताओ
आशिष - हम भी ठीक है बबुवा ,,ब्बुवा तुमसे एक बात पुछनी थी ।
आयुष - हा भईया कहिये
आशिष - इ 3D की दादी आई रही और तुम्हाओ नम्बर ले गयी है , बोल रही थी कि चेयरमैन साहब बात करिही ,,,कौनो बात है का बबुवा

आयुष समझ गया तो मुस्कुरा कर - अरे नही भैया ,,,कोई चिन्ता की बात नही है । दरअसल हुआ यू था कि

फिर आयुष कल और आज की सारी बाते अपने भैया को बताता है ।

आशीष को अब थोडा तसल्ली होती है ।
आशिष हस कर - अच्छा अच्छा ,,,हाहहहा इ 3D भी पगलैट है पुरा ,,, अच्छा चलो तुम आपन ख्याल रखिहो ,,ठिक है
आयुष - जी भईया प्रणाम
आशिष - हा खुश रहो ।

इधर आशिष का फोन कटता है और वो नहाने के लिए वापस बाथरूम मे चला जाता है ।


बिरजू हेयर ड्रेसर

नवाबगंज मे शिवपूरी कालोनी के मुख्य सड़क पर ये नाऊ की दुकान है जहा हमारे पूर्व चेयरमैन साहब लगभग हर रविवार को जाते है टिपटॉप होने । मगर आज दो हफते का समय बीत चुका था ।

चेयरमैन साहब अपनी ग्रैवीटी को रेस्पोंड करती पैंट को खिचकर कूल्हो पर चढाते हुए सोफे से उठकर बाहर निकल रहे होते है कि लल्लो देवी टोकती है ।

लल्लो - पैंट सरक के जांघो मे जा रहा है ये नही कि बेल्ट लगा ले ,,,

पिंकू - मम्मी यार फैशन है ये ,,,आज के समय मे बेल्ट कौन पहनता है ।

लल्लो - अरे तो चुतड खोल के घूम लो फैशन है तो ,,, और कहा जाई रहे हो नहाना नाही है का

पिंकू उखड़ते हुए - मम्मी याररर संडे है , बिरजू के यहा जा रहे

लल्लो देवी चुप हो जाती है
चैयरमैन साहब दुबे आवास से निकल कर मेन रोड पर आते हैं और थोडा आगे चलकर बिरजू हैयर ड्रेसर की दुकान पर ताला लगा देखते हैं तो मन बहुत उदास हो जाता है ।

तभी उनकी नजर बंद शटर पर लटके एक तखती पर जाती है जिस्पे कुछ लिखा था ।

चैयरमैन साहब पास जाकर आंखो को महीन करते हुए पढ्ना शुरु करते है - निचे का बाल उपर बनता है .... बिरजूनाथ शर्मा

वो लाईन पढने के बाद वो एल नजर उपर के मंजिल पर देखते है जहा बिरजू हेयर ड्रेसर का नया बैनर लगा हुआ था ।

चेयरमैन साहब- धत्त चुतिया है एक नम्बर का इ बिरजूवा भी ।

फिर चेयरमैन साहब बगल की सीढि पकड कर उपर के फ्लोर पर जाते है और पर्दा हटा कर दुकान मे घुसते है ।

दुकान मे घुसते ही सब कुछ चका चक था । ऐसा लग रहा था मानो बिरजू ने सब कुछ रेनोवेट करवाया हो ।

चैयरमैन को साहब को अन्दर आते देख
बिरजू - अरे चेयरमैन साहब ,,, आओ बैइठो
चैयरमैन - हा ऊ सब तो ठीक है लेकिन ये निचे का अश्लीलता फैला रहे हो बे ,,,निचे का बाल उपर बनता है ,, साले झाट बनाओगे इहा का

बिरजू हस्ता हुआ - हिहिहिही अरे नाही साहब ऊ हमार लड़िका लिख के टांग दिया है परसो

चैयरमैन खीझकर- तो हटवाओ उसको और ई बताओ कितना नम्बर हय अभी

बिरजू - अरे आप बैठो साहेब बना रहे , इ लल्ल्न भईया का हो जाये बस

चैयरमैन साहब चौके - लल्ल्न !!!! अबे साले तुम इहा मसाज ले रहे हो उहा अम्मा आ गई हमको बताये नही

लल्ल्न - भईया ऊ अम्मा भोर मे ही आ गयी रही और आप सो रहे थे ।

चैयरमैन - अच्छा ठीक है यहा निकल कर, गाड़ी तैयार करो अभी निकलना है हमको कही

लल्ल्न - जी भईया
चैयरमैन - अच्छा बिरजू सुनो हम अन्दर बैठते है नम्बर आयेगा तो बुला लेना ,,,साप्ताहिक अखबार है ना उहा

चैयरमेन साहब आंखे नचा कर बिरजू से पुछते है
बिरजू एक नजर लल्लन की बंद आंखो पर देखता है और बोलता है - ह ह हा साहेब है रखा है ऊहा

चेयरमैन साहब उठकर वापस से अपनी सरकती पैंट को कमर तक खिच कर अन्दर एक कमरे मे चले जाते हैं और सरस सलिल की मैगजीन खोलकर कुछ ट्रेंडिंग मुद्दो पर छ्पे आर्टिकल पढने शुरु कर देते है।


जारी रहेगी
Badhiya mazedaar update bhai
Lagta h 3D ka klyan ho jayega dekhte h chairman sahab waha jaker kia baat kerte h
 
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